दिल्ली की हवा हुई जहरीली, सुप्रीम कोर्ट ने 2 दिन के लॉकडाउन का सुझाव दिया
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (NCR) में लगातार वायु प्रदूषण का स्तर बढ़ता जा रहा है। इसके कारण जहां दृश्यता कम हो रही है, वहीं लोगों का सांस लेना दूभर हो रहा है। इस मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में दायर एक जनहित याचिका पर शनिवार को सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायाधीश (CJI) एनवी रमन्ना ने केंद्र सरकार को दिल्ली में दो दिन का लॉकडाउन लागू करते सहित अन्य उपाय करने का सुझाव दिया है।
दिल्ली-NCR में यह है वायु प्रदूषण के हालात
सिस्टम ऑफ एयर क्वालिटी एंड वेदर फोरकास्टिंग एंड रिसर्च (SAFAR) के अनुसार, शनिवार तड़के दिल्ली में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) बेहद खराब स्तर यानी 499 पर पहुंच गया। इसी तरह नोएडा में यह 772 था। इससे कुतुब मीनार, लोटस टैंपल, अक्षरधाम मंदिर के आसपास के इलाकों में दृश्यता 200-500 मीटर तक कम हो गई है। इसके अलावा लोगों को सांस लेने में भी परेशानी हो रही है। हालात लगातार बिगड़ रहे हैं।
एक छात्र ने दायर की है जनहित याचिका
बता दें कि दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए छात्र आदित्य दुबे ने अधिवक्ता निखिल जैन के जरिए एक जनहित याचिका दायर की थी। इसमें वायु प्रदूषण से निपटने में सरकार पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग की अदालत द्वारा निगरानी करने की की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि आयोग की निष्क्रियता से लोगों की जान को खतरा है।आयोग का काम अभी तक कागजों पर ही चल रहा है।
सुप्रीम कोर्ट ने पूछा- प्रदूषण को रोकने के लिए क्या कदम उठाए?
NDTV के अनुसार, CJI रमन्ना, जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस सूर्यकांत की पीठ ने दिल्ली सरकार से पूछा कि प्रदूषण को रोकने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं? साथ ही इस संबंध में हलफनामा दाखिल करे। इस पर दिल्ली सरकार ने कहा कि हलफनामा तैयार किया जा रहा है। सीजेआई ने कहा, "हालात कैसे हैं सब जानते हैं। यहां तक हम घर में भी मास्क लगाते हैं। ये बताइए प्रदूषण से निपटने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं?"
पंजाब में पराली जलाने से खराब हुए हालत- मेहता
सॉलिसिटर जनरल (SG) तुषार मेहता ने कहा, "हम पराली जलाने को रोकने के लिए कदम उठा रहे हैं, लेकिन पांच-छह दिन पंजाब में पराली जलाने से हालात ज्यादा खराब हुए हैं। इस पर पंजाब सरकार को कदम उठाने चाहिए।" इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा, "आप सिर्फ किसानों को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं, लेकिन वह केवल 40 फीसदी ही जिम्मेदार है। वाहन से फैलने वाले प्रदूषण और पटाखों को लेकर क्या, आप क्या प्रभावी कदम उठा रहे हैं?"
केंद्र सरकार को दो दिन का लॉकडाउन जैसे कदम उठाने चाहिए- CJI
CJI रमन्ना ने कहा, "केंद्र क्यों नहीं किसानों से पराली लेती और उद्योगों को देती? हमें कुछ जिलों और सोसाइटी की जानकारी दें जहां पराली प्रबंधन किया जा रहा है।" उन्होंने दिल्ली में प्रदूषण के हालात पर चिंता जताते हुए कहा, "केंद्र को प्रदूषण रोकने के लिए तुरंत आपात कदम उठाने की जरूरत है। जरूरत पड़ी तो 2 दिन के लॉकडाउन या कुछ और सोचें। वरना लोग कैसे रहेंगे? अगले दो-तीन दिनों में AQI नीचे लाने की जरूरत है।"
दिल्ली में वायु गुणवत्ता सूचकांक 'गंभीर' श्रेणी में- सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली में वायु गुणवत्ता 'गंभीर' श्रेणी में है और अगले दो-तीन दिनों में यह और ज्यादा जाएगी। कुछ ऐसा होना चाहिए जिससे दो-तीन दिन में लोग बेहतर महसूस करें। इस पर मेहता ने कहा कि आज ही एक संयुक्त बैठक है। पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और दिल्ली सब सहयोग कर रहे हैं। इस पर कोर्ट ने कहा कि पराली जलाने से रोकने के लिए सरकार को प्रदूषण के अन्य कारणों पर भी विचार करना चाहिए।
दुनिया का सबसे प्रदूषित शहर है दिल्ली
स्विट्जरलैंड स्थित जलवायु समूह आईक्यूएयर (IQAir) की वायु गुणवत्ता और प्रदूषण शहर ट्रैकिंग सेवा ने दुनिया के सबसे प्रदूषित शहरों की सूची जारी की है। इसमें राजधानी दिल्ली 556 AQI के साथ पहले, कोलकाता चौथे और मुंबई छठे पायदान पर है।