कौन है रूस के सबसे धनी व्यक्ति एलेक्सी मोर्दशोव जिन पर EU ने लगाया है प्रतिबंध?
क्या है खबर?
रूस के यूक्रेन पर हमला करने के बाद उसे पश्चिमी और यूरोपीय देशों से कड़े प्रतिबंधों का सामना करना पड़ रहा है।
इन देशों ने रूस के राजनेताओं और उद्योगपतियों पर प्रतिबंध लगाने के साथ उनकी संपत्तियों को भी फ्रीज करने का निर्णय किया है।
इस कड़ी में 27 देशों वाले यूरोपीयन संघ (EU) ने सोमवार को रूस के सबसे अमीर कारोबारी एलेक्सी मोर्दशोव पर भी आर्थिक प्रतिबंधों का ऐलान किया है। आइए जानते हैं मोर्दशोव के बारे में सबकुछ।
प्रतिबंध
EU ने किया है सख्त प्रतिबंधों का ऐलान?
बता दें कि EU ने 24 फरवरी को रूस के वित्तीय सेक्टर, पावर और ट्रांसपोर्ट सेक्टर, गुड्स, एक्सपोर्ट कंट्रोल, वीजा पॉलिसी के साथ उसके प्रभावशाली लोगों पर प्रतिबंध लगाने का ऐलान किया था। इसके बाद उसने रूस के लिए अपने एयरस्पेस को भी बंद कर दिया था।
इसके साथ ही दर्जनों रूसी राजनेताओं, व्यापारियों और पत्रकारों के खिलाफ भी प्रतिबंध लगाने और अपने देश में उनकी संपत्तियों को फ्रीज करने का भी ऐलान किया है।
सवाल
कौन है एलेक्सी मार्दशोव?
फोर्ब्स की सबसे धनी लोगों की सूची के अनुसार, 56 वर्षीय मार्दशोव की कुल संपत्ति 29.1 बिलियन यानी करीब 29 अरब अमेरिकी डॉलर है। वह रूस के सबसे धनी और दुनिया के 51वें सबसे धनी कारोबारी है।
सोवियत रूस के चेरेपोवेट्स शहर में स्थित एक मिल के मजदूर के घर में जन्म लेने वाले मार्दशोव रूस की सबसे बड़े स्टील निर्माता कंपनी सेवरस्टल में 19 सालों तक मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) की जिम्मेदारी भी निभा चुके हैं।
इस्तीफा
मोर्दशोव ने साल 2015 में दिया था सेवरस्टल से इस्तीफा
28 सितंबर, 1965 को चेरेपोवेट्स ने जन्मे मोर्दशोव का बचपन अभावों में बीता। उन्होंने पढ़ाई में रुचि दिखाते हुए 1988 में लेनिनग्राद इंजीनियरिंग अर्थशास्त्र संस्थान से स्नातक किया और सेवरस्टल के मैटलर्जिकल प्लांट में शामिल हो गए।
अपनी मेहनत के दम पर वह 1992 में वित्त निदेशक बन गए। इसके बाद साल 1996 में वह कंपनी के CEO बन गए और 19 सालों की सेवा के बाद 2015 में कंपनी से इस्तीफा दे दिया। वह कंपनी में शेयरधारक हैं।
अन्य
मोर्दशोव के ट्रैवल कंपनी TUI में है 30 प्रतिशत शेयर
मोर्दशोव दुनिया की सबसे बड़ी ट्रैवल कंपनियों में से एक TUI समूह में लगभग 30 प्रतिशत शेयर के मालिक है।
कोरोनो वायरस महामारी के कारण जब अंतरराष्ट्रीय पर्यटन क्षेत्र में मंदी का दौर आया तो मोर्दशोव ने कंपनी को अपनी जेब से पैसा लगाकर संबल प्रदान करने का प्रयास किया था।
हालांकि, अब EU द्वारा प्रतिबंधों का ऐलान करने के बाद रूसी अरबपति ने TUI के बोर्ड से इस्तीफा दे दिया हैं।कंपनी ने इस सप्ताह ही इसकी घोषणा की है।
प्रतिबंध
EU ने मोर्दशोव पर क्यों लगाया है प्रतिबंध?
मोर्दशोव रूस के शीर्ष राजनेताओं से जुड़े अरबपतियों में से एक हैं। ऐसे में EU ने उन पर प्रतिबंध लगाकर रूसी सरकार को झटका देने की योजना बनाई है।
EU उन व्यापारियों और राजनेताओं को निशाना बना रहा है जिनके बारे में माना जाता है कि उन्होंने वर्षों से राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ बेहतर संबंध रहे हैं।
EU का कहना है कि मोर्दशोव रोसिया बैंक के अपने अधिकारों का इस्तेमाल पुतिन सरकार के समर्थन के लिए कर रहे थे।
प्रतिक्रिया
मोर्दशोव ने EU के प्रतिबंध पर क्या दी है प्रतिक्रिया?
EU के प्रतिबंध पर मोर्दशोव ने कहा, "मैं कभी राजनीति के करीब नहीं था और मौजूदा संकट से मेरा कोई लेना-देना नहीं है। मैं समझने में असमर्थ हूं कि मेरे खिलाफ लगाए गए प्रतिबंध यूक्रेन में संघर्ष का समाधान कैसे कर सकते हैं।"
उन्होंने आगे कहा, "यह भयानक है कि यूक्रेनियन और रूसी मर रहे हैं, लोग कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं और अर्थव्यवस्था गिर रही है। मुझे उम्मीद है कि जल्द ही इस संघर्ष का समाधान निकाला जाएगा।"
प्रतिबंध
अमेरिका ने भी रूस पर लगाए हैं कड़े प्रतिबंध
अमेरिका ने यूक्रेन को अपने भंडार से 35 करोड़ डॉलर के हथियार भेजने का फैसला लिया है। इसके अलावा अमेरिका ने रूस के सबसे बड़े बैंक समेत कई बैंकों पर प्रतिबंध लगाया है।
इसी तरह अमेरिका ने EU के साथ मिलकर रूस के कई बड़े बैंकों को अंतरराष्ट्रीय पेमेंट सिस्टम SWIFT (सोसाइटी फॉर वर्ल्डवाइड इंटरबैंक फाइनेंशियल टेलीकम्युनिकेशन) से भी बाहर कर दिया।
इससे अब रूस के बैंक अन्य अंतरराष्ट्रीय बैंकों से लेनदेन नहीं कर पाएंगे।
जानकारी
पुतिन और लावरोव पर भी लगाए हैं कड़े प्रतिबंध
अमेरिका और EU ने रूसी राष्ट्रपति पुतिन और विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव पर भी कड़े प्रतिबंधों का ऐलान करते हुए उनके स्वामित्व वाली संपत्तियों को भी फ्रीज करने का निर्णय किया है। युद्ध की इस घड़ी में इसे बहुत बड़ा कदम माना जा रहा है।