
#NewsBytesExplainer: ऑस्ट्रेलिया में आज आम चुनाव; क्या हैं मुद्दे और किसके बीच मुकाबला, जानें हर बात
क्या है खबर?
ऑस्ट्रेलिया में आज यानी 3 मई को आम चुनाव के लिए मतदान हो रहा है। इस चुनाव में मुख्य मुकाबला वर्तमान प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज की लेबर पार्टी और विपक्ष के पीटर डटन के लिबरल-नेशनल गठबंधन के बीच है।
महंगाई, जीवन यापन की बढ़ती लागत और अमेरिकी टैरिफ को देखते हुए इन चुनावों को बेहद अहम माना जा रहा है।
आइए आपको ऑस्ट्रेलिया के आम चुनावों से जुड़ी सभी अहम बातें बताते हैं।
सदन
ऑस्ट्रेलिया में भारत की तरह 2 सदन
भारत की तरह ऑस्ट्रेलिया में भी 2 सदन हैं। ऊपरी सदन को सीनेट और निचले सदन को हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव्स कहा जाता है।
ऊपर सदन में 76 सीटें होती हैं और हर सदस्य का कार्यकाल 6 साल का होता है। हर 3 साल में आधे सदस्य बदल जाते हैं।
वहीं, निचले सदन में 150 सीटें होती हैं और यहां बहुमत पाने वाली पार्टी या गठबंधन का नेता प्रधानमंत्री बनता है। बहुमत का आंकड़ा 76 है।
जुर्माना
मतदान करना जरूरी, वरना लग सकता है जुर्माना
ऑस्ट्रेलिया में 18 साल या उससे ज्यादा उम्र के सभी लोग मतदान करने के पात्र होते हैं। वहां मतदान करना जरूरी है।
अगर आप बिना किसी वैध वजह के मतदान नहीं करते हैं तो आप पर करीब 1,000 रुपये का जुर्माना लग सकता है।
ऑस्ट्रेलिया में 1.80 करोड़ पात्र मतदाता हैं। मतदान करने के लिए मतदाताओं को मतदाता सूची में पंजीकृत होना चाहिए।
मतदाता एक साथ दोनों सदनों के लिए वोट डालते हैं।
वोट
कैसे डाले जाते हैं वोट?
मतदाताओं को 2 मतपत्र दिए जाते हैं। हरा मतपत्र निचले सदन के लिए और सफेद मतपत्र सीनेट के लिए।
निचले सदन के लिए मतदान करने के लिए मतदाताओं को अपने क्षेत्र में चुनाव लड़े रहे उम्मीदवारों को वरीयता क्रम में लिखना होता है। अगर किसी उम्मीदवार को प्रथम वरीयता के 50 प्रतिशत से अधिक वोट मिल जाते हैं तो वो जीत जाता है।
वहीं, सीनेट के लिए मतदाता या तो पार्टी या उम्मीदवार को वरीयता क्रम में चुन सकते हैं।
उम्मीदवार
कौन हैं प्रमुख उम्मीदवार?
मुख्य मुकाबला अल्बनीज और डटन के बीच हैं। दोनों नेता कामकाजी वर्ग की पृष्ठभूमि से आते हैं।
अल्बनीज 31वें प्रधानमंत्री और लेबर पार्टी के नेता हैं। उनकी मां आयरिश मूल की हैं और पिता इटैलियन थे। उनका पालन पोषण एक छोटे से सरकारी सब्सिडी वाले फ्लैट में उनकी मां ने किया था।
वहीं, डटन राजमिस्त्री के बेटे हैं। पढ़ाई छोड़ने के बाद वे पुलिस में शामिल हो गए। वे एक ड्रग्स स्क्वाड में जासूस रह चुके हैं।
मुद्दे
क्या हैं प्रमुख चुनावी मुद्दे?
बढ़ती महंगाई और ऊंची ब्याज दरें बड़ा मुद्दा है। वार्षिक मुद्रास्फीति 7.8 प्रतिशत तक पहुंच गई हैं। एक वक्त पर केंद्रीय बैंक ने ब्याज दर को 0.1 प्रतिशत के ऐतिहासिक निम्नतम स्तर पर कर दिया था।
बढ़ती कीमत और किराए में वृद्धि से आवास की समस्या है।
जलवायु परिवर्तन और परमाणु ऊर्जा भी प्रमुख मुद्दा है। ऑस्ट्रेलिया के पास भारी मात्रा में यूरेनियम भंडार हैं, लेकिन इसने 1998 से परमाणु ऊर्जा पर लगभग पूर्ण प्रतिबंध लगा रखा है।
सर्वे
सर्वे में कौन आगे चल रहा है?
सर्वे में लेबर पार्टी को बढ़त के आसार हैं। अनुमान है कि लेबर पार्टी 84 सीटें जीत सकती है, जबकि लिबरल गठबंधन को 47 सीटें मिल सकती है। हालांकि, त्रिशंकु संसद का भी अनुमान लगाया जा रहा है।
माना जा रहा है कि टैरिफ लगाने के अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले ने अल्बनीज को बढ़त दी है। वहीं, इससे डटन पिछड़ गए हैं, क्योंकि वे कई बार सार्वजनिक मंच पर ट्रंप की तारीफ कर चुके हैं।