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#NewsBytesExplainer: 10 राज्यसभा सीटों पर चुनाव में कहां से कौन भारी और कितने बदलेंगे समीकरण?
3 राज्यों की 10 राज्यसभा सीटों पर 24 जुलाई को मतदान होना है

#NewsBytesExplainer: 10 राज्यसभा सीटों पर चुनाव में कहां से कौन भारी और कितने बदलेंगे समीकरण?

लेखन आबिद खान
Jun 28, 2023
05:17 pm

क्या है खबर?

संसद के उच्च सदन यानी राज्यसभा की 11 सीटों के लिए 24 जुलाई को मतदान होगा। इनमें पश्चिम बंगाल की 6, गुजरात की 3 और गोवा की एक सीट शामिल है। चुनाव आयोग के मुताबिक, पश्चिम बंगाल की 1 सीट पर उपचुनाव भी होगा, जो तृणमूल कांग्रेस (TMC) के सांसद लुइजिन्हो जोआकिम फलेरियो के इस्तीफे के बाद खाली हो गई है। उनका कार्यकाल 2 अप्रैल, 2026 तक था। आइए चुनाव से जुड़ी अहम बातें जानते हैं।

कार्यक्रम

क्या रहेगा चुनावी कार्यक्रम?

चुनाव आयोग की अधिसूचना के मुताबिक, गोवा के 1, गुजरात के 3 और पश्चिम बंगाल के 6 राज्यसभा सदस्यों का कार्यकाल जुलाई-अगस्त में समाप्त हो रहा है। चुनाव के लिए अधिसूचना 6 जुलाई को जारी की जाएगी। उम्मीदवारों के नामांकन की अंतिम तिथि 13 जुलाई होगी और उम्मीदवार अपना नाम 17 जुलाई तक वापस ले सकते हैं। 24 जुलाई को मतदान होगा और इसी दिन नतीजे भी घोषित किए जाएंगे।

सदस्य

किन सदस्यों का कार्यकाल खत्म हो रहा है?

पश्चिम बंगाल से TMC सांसद डेरेक ओ ब्रायन, डोला सेन, सुष्मिता देव, शांता छेत्री और सुखेंदु शेखर रे और कांग्रेस सांसद प्रदीप भट्टाचार्य का कार्यकाल 18 अगस्त को समाप्त हो रहा है। पश्चिम बंगाल की एक सीट पर उपचुनाव भी होना है। गुजरात से सांसद विदेश मंत्री एस जयशंकर, दिनेश जेमलभाई अनावडीया और लोखंडवाला जुगलसिंह माथुरजी का कार्यकाल भी 18 अगस्त को खत्म हो रहा है। गोवा से विनय तेंदुलकर का कार्यकाल 28 जुलाई को समाप्त होगा।

गुजरात

गुजरात से किसे राज्यसभा भेजा जा सकता है?

सबसे पहले बात गुजरात की करते हैं। यहां से वर्तमान में जयशंकर राज्यसभा सदस्य है। इस बात की पूरी संभावना है कि पार्टी उन्हें दोबारा मौका देगी। इसके अलावा पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी और पूर्व उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल के नाम सबसे आगे हैं। हाल ही में रुपाणी को पंजाब के साथ दिल्ली की 3 लोकसभा सीटों का प्रभारी बनाया गया है। नितिन को उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश की 5 लोकसभा सीटों का जिम्मा सौंपा गया है।

बंगाल

पश्चिम बंगाल में क्या स्थिति रहेगी?

पश्चिम बंगाल से कांग्रेस के सांसद भट्टाचार्य का कार्यकाल भी समाप्त हो रहा है। अब यहां से कांग्रेस के एक भी सीट जीतने की संभावना नहीं है क्योंकि कांग्रेस का विधानसभा चुनावों में खाता भी नहीं खुला था। भाजपा ने 77 सीटों पर जीत दर्ज की है, इसलिए उसका एक सांसद चुना जाना पक्का है। अब देखना ये होगा कि भाजपा यहां से किसी स्थानीय नेता को सदन में भेजती है या राष्ट्रीय नेता को भेजा जाएगा।

भारी

कहां किसका पलड़ा भारी?

गुजरात की तीनों राज्यसभा सीटों पर भाजपा का दबदबा रहेगा क्योंकि पिछली बार की तुलना में कांग्रेस की सीटें इस बार कम हैं। गुजरात में राज्यसभा की कुल 11 सीटें हैं। वर्तमान में इनमें से भाजपा के पास 8 और कांग्रेस के पास 3 हैं। पश्चिम बंगाल की 6 में से 5 सीट पर TMC की जीत लगभग तय है। पहली बार भाजपा को 1 सीट मिल सकती है क्योंकि भाजपा के यहां 77 विधायक हैं।

समीकरण

चुनाव के बाद कितना बदलेगा राज्यसभा का स्वरूप?

फिलहाल राज्यसभा सदस्यों की संख्या 238 है। जम्मू-कश्मीर की 4, पश्चिम बंगाल की एक और नामित सदस्यों की 2 सीटें खाली हैं। भाजपा 93 सांसदों के साथ राज्यसभा की सबसे बड़ी पार्टी है। इन चुनावों के बाद राज्यसभा में बहुत बड़ा बदलाव नहीं आएगा। पश्चिम बंगाल से कांग्रेस की एक सीट कम होना और भाजपा की बढ़ना तय है। बाकी समीकरण पहले जैसे रहेंगे। अगले साल 56 राज्यसभा सीटों पर चुनाव होगा। इसके बाद उच्च सदन में जरूर समीकरण बदलेंगे।

न्यूजबाइट्स प्लस

न्यूजबाइट्स प्लस

राज्यसभा संसद का उच्च सदन है, जिसमें अधिकतम 250 सदस्य होते हैं। इनमें से 12 सदस्य भारत के राष्ट्रपति के द्वारा नामित किए जाते हैं। ये अलग-अलग क्षेत्रों के प्रतिष्ठित लोग होते हैं। बाकी के सदस्य चुनाव के जरिए चुनकर आते हैं, जिन्हें प्रदेश के विधायक चुनते हैं। राज्यसभा में सदस्य 6 साल के कार्यकाल के लिए चुने जाते हैं। इनमें से एक-तिहाई सदस्य हर 2 साल में सेवानिवृत्त हो जाते हैं।