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#NewsBytesExplainer: भारत और ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौते से किसे क्या फायदे होंगे?
प्रधानमंत्री मोदी आज 2 दिवसीय ब्रिटेन दौरे पर रवाना हो रहे हैं

#NewsBytesExplainer: भारत और ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौते से किसे क्या फायदे होंगे?

लेखन आबिद खान
Jul 23, 2025
01:41 pm

क्या है खबर?

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज से ब्रिटेन और मालदीव के दौरे पर हैं। पहले वे 2 दिवसीय दौर पर ब्रिटेन जा रहे हैं। ये उनकी चौथी ब्रिटेन यात्रा है, जिसका मुख्य उद्देश्य व्यापार और रक्षा सहयोग को मजबूत करना है। इस दौरान वे ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर के साथ बहुप्रतीक्षित मुक्त व्यापार समझौते (FTA) पर हस्ताक्षर करेंगे। इससे दोनों देशों के बीच कारोबार आसाना होगा। आइए इसके फायदे जानते हैं।

FTA

सबसे पहले जानिए FTA क्या होता है?

FTA दो या दो से अधिक देशों के बीच एक समझौता है जिसमें वे वस्तुओं और सेवाओं के व्यापार को प्रभावित करने वाले कुछ दायित्वों पर सहमत होते हैं। इसमें निवेशकों और बौद्धिक संपदा अधिकारों के लिए सुरक्षा भी शामिल हो सकती है। यह आयात शुल्क को कम करने या समाप्त करने और व्यापार को बढ़ावा देने की कोशिश करता है। भारत और ब्रिटेन के बीच FTA को लेकर जनवरी 2022 में बातचीत शुरू हुई थी।

प्रावधान

भारत-ब्रिटेन FTA में क्या-क्या अहम प्रावधान हैं?

FTA के तहत, भारत 99 प्रतिशत भारतीय टैरिफ लाइनों पर टैरिफ खत्म कर सकता है, जो लगभग 100 प्रतिशत व्यापार मूल्य को कवर करता है। वहीं, ब्रिटेन 90 प्रतिशत ब्रिटिश टैरिफ लाइनों पर टैरिफ कम कर सकता है। इससे दोनों देशों के लिए अपने उत्‍पाद और सेवाओं को एक-दूसरे के बाजारों में अधिक प्रतिस्पर्धी दरों पर बेचने में मदद मिलेगी। समझौते का उद्देश्य 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को दोगुना कर 120 अरब डॉलर तक पहुंचाना है।

ब्रिटेन को रियायत

FTA में भारत ने ब्रिटेन को क्या-क्या छूट दी है?

भारत ने स्कॉच व्हिस्की के आयात पर टैरिफ 150 प्रतिशत से घटाकर 75 प्रतिशत कर दिया है। अगले 10 सालों में इसे और कम कर 40 प्रतिशत तक किया जाएगा। भारत ब्रिटेन में निर्मित कारों पर वर्तमान टैरिफ को 100 प्रतिशत से घटाकर कोटा प्रणाली के तहत घटाकर 10 प्रतिशत तक कम कर देगा। इसके अलावा सौंदर्य प्रसाधन, चॉकलेट, बिस्किट और चिकित्सा उपकरणों सहित कई उत्पादों पर टैरिफ में कटौती की जाएगी।

भारत को छूट

ब्रिटेन ने भारत को क्या-क्या रियायत दी है?

99 प्रतिशत भारतीय उत्पादों को ब्रिटेन के बाजार में टैरिफ-मुक्त पहुंच मिलेगी। कपड़ा, जूते, ऑटो कंपोनेंट, रत्न और आभूषण, फर्नीचर, खेल के सामान, रसायन और मशीनरी पर फिलहाल ब्रिटेन में 4 से 16 प्रतिशत के बीच टैरिफ लगता है। इसे कम किया जाएगा। इलेक्ट्रिक और हाइब्रिड वाहनों के भारतीय निर्माताओं को नई कोटा प्रणाली के तहत प्राथमिकता के आधार पर बाजार पहुंच मिलेगी। ब्रिटेन भारतीय योग प्रशिक्षकों, रसोइयों, संगीतकारों और अन्य सेवा प्रदाताओं के लिए अस्थायी पहुंच प्रदान करेगा।

दोनों देशों के फायदे

समझौते दोहरी सामाजिक सुरक्षा योगदान

समझौते में दोहरी सामाजिक सुरक्षा योगदान संधि पर भी सहमति बनी है। ये संधि सुनिश्चित करती है कि ऐसा व्यक्ति, जो दोनों देशों में काम करता है, उसे दोनों देशों में सामाजिक सुरक्षा योगदान (पेंशन, स्वास्थ्य बीमा) नहीं देना पड़े। ब्रिटेन में अस्थायी वर्किंग वीजा पर कार्यरत भारतीय कर्मचारियों को 3 साल तक सामाजिक सुरक्षा अंशदान से छूट मिलेगी। इससे वेतन में लगभग 20 प्रतिशत की बचत होगी। इससे केवल IT क्षेत्र के 60,000 कर्मचारियों को लाभ होगा।

फायदा

भारत को क्या-क्या फायदे होंगे?

भारतीय सामान ब्रिटेन में सस्ते हो जाएंगे। इससे निर्यात को बढ़ावा मिलेगा। कपड़ा, जूता, रत्न, आभूषण, इलेक्ट्रिक और हाइब्रिड वाहन और ऑटो कंपोनेंट से जुड़ी कंपनियों को सबसे ज्यादा फायदा होगा। टैरिफ में कमी से बाजार खुल सकते हैं और कारोबारियों और भारतीय उपभोक्ताओं के लिए व्यापार सस्ता होगा। कपड़ा, समुद्री उत्पाद और चमड़ा उद्योग में नई नौकरियों का सृजन होगा। IT, वित्तीय सेवाओं और पेशेवर क्षेत्रों में भारतीय कंपनियों को ब्रिटेन में प्रतिस्पर्धात्मक लाभ मिलने की संभावना है।

बयान

ब्रिटेन रवाना होने से पहले प्रधानमंत्री ने क्या कहा?

ब्रिटेन रवाना होने से पहले प्रधानमंत्री ने कहा, "भारत-ब्रिटेन के बीच व्यापक रणनीतिक साझेदारी है, जिसने हाल के वर्षों में उल्लेखनीय प्रगति की है। हमारा सहयोग व्यापार, निवेश, प्रौद्योगिकी, नवाचार, रक्षा, शिक्षा, अनुसंधान, स्वास्थ्य और लोगों के बीच संबंधों सहित कई क्षेत्रों में फैला हुआ है। प्रधानमंत्री सर कीर स्टार्मर के साथ मेरी बैठक के दौरान, हमें अपनी आर्थिक साझेदारी को और बढ़ाने का अवसर मिलेगा, जिसका उद्देश्य दोनों देशों में समृद्धि, विकास और रोजगार सृजन को बढ़ावा देना है।"