धरती की ओर तेजी से बढ़ रहा है चाइनीज रॉकेट का हिस्सा, कहां गिरेगा.. पता नहीं!
क्या है खबर?
पड़ोसी देश चीन अपना स्पेस स्टेशन बना रहा है और बीते दिनों एक लैबोरेटरी मॉड्यूल वेंटियान इससे जुड़ने के लिए लॉन्च किया गया।
टियानगॉन्ग स्पेस स्टेशन अंतरिक्ष में मौजूद दूसरा आउटपोस्ट होगा और इसे मौजूदा अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन (ISS) की तर्ज पर तैयार किया जा रहा है।
मिशन के लिए चीन ने अपना सबसे ताकतवर रॉकेट भेजा, जिसका एक हिस्सा बूस्टर धरती की ओर आ रहा है।
परेशानी की बात यह है कि किसी को पता नहीं, यह कहां गिरेगा।
लॉन्च
बीते दिनों लॉन्च हुआ 23 टन का बूस्टर स्टेज
चीन के ताकतवर लॉन्ग मार्च 5B रॉकेट से जुड़ा 23 टन का बूस्टर स्टेज लॉन्च के बाद पृथ्वी की कक्षा में चक्कर लगाने लगा।
उम्मीद है कि रॉकेट का यह बड़ा हिस्सा धरती पर वापस गिरेगा, लेकिन इसपर किसी एजेंसी का नियंत्रण नहीं है और इसके गिरने की जगह भी अब तक तय नहीं हो सकी है।
अगर चाइनीज रॉकेट का यह हिस्सा घनी आबादी वाले हिस्से में गिरता है, तो जान-माल का भारी नुकसान हो सकता है।
खतरा
केवल 1.5 घंटे में दुनिया का चक्कर लगा रहा है बूस्टर
'द एयरोस्पेस कॉर्पोरेशन' नाम के नॉनप्रॉफिट ऑर्गनाइजेशन ने अपनी रिसर्च और एनालिसिस के आधार पर बताया है कि बूस्टर अगले 24 घंटे के अंदर धरती पर गिर सकता है।
इसके हिंद महासागर के आसपास गिरने की उम्मीद है, लेकिन कुछ भी साफ नहीं कहा जा सकता।
खतरे का अंदाजा इस बात से लग सकता है कि बूस्टर केवल 1.5 घंटे में दुनिया का चक्कर लगा लेता है, ऐसे में इसका दुनिया के किसी भी हिस्से में गिरना संभव है।
चुप्पी
चीन ने पूरे मामले पर साध रखी है चुप्पी
चाइनीज स्पेस एजेंसी अपने रॉकेट के इस हिस्से के अंतरिक्ष में ऑर्बिटल पाथ से जुड़ा पब्लिक डाटा जरूर उपलब्ध करवा रही है, लेकिन यह धरती पर कब या कहां गिर सकता है, इससे जुड़ी कोई जानकारी नहीं दी गई है।
हालांकि, चीन अकेला देश नहीं है, जिसका रॉकेट अनियंत्रित ढंग से धरती पर वापस आ रहा है।
इससे पहले NASA और रूसी स्पेस एजेंसी भी ऐसी स्थितियों का सामना कर चुकी हैं।
संभावना
रॉकेट से जुड़े खतरे पर क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स?
एक्सपर्ट्स ने साफ किया है कि यूरोप और दक्षिण अफ्रीका के बड़े हिस्से पर इससे कोई खतरा नहीं है और इसका पाथ भूमध्य-रेखा के करीब है।
इसके अलावा अगर बूस्टर आपके ऊपर से गुजरता है, तो इसके आपके ऊपर गिरने की संभावना करोडों की लॉटरी जीतने की संभावना से कम होगी।
हालांकि, यह कहीं ना कहीं तो गिरेगा ही और ऐसे में आम लोगों के घायल होने की संभावना जरूर बनी रहती है।
समझें
धरती पर वापस क्यों आ रहा है रॉकेट?
स्पेसक्राफ्ट को अंतरिक्ष में धकेलने के लिए ताकतवर रॉकेट्स की मदद ली जाती है, जो बाद में उससे अलग हो जाते हैं।
ज्यादातर रॉकेट्स पृथ्वी के वायुमंडल में वापस लौटते वक्त पूरी तरह नष्ट हो जाते हैं।
चाइनीज रॉकेट आकार और वजन में बेहद बड़ा है, जिसके चलते यह नष्ट नहीं हुआ और खतरनाक ढंग से पृथ्वी पर कहीं गिर सकता है।
बता दें, इस रॉकेट का 20 से 30 प्रतिशत हिस्सा वायुमंडल से होकर धरती पर आ सकता है।
इतिहास
पिछले दो लॉन्चेज में भी बनी थी यही स्थिति
चीन की ओर से लॉन्ग मार्च 5B का यह तीसरा लॉन्च था और तीसरी बार ऐसी स्थिति पैदा हुई है।
सबसे पहला बूस्टर पश्चिमी अफ्रीका के आइवरी कोस्ट स्थित एक गांव में गिरा था, जहां प्रॉपर्टी को नुकसान हुआ था और कोई जान नहीं गई थी।
वहीं, दूसरा बूस्टर रॉकेट भी अनियंत्रित होने के बाद हिंद महासागर में गिरा था।
चीन से ऐसी स्थिति से निपटने और मिशन पर पूरा नियंत्रण रखने की अपील की जा रही है।
जानकारी
न्यूजबाइट्स प्लस
चीन का नया टियानगॉन्ग स्पेस स्टेशन करीब एक दशक तक अपनी सेवाएं देगा और ISS के मुकाबले आकार में छोटा होगा। चीन NASA को चुनौती देते हुए हबल स्पेस टेलीस्कोप के मुकाबले ज्यादा ताकतवर अपना जुंटियान स्पेस टेलीस्कोप भी लॉन्च करने वाला है।