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वक्फ विधेयक को क्या सुप्रीम कोर्ट में दी जा सकती है चुनौती?
वक्फ विधेयक को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने की तैयारी हो रही है

वक्फ विधेयक को क्या सुप्रीम कोर्ट में दी जा सकती है चुनौती?

लेखन आबिद खान
Apr 03, 2025
06:08 pm

क्या है खबर?

वक्फ संशोधन विधेयक लोकसभा में पारित हो गया है। आज इसे राज्यसभा में पेश किया गया है। कांग्रेस समेत कई विपक्षी पार्टियों ने वक्फ विधेयक का विरोध करते हुए इसे संविधान के खिलाफ बताया है। वहीं, द्रविड़ मुन्नेत्र कड़गम (DMK) ने तो विधेयक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख करने की बात कही है। इसके अलावा कई मुस्लिम संगठनों ने भी विधेयक को कोर्ट में चुनौती देने का ऐलान किया है। आइए इससे जुड़ा विवाद जानते हैं।

DMK

विधेयक को लेकर DMK ने क्या कहा?

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने कहा, "इस विधेयक के खिलाफ DMK की ओर से सुप्रीम कोर्ट में मामला दायर किया जाएगा। तमिलनाडु केंद्र सरकार के कानून के खिलाफ लड़ेगा, जो वक्फ बोर्ड की स्वायत्तता को नष्ट करता है और अल्पसंख्यक मुस्लिम आबादी के लिए खतरा है। यह निंदनीय है कि वक्फ अधिनियम में संशोधन को 232 सांसदों के विरोध में वोट देने के बावजूद पारित कर दिया गया।" स्टालिन ने विधेयक पारित करने के तरीके पर भी सवाल उठाए।

बयान

जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने कहा- कानूनी संघर्ष शुरू करेंगे

जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने भी विधेयक पर सड़क से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक संघर्ष की बात कही है। उन्होंने कहा, "यह विधेयक संविधान पर सीधा हमला है, जो न केवल नागरिकों को समान अधिकार प्रदान करता है बल्कि उन्हें पूर्ण धार्मिक स्वतंत्रता की गारंटी भी देता है। यह विधेयक मुसलमानों की धार्मिक स्वतंत्रता को छीनने की खतरनाक साजिश है।" इसके अलावा जमात-ए-इस्लामी हिंद समेत कई अन्य संगठनों ने भी सुप्रीम कोर्ट जाने की बात कही है।

चुनौती

क्या विधेयक को संसद में चुनौती दी जा सकती है?

हां। संसद द्वारा बनाए गए किसी भी कानून को कोर्ट में चुनौती दी जा सकती है। हालांकि, ये अलग पहलू है कि कोर्ट उस कानून को रद्द करती है या नहीं। आमतौर पर कोर्ट ये देखती है कि जो कानून संसद ने पारित किया है, वो संविधान के दायरे से बाहर है या नहीं। चूंकि, सुप्रीम कोर्ट संविधान का संरक्षक है, इसलिए उसका काम केवल ये देखना है कि कोई कानून संवैधानिक से परे तो नहीं है।

बयान

वक्फ विधेयक पर सुप्रीम कोर्ट क्या परखेगा?

लोकसभा के पूर्व महासचिव पीडीटी आचार्य ने नवभारत टाइम्स से कहा, "पहले यह देखना है कि वक्फ की संपत्ति का मामला धार्मिक तत्व लिए हुए है या नहीं। वक्फ के लिए जो संपत्ति दी जाती है तो वह कई बार ऊपर वाले के काम के लिए और जरूरतमंद की सेवा के उद्देश्य का भाव होता है। यहां यह विवेचना हो सकती है कि वक्फ की संपत्ति का मामला धार्मिक मसले से जुड़ा है या नहीं?"

अन्य मामले

पहले कब-कब दी गई है कानूनों को चुनौती?

कई बार संसदीय कानूनों को कोर्ट में चुनौती दी गई है। पिछले साल सुप्रीम कोर्ट ने राजनीतिक पार्टियों को चंदे के लिए लाई गई चुनावी बॉन्ड योजना को रद्द कर दिया था। 2023 में सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद-370 हटाने के फैसले को बरकरार रखा था। अनुच्छेद-370 को केंद्र सरकार ने 2019 में निरस्त कर दिया था, जिसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई थी।