इलेक्ट्रिक स्कूटर्स में खराब बैटरियां हो सकती हैं आग की मुख्य वजह, जांच में आया सामने

देशभर से दोपहिया इलेक्ट्रिक वाहनों में आग लगने (Fire in Electric Vehicle) की कई घटनाएं पिछले महीनों में देखने को मिली थीं। समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक जांच रिपोर्ट्स में सामने आया है कि ये घटनाएं वाहनों की बैटरी (EV battery) में कमियों के कारण हुई थीं। जानकारों का मानना है की EVs की तकनीक नई है। अगर इन खबरों को नजरअंदाज किया गया या कार्रवाई करने में देरी की गई तो यह EVs के भविष्य पर नकारात्मक असर डालेगा।
ये घटनाएं मुख्यत: ओला इलेक्ट्रिक, प्योर EV और ओकिनावा के वाहनों में देखने को मिली थीं। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जांच में तीनों कंपनियों से जुड़ी आग की घटनाओं की जांच की गई। कुछ घटनाओं में लोगों की मृत्यु होने की भी खबरें थीं। ओला इलेक्ट्रिक ने दावा किया है कि यह थर्मल से जुड़ा एक अलग मुद्दा था। इसमें ओला के बैटरी प्रबंधन सिस्टम में कोई खराबी नहीं थी।
जांच में पाया गया है कि ओला के मामले में बैटरी सेल के साथ-साथ बैटरी प्रबंधन सिस्टम में भी समस्या थी। ओकिनावा के मामले में सेल और बैटरी मॉड्यूल में समस्या थी और प्योर EV के मामले में यह दिक्कत बैटरी केसिंग में थी। सरकार ने आगे के जांच के लिए तीनों EV कंपनियों से बैटरी सेल के सैंपल लिए हैं। अंतिम जांच रिपोर्ट लगभग दो सप्ताह में आने की उम्मीद है।
यह घटनाएं ऐसे समय में आई हैं जब भारत 2030 तक दोपहिया वाहनों की कुल बिक्री का 80 प्रतिशत E-स्कूटर और E-मोटरसाइकिलों से करने का लक्ष्य बना चुका है। वर्तमान में यह लगभग 2 प्रतिशत है। कई इलेक्ट्रिक स्कूटर में आग लगने की घटनाओं ने इलेक्ट्रिक स्कूटर के प्रति उत्साहित उपभोक्ताओं की भावना पर नकारात्मक असर डाला है। इनमें से कई ने इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन खरीदने का विचार बदल कर, इसके बजाय ICE-संचालित मॉडल का विकल्प चुना।
कंपनी द्वारा यह सलाह दी जाती है कि कभी भी अपनी बैटरी का चार्ज कम ना होने दें। यह बैटरी और स्कूटर दोनों को नुकसान पहुंचा सकता है। वहीं, तेज धूप और बारिश के संपर्क में आने से बैटरी और इलेक्ट्रिक मोटर को नुकसान पहुंच सकता है। इसलिए इसे खुले में पार्क करने से बचें। यदि आपका स्कूटर तीन सप्ताह से अधिक समय तक उपयोग नहीं किया जाएगा तो सुनिश्चित करे कि 50 प्रतिशत बैटरी चार्ज बनाए रखें।
लिथियम-आयन बैटरी में आग लगने की स्थिति में कुछ संकेत अनुभव हो सकते हैं। बैटरी बहुत ज्यादा गर्म या फूल सकती है। इसके साथ ही बैटरी का रंग फीका पड़ सकता है या इसमें से धुंआ निकलना शुरू हो सकता है।