दुनिया के सबसे शक्तिशाली पासपोर्ट की सूची आई सामने, किस स्थान पर है भारत?
क्या है खबर?
लंदन के वैश्विक नागरिकता और निवास सलाहकार फर्म हेनली एंड पार्टनर्स ने दुनिया के सबसे शक्तिशाली पासपोर्ट की सूची जारी कर दी है।
हेनली पासपोर्ट इंडेक्स 2025 की ग्लोबल रैंकिंग के अनुसार, सिंगापुर का पासपोर्ट सबसे ज्यादा ताकतवर है, जो 195 देशों तक वीजा-मुक्त पहुंच प्रदान करता है। दूसरे नंबर पर जापान का पासपोर्ट है।
यह रैंकिंग इंटरनेशनल एयर ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन (IATA) के डाटा पर आधारित है।
आइए इस सूची में भारत का स्थान जानते हैं।
भारत
इस स्थान पर है भारत
हेनली पासपोर्ट इंडेक्स 2025 ग्लोबल रैकिंग में 199 पासपोर्ट और 227 यात्रा गंतव्य शामिल हैं, जो उपयोगकर्ताओं को उनकी वैश्विक पहुंच के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी देते हैं।
पिछली बार भारतीय पासपोर्ट का स्थान 82वां था, जो इस बार बढ़कर 85वां हो गया है, जिससे नागरिक 57 विदेशी गंतव्यों पर वीजा के बिना जा सकते हैं।
इससे भारतीय पासपोर्ट धारक इंडोनेशिया, मालदीव और थाईलैंड जैसे विदेशी पर्यटन स्थल पर वीजा के बिना जा सकते हैं।
शीर्ष 5
ये हैं सबसे ताकतवर पासपोर्ट वाले शीर्ष 5 देश
सिंगापुर के पहले और जापान के दूसरे स्थान पर होने के बाद फ्रांस, जर्मनी, इटली, स्पेन, फिनलैंड और साउथ कोरिया 192 गंतव्यों तक वीजा-मुक्त पहुंच के साथ तीसरे स्थान पर हैं।
चौथे स्थान पर ऑस्ट्रिया, डेनमार्क, आयरलैंड, लक्जमबर्ग, नीदरलैंड, स्वीडन और नॉर्वे हैं, जिनके पासपोर्ट 191 देशों में वीजा-मुक्त यात्रा प्रदान करते हैं।
पांचवें स्थान पर बेल्जियम, न्यूजीलैंड, पुर्तगाल, स्विट्जरलैंड और यूनाइटेड किंगडम (UK) के पासपोर्ट हैं, जिनकी पहुंच 190 गंतव्यों तक वीजा-मुक्त है।
कमजोर पासपोर्ट
ये हैं दुनिया के सबसे कमजोर पासपोर्ट
सूची में भारत के पड़ोसी देश पाकिस्तान की स्थिति खराब है। पाकिस्तान और यमन संयुक्त रूप से 103वें स्थान पर है, जिनके पासपोर्ट धारक 33 गंतव्यों तक वीजा-मुक्त यात्रा कर सकते हैं।
104वें स्थान पर इराक का पासपोर्ट 31 गंतव्यों तक वीजा-मुक्त पहुंच प्रदान करता है।
105वें स्थान पर सीरिया के पासपोर्ट धारक 27 गंतव्यों पर वीजा-मुक्त यात्रा कर सकते हैं, जबकि आखिरी यानी 106वें स्थान पर अफगानिस्तान है, जिसके पासपोर्ट धारक के पास 26 गंतव्यों तक वीजा-मुक्त पहुंच है।
रैंकिंग
कैसे तय होती है पासपोर्ट की रैंकिंग?
हेनली पासपोर्ट इंडेक्स की रैंकिंग इस आधार पर तय होती है कि किस देश का पासपोर्ट धारक कितने देशों में वीजा-मुक्त यात्रा कर सकता है।
इसके लिए IATA के डाटा का उपयोग होता है। रैंकिंग के लिए पूरे साल रियलटाइम डाटा अपडेट किया जाता है और वीजा नीति के बदलावों का भी ध्यान रखा जाता है।
इस रैंकिंग की सूची साल में 2 बार जारी की जाती है, जिसमें पहली जनवरी में तो दूसरी जुलाई में जारी होती है।