रेप के सवाल पर राजस्थान के मंत्री बोले- विकृत मानसिकता के पीछे इंटरनेट, सेंसरशिप की जरूरत
देश में लगातार बढ़ रही रेप की घटनाओं को लेकर लोगों में गुस्सा है। लोग सरकारों से कठोर कानून बनाने समेत महिला सुरक्षा के लिए प्रभावी कदम उठाने की मांग कर रहे हैं। इसी बीच राजस्थान सरकार में मंत्री बीडी काला ने दोषियों की विकृत मानसिकता के पीछे इंटरनेट को वजह बताया है। उन्होंने कहा कि इसी वजह से रेप के मामलों में बढ़ोतरी होती है। इसलिए केंद्र सरकार को ऑनलाइन कंटेट पर सेंसरशिप लगाने की जरूरत है।
ऑनलाइन कंटेट पर लगे सेंसरशिप- काला
टोंक जिले में 6 वर्षीय बच्ची के साथ रेप और हत्याकांड पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने पत्रकारों से कहा, "विकृत मानसिकता इसके पीछे सबसे बड़ा कारण है। छोटे बच्चे से लेकर बड़ों तक जेब में मोबाइल है और उसमें इंटरनेट में जो सामग्री परोसी जा रही है वो बहुत ही आदमी के मस्तिष्क को विकृत करती है.. जैसे सिनेमा में तो सेंसरशिप है, लेकिन मोबाइल में जो चीजें देखी जाती है उसमें सेंसरशिप लागू होनी चाहिए।"
केवल शिक्षा से जुड़ा होना चाहिए ऑनलाइन कंटेट- काला
काला ने इससे पहले जयपुर में मीडिया को संबोधित करते हुए कहा था कि केंद्र सरकार को तुरंत ऑनलाइन कंटेट पर बैन लगाना चाहिए। केवल शिक्षा से जुड़ा कंटेट इसके अंतर्गत आना चाहिए।
टोंक में 6 वर्षीय बच्ची से हुआ था रेप
शनिवार को टोंक जिले में एक छह वर्षीय बच्ची स्कूल के कार्यक्रम में हिस्सा लेने के लिए गई थी, लेकिन वापस नहीं लौटी। नाबालिग बच्ची के गले पर उसका स्कूली बेल्ट मिला था, जिसका इस्तेमाल हत्या में किया गया। पुलिस ने इस मामले में आरोपी ट्रक ड्राइवर को गिरफ्तार किया था। आरोपी ने शराब के नशे में इस घटना को अंजाम दिया। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने राजस्थान सरकार से रिपोर्ट मांगी है।
महिला वेटरनरी डॉक्टर के साथ हुई हैवानियत से स्तब्ध है पूरा देश
बीते सप्ताह तेलंगाना में एक महिला वेटरनरी डॉक्टर की रेप कर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में गिरफ्तार चार आरोपियों ने डॉक्टर की लाश के साथ भी रेप किया था। सबूत मिटाने के लिए उन्होंने लाश को कंबल में लपेटकर आग के हवाले कर दिया। इस हैवानियत ने दिल्ली के निर्भया गैंगरेप की याद दिला दी। राज्य सरकार ने आरोपियों के ट्रायल के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट की स्थापना का ऐलान किया है।