तीसरी लहर की तैयारी: 5,000 युवाओं को स्वास्थ्य सहायक का प्रशिक्षण देगी दिल्ली सरकार
कोरोना वायरस महामारी की तीसरी लहर का मुकाबला करने की तैयारियां कर रही दिल्ली सरकार 5,000 युवाओं को स्वास्थ्य सहायक (कम्युनिटी नर्सिंग असिस्टेंट) का प्रशिक्षण देगी। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को इसका ऐलान किया। इसके लिए रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया 17 जून से आरंभ होगी और 28 जून से इनका प्रशिक्षण शुरू हो जाएगा। 500-500 के बैच में यह प्रशिक्षण दिया जाएगा। गौरतलब है कि कई विशेषज्ञों ने छह महीनों के भीतर कोरोना की तीसरी लहर का अनुमान जताया है।
जरूरत के हिसाब से ली जाएगी स्वास्थ्य सहायकों की सेवा
प्रशिक्षण के बाद ये युवा अस्पतालों में डॉक्टरों और नर्सों के सहायक के तौर पर काम करेंगे। दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ने कहा कि तीसरी लहर में जरूरत के हिसाब से इन युवाओं की सेवा ली जाएगी और इन्हें काम के दिनों के हिसाब से वेतन दिया जाएगा। स्वास्थ्य सहायक का प्रशिक्षण लेने के लिए न्यूनतम आयु सीमा 18 साल रखी गई है और इच्छुक उम्मीदवार का 12वीं पास होना जरूरी है।
डॉक्टरों और नर्सों के आदेश पर काम करेंगे स्वास्थ्य सहायक
इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी दिल्ली के नौ बड़े मेडिकल संस्थानों में दो हफ्ते तक इन युवाओं को पैरामेडिक्स, नर्सिंग, लाइफ सेविंग, फर्स्ट ऐड और होम केयर का प्रशिक्षण दिलवाएगी। एक बैच के प्रशिक्षण के बाद दूसरा बैच शुरू होगा। केजरीवाल ने बताया कि इसके लिए 'पहले आओ-पहले पाओ' आधार पर युवाओं का रजिस्ट्रेशन होगा। उन्होंने कहा कि ये स्वास्थ्य सहायक अपने मर्जी से कोई फैसले नहीं ले पाएंगे और इन्हें डॉक्टरों और नर्सों के आदेश पर काम करना होगा।
तीसरी लहर के मुकाबले की चल रही तैयारियां- केजरीवाल
ऑनलाइन प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से दिल्ली में तीसरी लहर के मुकाबले के लिए तैयारी चल रही है। अस्पतालों में ऑक्सीजन प्लांट लगाए जा रहे हैं और ऑक्सीजन कॉन्सन्ट्रेटर का इंतजाम किया जा रहा है। बता दें कि राजधानी दिल्ली अब तक कोरोना महामारी की चार लहर झेल चुकी है और चौथी लहर (देश में दूसरी लहर) में उसे भीषण तबाही का सामना करना पड़ा था।
तीसरी लहर में मामले और बढ़ने की आशंका
चौथी लहर के दौरान दिल्ली में दैनिक मामलों की संख्या 28,000 को पार कर गई थी और स्वास्थ्य व्यवस्था चरमरा गई थी। मरीजों को घर से अस्पताल पहुंचाने के लिए एंबुलेंस उपलब्ध नहीं थीं और अस्पताल पहुंचे मरीजों के लिए बिस्तर उपलब्ध नहीं थे। अगली लहर को लेकर विशेषज्ञों ने अनुमान जताया है कि दिल्ली में दैनिक मामलों की संख्या 37,000 से पार हो सकती है। ऐसे में दिल्ली सरकार को इसी आधार पर अपनी तैयारियां करनी होंगी।
दिल्ली में फिलहाल सुधरे हालात
दिल्ली में बीते कुछ दिनों से हालात काबू में हैं और दैनिक मामलों की संख्या घट रही है। स्थिति नियंत्रण में देखते हुए सरकार ने अधिकतर पाबंदियों से छूट दे दी है और मेट्रो, बाजार और शॉपिंग मॉल्स का संचालन पहले की तरह शुरू हो गया है। पांच हफ्ते चले लॉकडाउन के बाद सरकार अब चरणबद्ध तरीके से पाबंदियां हटा रही है। माना जा रहा है कि हालात नियंत्रण में रहने पर अगले हफ्ते कई और प्रतिबंध हट सकते हैं।