कोरोना वायरस: रेड जोन में रखे जाएंगे हरियाणा के 20 जिले- रिपोर्ट
देश में कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई को जारी रखते हुए सरकार अलग-अलग इलाकों को तीन जोन में विभाजित कर रही है। इस कड़ी में हरियाणा के 20 जिलों को रेड जोन में रखा गया है। 20 अप्रैल के बाद लॉकडाउन में छूट देने के लिए इन जिलों को जोन में विभाजित किया जा रहा है। जिन 20 जिलों को रेड जोन में रखा जाएगा, उनमें लगभग 6,000 लोगों को क्वारंटाइन किया गया है।
नूंह, पलवल, फरीदाबाद और गुरुग्राम सबसे ज्यादा प्रभावित
हरियाणा में नूंह, पलवल, फरीदाबाद और गुरुग्राम इस महामारी से सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, नूंह में 45, पलवल में 29, फरीदाबाद में 33 और गुरुग्राम में 32 लोगों में संक्रमण की पुष्टि हो चुकी है। हरियाणा के जींद जिले में सबसे ज्यादा 607 लोगों को निगरानी में रखा गया है। इसके बाद पानीपत, पंचकूला, करनाल और भिवानी का नंबर है। इनमें जींद से थोड़े कम लोगों को निगरानी में रखा गया है।
हरियाणा के 22 में से 20 जिलों तक पहुंचा कोरोना
रिपोर्ट्स के अनुसार, हरियाणा के 22 में से 20 जिलों तक कोरोना वायरस का संक्रमण पहुंच चुका है। अब केवल दो जिले महेंद्रगढ़ और रेवाड़ी ही कोराेना वायरस से बचे हुए हैं।
हरियाणा में अब तक तीन मौतें
न्यू इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, रेड जोन में कई जिले ऐसे भी हैं, जिनके कुछ ब्लॉक को येलो जोन में रखा जाएगा। कुल 17 जिलों के 49 खंडों को येलो जोन में रखा जाएगा। इसी तरह 17 जिलों के 66 ब्लॉक को ग्रीन जोन में रखा गया है। राज्य में शुरुआती दो सप्ताह में तेजी से मामले बढ़े थे। अब तक हरियाणा में 199 लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई है, जिनमें से तीन की मौत हो चुकी है।
मुख्यमंत्री बोले ग्राफ स्थिर हुआ
राज्य के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा है कि प्रदेश में कोरोना वायरस के नए मामले सामने आने का ग्राफ बढ़ने की बजाय स्थिर हुआ है। अब सबको इसके नीचे आने का इंतजार है। उन्होंने कहा कि सरकार की कोशिश है कि संक्रमण को फैलने से रोका जा सके। खट्टर ने कहा कि राज्य में 20 अप्रैल तक लॉकडाउन का सख्ती से पालन कराया जाएगा। इसके बाद स्थिति देखते हुए इसमें ढील देने का विचार किया जाएगा।
हरियाणा सरकार के इस फैसले पर हुआ था विवाद
हरियाणा सरकार ने लॉकडाउन के बीच शराब उत्पादन शुरू करने के आदेश दिए थे। शराब की बिक्री बंद रहने के बाद बावजूद उत्पादन के आदेश पर विपक्ष ने खूब हल्ला मचाया था। इस आदेश का बचाव करते हए उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा कि यह आदेश पड़ोसी राज्यों को एक्स्ट्रा न्यूट्रल एल्कोहल (ENA) सप्लाई करने के लिए है। ENA शराब की फैक्ट्रियों से निकलता है और इसका इस्तेमाल सैनिटाईजर बनाने में होता है।