JEE, NEET की तैयारी के लिए गैप-ईयर लेने से पहले इन पहलुओं पर करें विचार
भारत के शीर्ष इंजीनियरिंग संस्थानों में प्रवेश के लिए संयुक्त प्रवेश परीक्षा (JEE) और शीर्ष मेडिकल संस्थानों में प्रवेश के लिए राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (NEET) का आयोजन होता है। 12वीं पास करने के बाद छात्र इन परीक्षाओं में शामिल होते हैं। ये दोनों ही प्रवेश परीक्षाएं काफी प्रतिस्पर्धी हैं। ऐसे में अधिकांश छात्र तैयारी के लिए एक साल का गैप (अंतराल) लेते हैं। आइए जानते हैं गैप-ईयर लेने से पहले छात्रों को किन चीजों पर विचार करना चाहिए।
अपनी तैयारी का स्तर जानिए
गैप-ईयर का निर्णय लेने से पहले उम्मीदवारों को अपनी वर्तमान तैयारी के स्तर की जांच करनी चाहिए। अगर आने वाली प्रवेश परीक्षा को लेकर आप पूरी तरह से तैयार नहीं है तो गैप-ईयर ले सकते हैं। इस दौरान केंद्रित प्रयास से आप अपने स्कोर में सुधार कर सकते हैं। अगर आपकी तैयारी का स्तर अच्छा है और कम सुधार की आवश्यकता है तो गैप-ईयर लेने से बचें। कम समय में बेहतर तैयारी का प्रयास करें।
कमजोरियों की पहचान करें
गैप-ईयर लेने के पीछे छात्रों का मकसद होता है कि वे अतिरिक्त समय में अच्छी तैयारी कर सकें। ऐसे में कोई भी निर्णय लेने से पहले अपने प्रदर्शन का विश्लेषण करें। विभिन्न विषयों के मॉक टेस्ट हल करके अपनी कमजोरियों को पहचानें। अगर किसी विषय में आपके नंबर बहुत कम आ रहे हैं तो आप गैप-ईयर लेने पर विचार कर सकते हैं। अगर आपका स्कोर पसंदीदा कॉलेज के कट-ऑफ अंकों के करीब है तो गैप-ईयर लेने की आवश्यकता नहीं है।
मानसिक और शारीरिक स्थिति पर विचार करें
किसी भी परीक्षा की तैयारी करना उम्मीदवारों को मानसिक और शारीरिक रूप से तनावग्रस्त कर सकता है। ऐसे में अपनी मानसिक और शारीरिक स्थिति पर विचार करें। गैप-ईयर लेने से पहले सुनिश्चित करें कि आप एक और वर्ष गहन तैयारी के लिए मानसिक और शारीरिक रूप से तैयार हैं। अगर कम समय में अच्छे प्रदर्शन का अत्याधिक दबाव हो रहा है तो गैप-ईयर लेने पर विचार कर सकते हैं। इस दौरान दबाव से दूर हटकर तैयारी पर फोकस करें।
काउंसलर की मदद लें
गैप-ईयर लेने का निर्णय एक बेहद अहम फैसला है। इससे छात्रों के भविष्य पर नकारात्मक और सकारात्मक दोनों तरीके से प्रभाव पड़ सकता है। ऐसे में उम्मीदवारों को करियर काउंसलर की मदद लेनी चाहिए। ऐसे व्यक्तियों से बात करें जिनके पास प्रतिस्पर्धी परीक्षाओं के लिए मार्गदर्शन देने का अनुभव है। ऐसे लोग उम्मीदवारों की स्थिति और आगामी परिणाम का आंकलन कर अच्छी सलाह प्रदान कर सकते हैं। उम्मीदवार पूर्व अनुभवी छात्रों से भी बातचीत कर सकते हैं।
वैकल्पिक विकल्प की तलाश करें
उम्मीदवार ऐसे वैकल्पिक करियर विकल्प या पाठ्यक्रमों की तलाश करें जो प्रतिस्पर्धी परीक्षाओं पर निर्भर न हों। अगर आपके पास एक बैकअप योजना होगी तो ये गैप-ईयर लेने के दबाव को कम कर सकता है। इससे आप शांत रहकर तैयारी कर सकते हैं।