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बढ़ती सड़क दुर्घटनाओं के चलते सरकार लगा रही सीट बेल्ट अलार्म ब्लॉकर्स की बिक्री पर रोक
सीट बेल्ट अलार्म ब्लॉकर्स पर रोक के लिये सरकार का जोर

बढ़ती सड़क दुर्घटनाओं के चलते सरकार लगा रही सीट बेल्ट अलार्म ब्लॉकर्स की बिक्री पर रोक

Sep 09, 2022
08:30 am

क्या है खबर?

सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (MoRTH) ने उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय से अनुरोध किया है कि अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसी ई-कॉमर्स कंपनियों को कार सीट बेल्ट अलार्म बंद करने वाले डिवाइस की बिक्री से रोका जाना चाहिये। टाटा सन्स के पूर्व चेयरमैन साइरस मिस्त्री की सड़क दुर्घटना में सीट बेल्ट न लगाने से हुई मृत्यु की घटना से सरकार इससे जुड़े सभी मुद्दों पर सचेत हो गई है और एक निर्णायक भूमिका में नजर आ रही है।

बिक्री

पहले भी दिया गया था नोटिस

समाचार एजेंसी PTI की रिपोर्ट के मुताबिक एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने जानकारी दी है कि सीट बेल्ट अलार्म को बंद करने के लिए डिजाइन किए गए उपकरणों की ऑनलाइन बिक्री हो रही है, जिसे रोकने के लिए परिवहन मंत्रालय ने आग्रह किया है। रिपोर्ट के अनुसार, इस साल मई में भी MoRTH की शिकायत पर केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण ने ऐसे डिवाइस बेचने वाली ई-कॉमर्स कंपनियों को नोटिस भेजा था।

नई योजना

पिछली सीटों के लिये अलार्म की योजना

इसके अलावा, केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने वाहनों में सभी यात्रियों की सुरक्षा बढ़ाने पर जोर देते हुऐ बयान जारी किया है कि सरकार सभी वाहन निर्माताओं के लिए पिछली सीटों पर भी सीट बेल्ट अलार्म सिस्टम को अनिवार्य करने की योजना बना रही है। उन्होंने मिस्त्री की घातक दुर्घटना में मौत के बाद पिछली सीटों पर भी इस तरह के अलार्म की आवश्यकता पर प्रकाश डालते हुए यह ट्वीट किया था।

नियम

क्या है सीट बेल्ट को लेकर नियम?

मौजूदा समय में सभी वाहन निर्माताओं के लिए आगे की सीट पर बैठे यात्रियों के लिए सीट बेल्ट रिमाइंडर देना अनिवार्य है। हालांकि, केंद्रीय मोटर वाहन अधिनियम 138 (3) के तहत सीट बेल्ट नहीं पहनने वाले आगे या पीछे के सभी यात्रियों पर 1,000 रुपये का जुर्माना लगता है। फिर भी ज्यादातर लोग इससे अनजान होते हैं और ट्रैफिक पुलिस भी पीछे की सीट पर बैठे यात्रियों पर सीट बेल्ट लगाने के लिए सख्ती नहीं करती है।

अलार्म ब्लॉकर्स

VIP भी करते हैं इन डिवाइस का प्रयोग

एक शिखर सम्मेलन के दैरान नितिन गडकरी ने पिछले एक साल में चार अलग-अलग राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ हुई अपनी यात्रा के अनुभव को याद करते हुऐ बताया कि उन सभी के ड्राइवरों के पास सीट बेल्ट अलार्म को बंद करने के लिये कई क्लिप मौजूद थे। इसी विषय को लेकर सरकार चिंचित है और इस तरह की सभी डिवाइस पर प्रतिबंध लगाने की पूरी कोशिश कर रही है।

जानकारी

न्यूजबाइट्स प्लस

केंद्रीय परिवहन मंत्रालय की एक रिपोर्ट के अनुसार, 2020 में सीट बेल्ट नहीं पहनने के कारण मरने और घायल होने वालों की संख्या क्रमशः 15,146 और 39,102 रही थी। सरकार का जोर इन आंकड़ों में कमी लाने पर है।