कोरोना: डेल्टा वेरिएंट से नई लहर का खतरा, इन देशों में फिर लगने लगीं पाबंदियां
क्या है खबर?
भारत में महामारी की दूसरी लहर का कारण बना कोरोना वायरस का डेल्टा वेरिएंट अब दूसरे देशों में भी तेजी से फैलने लगा है।
ब्रिटेन में 90 प्रतिशत लोग इस वेरिएंट से संक्रमित हो रहे हैं तो रूस के सैंट पीट्सबर्ग में इसके चलते रिकॉर्ड मौतें हो रही हैं।
डेल्टा वेरिएंट के कारण महामारी की नई लहर के डर के बीच कई देशों ने फिर से पाबंदियां लगानी शुरू कर दी हैं।
आइये, इन पाबंदियों पर एक नजर डालते हैं।
चिंता
डेल्टा वेरिएंट को लेकर बहुत चिंता- WHO
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के प्रमुख डॉ टेड्रोस अधेनोम गैब्रेयेसस ने कहा कि अभी डेल्टा वेरिएंट को लेकर बहुत चिंता है। यह अब तक पहचाने गए वेरिएंट्स में सबसे अधिक संक्रामक है। यह कम से कम 85 देशों में पाया जा चुका है और उन लोगों में तेजी से फैल रहा है, जिन्हें वैक्सीन नहीं लग पाई है।
बता दें कि यह वायरस पिछले साल सबसे पहले भारत में पाया गया था और धीरे-धीरे बाकी जगह फैलता गया।
जानकारी
बांग्लादेश में सोमवार से एक हफ्ते का लॉकडाउन
बांग्लादेश सरकार ने कहा कि वो नए वेरिएंट के खतरे को देखते हुए सोमवार से एक सप्ताह का राष्ट्रीय लॉकडाउन लागू करने जा रही है। इस दौरान आपातकालीन सेवाओं को छोड़कर बाकी सभी गतिविधियों पर रोक रहेगी।
कोरोना का खतरा
सिडनी में दो हफ्ते लागू रहेगा लॉकडाउन
दूसरी तरफ ऑस्ट्रेलिया के सबसे बड़े शहर सिडनी में दो हफ्तों का लॉकडाउन लागू हो चुका है।
यहां लोगों को केवल जरूरत के समय ही घर से बाहर निकलने को कहा गया है। इस लॉकडाउन का असर सिडनी में रहने वाले लगभग 50 लाख लोगों के साथ-साथ आसपास के छोटे शहरों पर भी पड़ेगा।
अलजजीरा के मुताबिक, यहां डेल्टा के खतरे को देखते हुए न्यूजीलैंड ने भी तीन दिनों तक ऑस्ट्रेलिया से क्वारंटीन फ्री आगमन को रोक दिया है।
कोरोना वायरस
इंडोनेशिया में दर्ज हुए रिकॉर्ड मामले
इंडोनेशिया इन दिनों कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को झेल रहा है और यहां शनिवार को 21,000 से अधिक लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई। यह एक दिन में मिले संक्रमितों की सबसे बड़ी संख्या है।
इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विडोडो ने कहा कि देश के लगभग 27 करोड़ लोग इस समय 'असाधारण स्थिति' का सामना कर रहे हैं। उन्होंने लोगों की सहूलियत के लिए तुरंत और उचित नीतियां बनाने का आश्वासन दिया है।
कोरोना का खतरा
इजराइल में वापस लिया गया मास्क की पाबंदी हटाने का फैसला
सबसे तेज और सफल वैक्सीनेशन अभियान के सहारे इजराइल ने कोरोना संक्रमण पर काबू पा लिया था। 10 दिन पहले यहां की सरकार ने बंद स्थानों पर भी मास्क पहनने की पाबंदी को हटा दिया था, लेकिन अब यहां डेल्टा वेरिएंट अपने पैर पसार रहा है।
बीते लगातार चार दिनों से यहां डेल्टा वेरिएंट के चलते 100 से अधिक मामले सामने आ रहे हैं, जिसके बाद सरकार ने मास्क की पाबंदी हटाने वाला अपना फैसला वापस ले लिया है।
रूस
सैंट पीट्सबर्ग में रिकॉर्ड मौतें, फिर लगीं पाबंदियां
रूस के पीट्सबर्ग में शनिवार को कोरोना के चलते 107 मौतें हुईं, जो महामारी के बाद से एक दिन का सबसे बड़ा आंकड़ा है।
पिछले कुछ दिनों से मामलों में बढ़ोतरी को देखते हुए यहां पर खाने की दुकानें बंद करने समेत कई पाबंदियां लगाई गई है। रूस में बीते दो सप्ताह से बढ़ रहे संक्रमण के मामलों के पीछे मुख्य तौर पर डेल्टा वेरिएंट को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है।
इसके पड़ोसी फिनलैंड में भी मामले बढ़ने लगे हैं।
कोरोना संक्रमण
दक्षिण अफ्रीका में प्रमुखता से फैलने लगा डेल्टा
अफ्रीका में भी ऐसा ही हाल है और यहां अस्पतालों में कोरोना संक्रमितों की संख्या तेजी से बढ़ रही है।
अफ्रीका सेंटर्स ऑफ डिसीज कंट्रोल एंड प्रीवेंशन ने कहा कि अफ्रीका के 12 देशों में चिंताजनक दर पर मामले बढ़ रहे हैं।
दक्षिण अफ्रीका में शुक्रवार को 18,000 से अधिक मामले सामने आए वैज्ञानिकों का कहना है कि यहां डेल्टा वेरिएंट प्रमुखता से फैल रहा है। यहां के स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि तीसरी लहर दूसरी से ज्यादा खतरनाक होगी।
विशेषज्ञों की राय
संक्रमण रोकने के लिए 80 फीसदी आबादी को वैक्सीनेट करने की जरूरत
विशेषज्ञों का कहना है कि डेल्टा वेरिएंट को रोकने के लिए 80 प्रतिशत आबादी को वैक्सीन लगाने की जरूरत है।
यह अमेरिका जैसे देशों के लिए भी चुनौती है, जहां वैक्सीनेशन अभियान तेजी से चल रहा है। दूसरी तरफ अफ्रीका के लिए यह चिंता की बात है क्योंकि यहां अब तक केवल एक फीसदी आबादी को पूरी तरह वैक्सीनेट किया गया है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन कई बार अमीर देशों से गरीब देशों के लिए वैक्सीन की मांग कर चुका है।
कोरोना वायरस
दुनियाभर में क्या है संक्रमण की स्थिति?
जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के मुताबिक, दुनियाभर में अब तक लगभग 18.07 करोड़ लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुके हैं, वहीं 39.15 लाख लोगों की मौत हुई है।
सर्वाधिक प्रभावित अमेरिका में 3.36 करोड़ लोग संक्रमित हो चुके हैं और 6.04 लाख लोगों की मौत हुई है।
अमेरिका के बाद भारत दूसरा सर्वाधिक प्रभावित देश है। यहां अब तक 3.02 करोड़ लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई है और 3.95 लाख लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है।