बिहार: पप्पू यादव की पार्टी का कांग्रेस में विलय, पूर्णिया से लड़ सकते हैं लोकसभा चुनाव
लोकसभा चुनाव से पहले पार्टियां अपने विकल्प आजमाने में जुटी हैं। इसी कड़ी में बिहार में पप्पू यादव ने अपनी जन अधिकार पार्टी (JAP) का कांग्रेस में विलय कर दिया है। दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसका ऐलान किया गया। खबर है कि पप्पू अब कांग्रेस के टिकट पर पूर्णिया से चुनाव लड़ सकते हैं। बता दें कि पप्पू की पत्नी रंजीत रंजन को कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ से राज्यसभा भेजा हुआ है।
कांग्रेस बोली- ये ऐतिहासिक विलय
इस मौके पर कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा, "यह ऐतिहासिक विलय है। इसमें देश की राजनीति और प्रदेश की राजनीति को बदलने की ताकत है। ये कोई साधारण नहीं, बहुत ऐतिहासिक विलय है।" बिहार के कांग्रेस प्रभारी मोहन प्रकाश ने कहा, "साझेदारी न्याय से प्रभावित होकर पप्पू यादव ने कांग्रेस में विलय करने का निर्णय लिया है। पप्पू यादव के आने से बिहार में कांग्रेस के साथ घटक दलों को भी मजबूती मिलेगी।"
पप्पू ने की राहुल गांधी और कांग्रेस की तारीफ
कांग्रेस में शामिल होने के बाद पप्पू ने कहा, "CBI-ED के जरिए कोई 400 का आंकड़ा पार कर जाए, लेकिन हिंदुस्तान राहुल गांधी जी के साथ है। OBC के प्रति जो समर्पण राहुल जी का है, मैं एक साधारण गिलहरी की तरह रहना चाहता हूं। मैंने कांग्रेस की मर्यादा का पालन करना बचपन में सीखा। ऊंट बैठ भी जाए तो गधे से ऊंचा रहता है। समय बताएगा वे लोग कितने अंक का आंकड़ा पार करेंगे।"
पप्पू ने लालू और तेजस्वी यादव से की थी मुलाकात
पप्पू ने एक दिन पहले राष्ट्रीय जनता दल (RJD) सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव और तेजस्वी यादव से मुलाकात की थी। इसके बाद पप्पू ने दोनों नेताओं के साथ तस्वीर साझा कर लिखा था, 'आज अभिभावक पितातुल्य आदरणीय लालू जी, माननीय नेता प्रतिपक्ष भाई तेजस्वी जी के साथ पारिवारिक माहौल में मुलाकात! मिलकर बिहार में BJP को जीरो पर आउट करने की रणनीति पर चर्चा हुई। बिहार में INDIA गठबंधन की मजबूती, सीमांचल, कोसी, मिथिलांचल में 100 प्रतिशत सफलता लक्ष्य है।'
पप्पू के आने से INDIA गठबंधन को क्या फायदा?
पप्पू के साथ आने से पूर्णिया और मधेपुरा जैसी सीट पर INDIA गठबंधन को मजबूती मिलेगी और भाजपा की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। इसके अलावा कोसी और सीमांचल के इलाके में भी गठबंधन को फायदा मिल सकता है क्योंकि इस इलाके पर पप्पू की मजबूत पकड़ मानी जाती है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, पप्पू ने कथित तौर पर गठबंधन को पूर्णिया के अलावा मधेपुरा और सुपौल सीट पर जीत की गारंटी देने की बात कही है।
कौन हैं पप्पू?
24 दिसंबर, 1967 को जन्मे पप्पू एक बार विधायक और 5 बार सांसद रह चुके हैं। 1990 में अपना पहला चुनाव निर्दलीय जीत वे विधायक बने। बाद में वे RJD में शामिल हो गए और 1991 से 2014 तक सांसद चुने गए। 2015 में उन्होंने RJD से नाता तोड़ JAP बनाई। हालांकि, 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। 2015 और 2020 के विधानसभा चुनाव में उनकी पार्टी के एक भी प्रत्याशी को जीत नहीं मिली।