पंजाब: AAP के भगवंत मान ने ली मुख्यमंत्री पद की शपथ
आम आदमी पार्टी (AAP) के भगवंत मान ने आज पंजाब के 17वें मुख्यमंत्री के तौर में शपथ ली। राज्यपाल ने भगत सिंह के पैतृक गांव खटकड़ कलां में हुए शपथ ग्रहण समारोह में उन्हें शपथ दिलाई। इस समारोह में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल समेत AAP के तमाम बड़े नेता शामिल हुए। समारोह में लाखों की संख्या में आम लोग आए। मान 1970 के दशक के बाद पंजाब के सबसे युवा मुख्यमंत्री हैं।
राज्यपाल ने दिलाई शपथ
पंजाब के इतिहास का नया अध्याय शुरू हो रहा- मान
शपथ लेने के बाद बतौर मुख्यमंत्री अपने पहले संबोधन में मान ने कहा कि राज्य के इतिहास में एक नया अध्याय शुरू हो रहा है। उन्होंने कहा कि वो पंजाब के हर एक आदमी के लिए काम करेंगे। जिन लोगों ने आम आदमी पार्टी को वोट नहीं दिया है, यह उनकी भी सरकार होगी। उन्होंने पार्टी विधायकों और कार्यकर्ताओं से अहंकार से दूर रहने की भी अपील की है।
आजादी भारत के लिए चिंतित थे भगत सिंह- मान
स्वतंत्रता सेनानी भगत सिंह को याद करते हुए मान ने कहा, "भगत सिंह आजादी के बाद के भारत के लिए चिंतित थे। हम यहीं रहेंगे और हमारी जमीन का विकास सुनिश्चित करेंगे। बेरोजगारी से लेकर खेती तक... हम हर चीज ठीक करेंगे और छोटी से छोटी समस्याओं का समाधान ढूढ़ेंगे। हम पंजाब में स्कूल और अस्पताल बनवाएंगे। हमें केवल आपके आशीर्वाद की जरूरत है।" मान ने केजरीवाल की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने राष्ट्रीय राजनीति को बदल दिया है।
समारोह पर पैसे की फिजूलखर्ची के कारण उठ रहे सवाल
AAP का ये शपथ ग्रहण समारोह विवादों से भी अछूता नहीं है और खुद को "आम आदमी की पार्टी" बताने वाली AAP के इस पर करोड़ों रुपये खर्च करने पर सवाल उठ रहे हैं। समारोह के लिए खटकड़ कलां 150 एकड़ खड़ी फसल को साफ किया गया है। हर एकड़ के लिए किसानों को 46,000 रुपये का मुआवजा दिया गया है, यानि कुल 69 लाख का मुआवजा दिया जाएगा। इसके अलावा टीवी चैनलों को 85 लाख रुपये दिए गए हैं।
कौन हैं भगवंत मान?
मान का संगरूर जिले के सतोज गांव में 17 अक्टूबर, 1973 को हुआ था। वह एक जाने-माने कॉमेडियन भी रह चुके हैं। उन्होंने अपने राजनीतिक सफर की शुरूआत 2011 में 'पंजाब पीपल्स पार्टी' से की था, लेकिन पहले विधानसभा चुनाव में वह नहीं जीत सके। इसके बाद मार्च, 2014 में वह AAP में शामिल हुए और उसी साल लोकसभा चुनाव में संगरूर से जीतकर सांसद बने। 2019 लोकसभा चुनाव में वो अपनी सीट जीतने वाले एकमात्र AAP सांसद रहे।
लोगों में आसानी से घुल-मिल जाते हैं मान, विवादों से भी पुराना नाता
मान को ऐसे नेता के तौर पर देखा जाता है जो लोगों में आसानी से घुल-मिल जाते हैं। वे लोगों को आकर्षित करने में भी कामयाब रहते है और उनकी सभाओं में बड़ी संख्या में लोग आते हैं। मान विवादों से भी अछूते नहीं हैं और उन पर संसद की सुरक्षा समझौता करने जैसे कई गंभीर आरोप लग चुके हैं। उन पर शराब पीकर संसद आने का आरोप भी लगा था, जिसके बाद उन्होंने शराब छोड़ने की शपथ ले ली।
विधानसभा चुनाव में देखने को मिली थी AAP की सुनामी
बता दें कि विधानसभा चुनाव में स्वीप के बाद AAP पंजाब में सरकार बनाने जा रही है। पार्टी ने राज्य की 117 में से 92 सीटों पर जीत दर्ज की है। सत्तारूढ़ कांग्रेस मात्र 18 सीटें जीत पाई। अकाली दल तीन और अमरिंदर सिंह और भाजपा का गठबंधन मात्र दो सीटें जीत पाया। AAP की लहर में चरणजीत सिंह चन्नी, अमरिंदर सिंह, नवजोत सिंह सिद्धू, प्रकाश बादल और सुखबीर बादल जैसे तमाम बड़े नाम हार गए।
न्यूजबाइट्स प्लस
चुनाव से पहले ही AAP के मुख्यमंत्री उम्मीदवार घोषित कर दिए गए मान ने संगरूर जिले की धुरी विधानसभा सीट से 58,206 वोटों के धमाकेदार जीत हासिल की है। चुनाव आयोग के अनुसार, मान को कुल 82,592 वोट मिले हैं, जबकि उनके निकटतम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के उम्मीदवार दलवीर सिंह गोल्डी महज 24,386 वोट ही हासिल कर सके हैं। इसी तरह शिरोमणि अकाली दल (SAD) के प्रकाश चंद गर्ग को 6,991 वोट मिले हैं।