गुस्से को काबू में करने के लिए रोजाना करें इन योगासनों का अभ्यास, जल्द दिखेगा असर
गुस्सा आना आम बात है क्योंकि यह एक भावनात्मक प्रवृत्ति है। हालांकि अगर आपको छोटी-छोटी बातों पर ही गुस्सा आने लगे तो इसे आम समझकर नजरअंदाज न करें क्योंकि इससे आपके व्यक्तित्व और सेहत पर बुरा असर पड़ सकता है। अगर आपको यह समस्या है तो आप गुस्से को काबू में रखने के लिए योग का सहारा ले सकते हैं। आइए आज आपको कुछ ऐसे योगासनों के अभ्यास का तरीका बताते हैं जो गुस्से को नियंत्रित करने में सहायक हैं।
अर्ध धनुरासन
सबसे पहले योगा मैट पर पेट के बल लेट जाएं। अब अपने बाएं पैर को घुटने से मोड़ते हुए पीठ के पीछे ले जाएं और फिर इसकी एड़ी को बाएं हाथ से पकड़कर ऊपर उठाएं। इस दौरान अपने दाएं हाथ को जमीन पर रखें। अपनी क्षमतानुसार इस मुद्रा में बने रहें और धीरे-धीरे सांस लेते और छोड़ते रहें। फिर कुछ सेकेंड बाद धीरे-धीरे सामान्य हो जाएं। अब इसी प्रक्रिया को अपने दूसरे पैर से भी दोहराएं।
सर्वांगासन
सर्वांगासन का अभ्यास करने के लिए पहले योगा मैट पर पीठ के बल लेटकर दोनों हाथों को शरीर से सटाकर सीधा कर लें। अब सामान्य रूप से सांस लेते हुए पैरों, कूल्हों और कमर को धीरे-धीरे ऊपर की ओर उठाएं। इसके बाद हाथों से पीठ को सहारा देते हुए कोहनियों को जमीन से सटा लें। कुछ देर इसी मुद्रा में रहें और धीरे-धीरे वापस अपनी प्रारंभिक अवस्था में आ जाएं।
सुखासन
सुखासन के लिए पहले योगा मैट पर पैरों को सीधा करके बैठें। अब बाएं पैर को घुटने से मोड़कर दाएं पैर की जांघ के नीचे रखें। इसके बाद दाएं पैर को मोड़कर बाएं पैर की जांघ के नीचे रखें। अब दोनों हाथों को ध्यान मुद्रा में घुटनों पर रखें और अपनी दोनों आंखों को बंद करें। इस दौरान अपने शरीर को आरामदायक स्थिति में रखें। कुछ सेकेंड इसी स्थिति में रहने के बाद धीरे-धीरे आंखें खोलकर आसन को छोड़ दें।
बालासन
बालासन के अभ्यास के लिए पहले वज्रासन की मुद्रा में बैठें और फिर गहरी सांस लेते हुए हाथों को ऊपर उठाएं। अब सांस छोड़ते हुए धीरे-धीरे आगे की ओर झुकें और माथे को जमीन से सटाएं। इस अवस्था में दोनों हाथ सामने, माथा जमीन से टिका हुआ और छाती जांघों पर रहेगी। कुछ सेकंड इसी मुद्रा में रहकर सामान्य रूप से सांस लेते रहें और फिर सांस लेते हुए वापस वज्रासन की मुद्रा में आएं और सामान्य हो जाएं।