घर पर आसानी से बनाया जा सकता है आइसपैक, जानिए 5 तरीके
अमूमन लोग चोट लगने, सूजन होने या मोच आने पर आइसपैक का सहारा लेते हैं क्योंकि इससे स्थिति को सुधारने में मदद मिल सकती है। हालांकि, अगर आपके पास जरूरत के समय आइसपैक न हो तो इसे खरीदने के बजाय आप घर पर आसानी से बना सकते हैं। आइए आज हम आपको 5 तरह के आइसपैक बनाने के तरीके बताते हैं, जो दुकान से खरीदे गए आइसपैक के समान ही प्रभावी हैं।
चावल का करें उपयोग
चावल की तासीर ठंडी होती है इसलिए यह काफी अच्छे से आइसपैक का काम कर सकता है। इसके लिए सबसे पहले एक बंद करने योग्य प्लास्टिक बैग में 2 से 3 कप चावल भरें। इसके बाद लगभग 1 घंटे के लिए इसे फ्रीज में रख दें, फिर आवश्यकतानुसार इसका प्रयोग करें। आप इस आइसपैक का उपयोग प्रभावित जगह पर रोजाना 2-3 बार कर सकते हैं। यहां जानिए चावल के विभिन्न इस्तेमाल के तरीके।
नमक भी है असरदार
अगर आप ऐसा आइसपैक नहीं चाहते हैं, जो पत्थर जैसा ठोस लगे तो नमक और पानी से बने आइसपैक का उपयोग किया जा सकता है। नमक का आइसपैक बनाने के लिए सबसे पहले 2 कप पानी में 2 बड़ी चम्मच नमक डालें और नमक के घुलने का इंतजार करें। अब इस घोल को एक जिपलॉक बैग में डालें और कुछ घंटों के लिए फ्रीज में रख दें। आप इस आइसपैक का उपयोग रोजाना प्रभावित जगह पर कर सकते हैं।
बर्तन धोने वाला साबुन आएगा काम
यह एक बेहतरीन आइसपैक विकल्प है, जिसका उपयोग प्रारंभिक प्राथमिक चिकित्सा के लिए किया जा सकता है। इसके लिए सबसे पहले एक जिपलॉक फ्रीजर बैग में बर्तन धोने वाला साबुन डालें और इसे कुछ घंटों के लिए फ्रीज में रख दें, फिर आवश्यकता पड़ने पर प्रभावित जगह पर इसका प्रयोग करें। आप इस आइसपैक का उपयोग रोजाना कई बार कर सकते हैं। हालांकि, इसे स्टोर करके रखना सही नहीं है। यहां जानिए बर्तन धोने वाले साबुन से जुड़े हैक्स।
रबिंग अल्कोहल का आइसपैक
रबिंग अल्कोहल एक ऐसा तरल पदार्थ है, जो दुकान के आइसपैक जैसे ही काम कर सकता है। लाभ के लिए 2 कप पानी में 1 कप रबिंग अल्कोहल मिलाएं, फिर घोल को प्लास्टिक जिलॉक फ्रीजर बैग में डालकर कुछ घंटों के लिए फ्रीज में रख दें। ध्यान रखें कि यह आइसपैक आंखों के संपर्क में न आए। आप इस पैक को प्रभावित जगह पर 2-3 बार लगा सकते हैं और प्रत्येक उपयोग के बाद फ्रिज में भी रख सकते हैं।
डायपर कर सकता है मदद
बच्चों के मुलायम डायपर का उपयोग बतौर आइसपैक भी किया जा सकता है। सबसे पहले एक साफ डायपर को पानी भिगोएं, फिर इसे एक जिपलॉक फ्रीजर बैग में डालकर कुछ घंटों के लिए फ्रीज में रख दें। इसके बाद इसे प्रभावित क्षेत्र पर लगाएं और उपयोग के बाद फ्रिज में रख दें। अगर आप इसे प्रत्येक उपयोग के बाद फ्रिज में रखते हैं तो आप इसे प्रभावित क्षेत्र में कई बार ठंडी सिकाई के लिए उपयोग कर सकते हैं।