सिक्किम बाढ़: 7 सैनिकों अब तक 21 की मौत, 100 से ज्यादा अभी भी लापता
सिक्किम में बादल फटने के कारण तीस्ता नदी में आई बाढ़ में मरने वालों की संख्या 21 हो गई है। सेना के जवानों समेत 103 लोग लापता बताए जा रहे हैं, वहीं हजारों की संख्या में पर्यटक अभी भी फंस हुए हैं। भारतीय सेना बाढ़ में फंसे लोगों और पर्यटकों तक आवश्यक सामग्री पहुंचा रही है। इस बाढ़ के कारण सार्वजनिक संपत्ति को काफी नुकसान हुआ है। कई इलाकों में सर्च ऑपरेशन अब भी जारी है।
23 लापता जवानों में से 7 के शव मिले, 1 बचाया गया
मुख्यमंत्री पीएस तमांग ने कहा कि बुरदांग इलाके से लापता हुए 23 जवानों में से 7 के शव नदी के विभिन्न इलाकों से बरामद किए गए हैं, जबकि एक को बचा लिया गया है। 15 लापता जवानों की तलाश जारी है। बुरदांग इलाके में सेना के वाहन खोदकर निकाले जा रहे हैं। हादसे में लापता लोगों में से पाक्योंग में 59, गंगटोक में 22, मंगन में 17 और नामची में 5 लोग लापता हैं।
13 पुल ढहे, 1,471 पर्यटकों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया
बाढ़ ने राज्य में 13 पुलों को तबाह कर दिया है। अकेले मंगन जिले में 8 पुल बह गए। गंगटोक में 3 और नामची में 2 पुल नष्ट हो गये हैं। सेना के एक अधिकारी ने बताया कि लाचुंग और चुंगथांग इलाकों में फंसे 1471 पर्यटकों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है। एक रक्षा विज्ञप्ति में कहा गया है कि यदि आज मौसम साफ रहा तो हेलीकॉप्टरों के जरिए बाकी फंसे हुए पर्यटकों को निकाला जाएगा।
चुंगथांग शहर बाढ़ से सबसे अधिक प्रभावित
बाढ़ में चुंगथांग शहर का 80 प्रतिशत हिस्सा गंभीर रूप से प्रभावित हुआ है। राज्य की जीवन रेखा मानी जाने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग-10 को काफी नुकसान पहुंचा है। विज्ञप्ति के अनुसार, बाढ़ से हुए नुकसान का जायजा लेने और सड़क संपर्क की बहाली की योजना के लिए सभी एजेंसियों द्वारा एक सर्वेक्षण किया जा रहा है। वाहन यातायात के लिए सिंगल लेन को साफ करने के साथ सिंगतम और बुरदांग के बीच सड़क संपर्क बहाल कर दिया गया है।
कई इलाकों में सर्च ऑपरेशन जारी
एक सरकारी अधिकारी ने PTI को जानकारी दी कि आज तीसरे दिन भी भारतीय सेना और राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF) की टीमें उन लोगों की तलाश कर रही हैं, जो तीस्ता घाटी और निचले उत्तर बंगाल में पानी की तेज धार में बह गए थे। तलाश अभियान में TMR (तिरंगा माउंटेन रेस्क्यू), खोजी कुत्तों और विशेष रडार की टीमों के अलावा अन्य कई संसाधनों से मदद ली जा रही है।
बाढ़ आने की वजह क्या है?
सिक्किम में 4 अक्टूबर को उत्तरी सिक्किम में ल्होनक झील के ऊपर बादल फटने के कारण लाचेन घाटी में तीस्ता नदी का जलस्तर अचानक बढ़ गया और बाढ़ आ गई। चुंगथांग बांध बढ़े हुए जलस्तर के कारण टूट गया, जिससे स्थिति और बिगड़ गई। सिंगतम के पास बारदांग में खड़े सेना के वाहन बाढ़ के तेज पानी में बह गए। इस बाढ़ के कारण सिक्किम की राजधानी गैंगटोक का देश के बाकी हिस्सों से संपर्क टूट गया था।