वाहनों के निर्यात में आया 14 फीसदी का उछाल, जानिए 6 महीनों में कैसा रहा
देश में बनी कारों और दोपहिया वाहनों की विदेशों में मांग बढ़ रही है। इसी का नतीजा है कि चालू वित्तीय वर्ष के पहले 6 महीनों (अप्रैल-सितंबर) में कुल निर्यात में सालाना 14 फीसदी की बढ़त दर्ज हुई है। सोसाइटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स (SIAM) के आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल-सितंबर में कुल निर्यात 25.28 लाख रहा, जो एक साल पहले की समान अवधि में 22.11 लाख रहा था। बता दें कि पिछले वित्त वर्ष में कुल निर्यात 45,00,492 रहा था।
कार निर्यात में मारुति सबसे आगे
चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में कुल कार बिक्री में सालाना आधार पर 12 प्रतिशत की वृद्धि आई है। इस दौरान 3.76 लाख गाड़ियां अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भेजी गई हैं। दूसरी तरफ वित्त वर्ष 2024 की इसी अवधि में यह 3.36 लाख रहा था। इस दौरान सबसे ज्यादा मारुति सुजुकी ने 1.47 लाख कारों का निर्यात किया है, जो पिछले साल 1.31 लाख था। हुंडई मोटर कंपनी 86,105 गाड़ियों के निर्यात के साथ दूसरे पायदान पर है।
ऐसा रहा है दोपहिया वाहनों का निर्यात
दोपहिया वाहनों का निर्यात देखें तो इस वित्तीय वर्ष में अप्रैल-सितंबर की अवधि में 19.59 लाख हो गया, जबकि एक साल पहले इस दौरान 16.85 लाख बाइक-स्कूटर भेजे गए थे। 6 महीनों के दौरान स्कूटर का निर्यात 19 प्रतिशत बढ़कर 3.14 लाख हो गया, जबकि मोटरसाइकिल का सालाना 16 प्रतिशत बढ़कर 16.41 लाख पर पहुंच गया। इसी प्रकार कमर्शियल वाहनों का निर्यात 12 प्रतिशत बढ़कर 35,731 और तिपहिया वाहनों का 1.53 लाख रहा है।
इस कारण आया निर्यात में उछाल
निर्यात में आए उछाल को लेकर SIAM के अध्यक्ष शैलेश चंद्रा ने कहा, "लैटिन अमेरिका और अफ्रीका जैसे प्रमुख बाजार, जो विभिन्न कारणों से धीमे हो गए थे, वापस लौट आए हैं। यही निर्यात बढ़ने का मुख्य कारण है।" मुद्राओं के अवमूल्यन के कारण विभिन्न अफ्रीकी देशों और अन्य क्षेत्रों को चुनौतियों का सामना करना पड़ा। इसका सीधा असर वाहनों के निर्यात पर पड़ा था। इसके चलते वित्त वर्ष 2024 में ऑटोमोबाइल निर्यात में 5.5 प्रतिशत की गिरावट आई।