विश्व कप फाइनल ओवर थ्रो विवाद: अंपायर कुमार धर्मसेना ने मानी अपनी गलती
2019 क्रिकेट विश्व कप के फाइनल मुकाबले में ओवर थ्रो पर छह रन देने वाले ऑलफील्ड अंपायर कुमार धर्मसेना ने अपने गलत फैसले को स्वीकार किया है। धर्मसेना ने कहा कि थ्रो के दौरान दोनों खिलाड़ी एक-दूसरे को क्रॉस नहीं कर पाए थे। उनसे फैसले में गलती हुई, लेकिन इसके लिए अफसोस नहीं है। बता दें कि ICC के पूर्व अंपायर साइमन टॉफेल ने भी इस फैसले को गलत करार दिया था। आइये जानते हैं कि क्या है पूरी खबर।
मैदान पर कोई टीवी रिप्ले नहीं होता- धर्मसेना
श्रीलंका के पूर्व क्रिकेटर और मौजूदा ICC के अंपायर कुमार धर्मसेना ने मीडिया से बातचीत में कहा, "लोगों के लिए टीवी पर रिप्ले देखकर कमेंट करना आसान होता है। हाल ही में मैंने भी टीवी पर जब रिप्ले देखा, तब मुझे पता चला कि मुझसे सही फैसला लेने में गलती हुई।" आगे उन्होंने कहा, "हमारे पास मैदान पर कोई टीवी रिप्ले नहीं होता है। मुझसे गलती ज़रूर हुई, लेकिन मुझे इस फैसले पर कभी अफसोस नहीं रहेगा।"
इंग्लैंड को छह रन देना अंपायरों की चूक थी- साइमन टॉफेल
ICC के पूर्व महान अंपायर साइमन टॉफेल ने कहा, "इंग्लैंड को छह रन देना अंपायरों की चूक थी। ओवर-थ्रो के लिए इंग्लैंड को पांच की बजाय छह रन दिए गए। जब गेंद स्टोक्स के बल्ले से टकराई थी, तो दूसरा रन पूरा नहीं हुआ था।"
जानिए क्या था पूरा मामला
दरअसल, न्यूजीलैंड से मिले 241 रनों के लक्ष्य का पीछा करने के दौरान जब इंग्लैंड को जीत के लिए तीन गेंदो में नौ रनों की ज़रूरत थी, तो स्टोक्स के डीप मिडविकेट पर दो रन लेने के दौरान थ्रो उनके बैट से लगकर बाउंड्री की तरफ चला गया। ऑनफील्ड अंपायर कुमार धर्मसेना ने अपने सहयोगी अंपायर से बात करने के बाद इंग्लैंड को छह रन दिए। इन रनों ने इंग्लैंड की राह आसान कर दी और मैच टाई हो गया।
नियम के अनुसार ही गलत था कुमार धर्मसेना का फैसला
क्रिकेट में ओवर थ्रो के नियम 19.8 के मुताबिक, "अगर ओवर थ्रो से बाउंड्री मिलती है, तो इसमें दौड़कर लिए गए रनों के साथ बाउंड्री के रन भी दूसरी टीम को पेनल्टी के रूप में दिए जाएंगे। इस दौरान इसमें सिर्फ वो रन जोड़े जाएंगे, जिसे बल्लेबाजों ने पूरा कर लिया हो।" नियम के अनुसार फील्डर के थ्रो रिलीज करने से पहले अगर बल्लेबाज़ एक दूसरे को क्रॉस कर लेते हैं, तभी वह रन ओवर थ्रो में शामिल किया जाएगा।
अंपायर चूक न करते तो शायद कुछ और होता नतीजा
जब इंग्लैंड को जीत के लिए तीन गेंदो में नौ रनों की ज़रूरत थी, तो स्टोक्स के दो रन लेने के दौरान थ्रो उनके बैट से लग कर बाउंड्री की तरफ चला गया और इंग्लैंड को छह रन मिल गए। इस कारण मैच टाई रहा। इसके बाद सुपर ओवर में भी दोनों टीमों ने बराबर रन बनाए। लेकिन ज़्यादा बाउंड्री के कारण इंग्लैंड की मैच जीता दे दिया गया। अगर यह गलती न होती तो शायद नतीजा कुछ और होता।