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बढ़ती जा रही क्रेडिट कार्ड से जुड़ी धोखाधड़ी, फर्जी कॉल की कैसे करें पहचान? 
क्रेडिट कार्ड से जुड़े फर्जी कॉल पर कोई जानकारी शेयर न करें (तस्वीर: फ्रीपिक)

बढ़ती जा रही क्रेडिट कार्ड से जुड़ी धोखाधड़ी, फर्जी कॉल की कैसे करें पहचान? 

May 06, 2025
06:16 am

क्या है खबर?

देशभर में क्रेडिट कार्ड के बढ़ते इस्तेमाल के साथ ही इससे जुड़ी धोखाधड़ी की जोखिम भी बढ़ गई है। जालसाज नए-नए तरीकों के जरिए लोगों को धोखाधड़ी का शिकार बना रहे हैं। फर्जी क्रेडिट कार्ड कॉल के माध्यम से ऑनलाइन फ्रॉड के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। ऐसे में इन खतरों को समझना बहुत जरूरी हो जाता है। आइये जानते हैं फर्जी क्रेडिट कार्ड कॉल को पहचानने के क्या तरीके हैं और इस तरह की धोखाधड़ी से कैसे बचें।

#1

बैंक अधिकारी बनकर करते हैं कॉल

धोखेबाज अक्सर भारतीय रिजर्व बैंक (RBI), भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) या किसी बैंक का अधिकारी बनकर कॉल करते हैं। वे आपका क्रेडिट कार्ड ब्लैक होने की धमकी देकर बैंकिंग संबंधी जानकारी मांगते हैं। इस तरह आपको ठगी का शिकार बनाया जाता है। हाल ही में प्रेस सूचना ब्यूरो (PIB) ने इसी तरह की धोखाधड़ी का खुलासा किया था। आप RBI और SEBI की कस्टमर सर्विस टीम से संपर्क कर या वेबसाइट पर दावे की पुष्टि कर सकते हैं।

#2

मांगी जाती है संवेदनशील जानकारी 

बैंक और वित्तीय संस्थान कभी भी मोबाइल फोन पर CVV, OTP, ATM पिन जैसी जानकारी के लिए आपसे संपर्क नहीं करती है। अगर, कोई फोन करके आपसे इनमें से कोई भी जानकारी मांगता है तो समझ जाएं कि यह फर्जी कॉल है। हाल ही में नोएडा-दिल्ली से एक ऐसा गिरोह पकड़ा गया, जिसने 200 से अधिक लोगों को क्रेडिट लिमिट बढ़ाने के नाम पर धोखाधड़ी को अंजाम दिया। इससे बचने के लिए ऐसी जानकारी किसी के साथ शेयर न करें।

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#3

बनाया जाता है दबाव 

घोटालेबाज आपका खाता ब्लॉक करने, कोई पुरस्कार जीतने, क्रेडिट कार्ड रिवार्ड खोने से बचने या खुद को भारी जुर्माने से बचाने के लिए तत्काल भुगतान करने का आग्रह करते हैं। इस तरह के बहाने बनाए जाते हैं कि आप जल्दबाजी में बिना-सोचे समझे उनकी बातों में आ जाएं। इस तरह के सभी उच्च दबाव वाले हथकंडे धोखाधड़ी का स्पष्ट संकेत हैं। आप ऐसी चालों में फंसे बिना क्रेडिट कार्ड जारीकर्ता के कस्टमर केयर पर बात कर पुष्टि कर सकते हैं।

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#4

ऑफर का दिया जाता है लालच 

धोखेबाज आसानी से कॉलर ID में हेरफेर करके उसे वैध दिखा सकते हैं। इससे ग्राहकों को लगता है कि वह कॉल उनकी बैंक की ओर से ही की गई है। वे प्रीपेड कार्ड या क्रिप्टोकरेंसी जैसे तरीकों से भुगतान के लिए अनुरोध भी कर सकते हैं। ऐसे कॉल का जवाब नहीं दें और कॉल काट दें। बिना पुष्टि किए क्रेडिट लिमिट बढ़ाने, विशेष ऑफर और डील, मुफ्त उत्पाद, मुफ्त पॉइंट पाने जैसे ऑफर वाले कॉल के झांसे में न आएं।

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