सैम पित्रोदा के बयान को राहुल गांधी ने बताया गलत, माफी मांगने को कहा
सिख दंगों को लेकर कांग्रेस नेता सैम पित्रोदा के बयान पर विवाद जारी है। इस बीच राहुल गांधी ने पित्रोदा को अपने बयान के लिए माफी मांगने को कहा है। राहुल ने लिखा, 'मुझे लगता है कि सैम पित्रोदा ने जो कहा वह पूरी तरह 'आउट ऑफ लाइन' है और उन्हें इसके लिए माफी मांगनी चाहिए।' राहुल ने लिखा कि 1984 अनावश्यक त्रासदी थी। इस त्रासदी के लिए जिम्मेदार लोगों को सजा मिलना बाकी है।
सोनिया गांधी और मनमोहन सिंह मांग चुके हैं माफी
राहुल ने फेसबुक पर अपनी पोस्ट में लिखा कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और उनकी मां सोनिया गांधी ने माफी मांगी है और उन्होंने इस पर अपनी स्थिति साफ की है। 1984 भयानक त्रासदी है जो कभी नहीं होनी चाहिए। उन्होंने आगे लिखा, 'श्रीमान सैम पित्रोदा ने जो कहा वह पूरी तरह गलत है और स्वीकार करने लायक नहीं है। मैं उनसे सीधे तौर पर कहूंगा कि उन्हें इस टिप्पणी पर माफी मांगनी चाहिए।'
यह था सैम पित्रोदा का बयान
ओवरसीज कांग्रेस के अध्यक्ष पित्रोदा ने भाजपा द्वारा लगाए गए आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए ANI से कहा, "क्या है 84 का, बात तो कीजिए कि आपने क्या किया है 5 साल में, उसकी बात कीजिए। 84 में हुआ तो हुआ, आपने क्या किया?" उन्होंने कहा कि भाजपा को नौकरी पैदा करने और 200 स्मार्ट सिटी बनाने के लिए वोट मिले थे, लेकिन उसने पिछले 5 सालों में कुछ भी नहीं किया है, इसलिए वो यहां-वहां गप्प लगाते हैं।
भाजपा ने ट्वीट किया था राजीव का सिख दंगों पर पुराना बयान
दरअसल, भारतीय जनता पार्टी ने दिल्ली में चुनाव से 2 दिन पहले 1984 के सिख दंगों में राजीव गांधी की भूमिका पर सवाल उठाए थे। पार्टी ने राजीव का वो वीडियो भी ट्वीट किया था जिसमें उन्होंने इंदिरा गांधी की हत्या के बाद हुए सिख विरोधी दंगों पर कहा था कि जब भी कोई बड़ा पेड़ गिरता है तो धरती हिलती है। उनके इस बेहद चर्चित और विवादित बयान को दंगों को उचित ठहराने की कोशिश माना गया था।
मोदी ने याद दिलाया राजीव का बयान
पित्रोदा का यह बयान कांग्रेस के लिए मुसीबत खड़ी करने के लिए काफी था और भाजपा ने इसे मुद्दा बनाने में बिल्कुल देर नहीं लगाई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि पित्रोदा के बयान को अकेले मामले के तौर पर नहीं देखना चाहिए। उन्होंने कहा, "वो सालों से ऐसा कर रहे हैं। राजीव गांधी ने कहा था कि जब एक बड़ा पेड़ गिरता है तो जमीन हिलती है। इसलिए इसे एक व्यक्ति के बयान के तौर पर मत लीजिए।"
विवाद बढ़ने के बाद पित्रोदा ने मांगी थी माफी
अपने बयान पर घिरने के बाद पित्रोदा ने ट्वीट कर सफाई पेश की। उन्होंने कहा कि भाजपा उनके इंटरव्यू के तीन शब्दों को तोड़-मरोड़ रही है। उन्होंने कहा, "मेरे कहने का मतलब था, जो हुआ वो बुरा हुआ, लेकिन मैं बुरा का अनुवाद नहीं कर सका। मेरा मतलब था, आगे बढ़ो। हमारे पास और बहुत सारे मुद्दे हैं, जिनपर बात होनी चाहिए। मुझे दुख हुआ कि मेरा बयान गलत तरीके से पेश किया गया। मैं माफी मांगता हूं।"
कांग्रेस की सफाई, पित्रोदा के बयान से पार्टी को कोई संबंध नहीं
कांग्रेस ने बयान जारी करते हुए कहा है कि पित्रोदा के बयान का पार्टी से कोई संबंध नहीं है। बयान में लिखा है कि कांग्रेस 1984 दंगों में न्याय की लड़ाई का समर्थन करती है और इसके विपरीत कोई भी विचार पार्टी का नहीं है।
पहले भी कांग्रेस के लिए मुसीबत बन चुके हैं पित्रोदा
पित्रोदा ने बालाकोट एयर स्ट्राइक के बाद भी अपने बयान से पार्टी के लिए मुसीबत खड़ी की थी। तब उन्होंने कहा था कि पुलवामा और मुंबई हमले के लिए पूरे पाकिस्तान को दोषी नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा था, "8 आतंकवादी आकर कुछ करते हैं तो आप पूरे पाकिस्तान पर नहीं कूद सकते। कुछ लोगों के काम के लिए पूरे देश को दोषी ठहराना गलत है।" उन्होंने एयर स्ट्राइक में मरे आतंकियों की संख्या पर भी सवाल उठाए थे।