हरियाणा चुनाव के बाद INDIA गठबंधन में फूट के आसार, कांग्रेस को निशाने पर लिया
हरियाणा में विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद एक बार फिर विपक्षी पार्टियों के INDIA गठबंधन में फूट के आसार दिख रहे हैं। आम आदमी पार्टी (AAP) समेत गठबंधन में शामिल अन्य पार्टियां कांग्रेस को घेर रही हैं। कांग्रेस हरियाणा में अकेले लड़कर सरकार नहीं बना सकी, वहीं पार्टी जम्मू-कश्मीर में जम्मू-कश्मीर नेशनल कॉन्फ्रेंस (JKNC) के साथ गठबंधन में लड़ी, लेकिन 32 सीटों में से सिर्फ 6 सीटें ही जीत सकी। JKNC ने 51 में से 42 सीटें जीतीं।
AAP ने कांग्रेस को घेरा
अरविंद केजरीवाल ने पार्टी के निगम पार्षदों को संबोधित करते हुए कहा कि किसी चुनाव को अधिक आत्मविश्वास में नहीं लेना चाहिए, यही सबसे बड़ा सबक है, हर चुनाव और सीट कठिन होती है। इस बीच राघव चड्ढा ने एक्स पर लिखा, 'हमारी आरजू की फिक्र करते तो कुछ और बात होती, हमारी हसरत का ख्याल रखते तो एक अलग शाम होती, आज वो भी पछता रहा होगा मेरा साथ छोड़कर, अगर साथ-साथ चलते तो कुछ और बात होती।'
अन्य दलों ने क्या दी सलाह?
महाराष्ट्र में शिवसेना (उद्धव ठाकरे) की नेता प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि हरियाणा के चुनाव परिणाम से महाराष्ट्र पर कोई असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहां कि कांग्रेस को अपनी चुनावी रणनीति पर फिर से विचार करना चाहिए, क्योंकि हरियाणा में उसकी भाजपा से सीधी लड़ाई थी। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव डी राजा ने कहा कि कांग्रेस हरियाणा चुनाव परिणाम को गंभीरता से ले और आगामी महाराष्ट्र और झारखंड चुनाव में गठबंधन के सभी साथियों को साथ लेकर चले।
चुनाव से पहले होने वाला था AAP और कांग्रेस का गठबंधन
हरियाणा में विधानसभा चुनाव से पहले AAP और कांग्रेस का गठबंधन होने वाला था, लेकिन ऐसा हो न सका। AAP हरियाणा में 10 सीटों पर लड़ना चाहती थी, लेकिन कांग्रेस AAP को इतनी सीटें देने को राजी नहीं हुई और गठबंधन नहीं हो पाया। इसके बाद AAP ने अपने उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी और लगभग सभी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे। AAP सीट तो एक भी नहीं जीत पाई, लेकिन इससे 5 सीटों पर कांग्रेस को नुक्सान हुआ।
हरियाणा में कैसे रहे नतीजे?
हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 में भाजपा ने 48 सीटों के साथ रिकॉर्ड जीत हासिल की। ये आज तक की भाजपा की हरियाणा में सबसे ज्यादा सीटें हैं, इससे पहले 2014 में पार्टी ने 47 सीटें और 2019 में 40 सीटें अपने नाम की थी। इस बार कांग्रेस के खाते में 37 सीटें रहीं। इंडियन नेशनल लोक दल (INLD) को 2 और अन्य ने 3 सीटें जीती। हरियाणा में पहली बार कोई पार्टी लगातार तीसरी बार सरकार बनाने जा रही है।