किन-किन राज्यों में अब नहीं है मास्क की जरूरत और क्या कहते हैं विशेषज्ञ?
भारत में अब कोरोना वायरस के संक्रमण में लगातार कमी आ रही है। प्रतिदिन आने वाले नए मामलों की संख्या 1,000 के आसपास चल रही है। इसी बीच विशेषज्ञों का कहना है कि वर्तमान स्थिति में मास्क की अनिवार्यता को हटा देना चाहिए, लेकिन यदि संक्रमण के मामले बढ़ते हैं तो इसे फिर से लागू करना समझदारी होगी। इससे पहले घटते मामलों को देखते हुए कई राज्यों ने सार्वजनिक स्थानों पर मास्क की अनिवार्यता को भी खत्म कर दिया है।
महाराष्ट्र और दिल्ली में खत्म हुई मास्क की अनिवार्यता
बता दें महाराष्ट्र और दिल्ली सरकार ने अपने यहां लागू कोरोना संबंधित सभी पाबंदियों को खत्म कर दिया है। इसके अलावा मास्क को भी स्वैच्छिक बनाया है। इसका मतलब है कि इन राज्यों में अब सार्वजनिक स्थानों पर मास्क लगाना अनिवार्य नहीं है और बिना मास्क के किसी पर जुर्माना भी नहीं लगाया जाएगा। पूर्व में दोनों राज्यों में मास्क नहीं पहनने पर 500-500 रुपये का जुर्माना था। हालांकि, सरकार ने लोगों से मास्क के इस्तेमाल की अपील की है।
हरियाणा सरकार ने भी खत्म की मास्क की बाध्यता
महाराष्ट्र और दिल्ली के बाद 2 अप्रैल को हरियाणा सरकार ने भी राज्य में लागू सभी पाबंदियों को खत्म कर दिया है। इसके अलावा सार्वजनिक स्थानों पर मास्क की बाध्यता को भी हटा दिया है। ऐसे में यहां अब लोग बिना किसी जुर्माने के डर से बिना मास्क के घूम सकते हैं। पहले यहां भी बिना मास्क के 500 रुपये का जुर्माना था। इसी तरह पश्चिम बंगाल सरकार ने भी पाबंदियां खत्म की है, लेकिन मास्क को अनिवार्य रखा है।
तेलंगाना और उत्तर प्रदेश में भी नहीं है मास्क की जरूरत
तेलंगाना सरकार ने भी कोरोना संक्रमण के मामलों की समीक्षा करते हुए राज्य में लागू सभी पाबंदियों को खत्म करने का ऐलान किया है। इन प्रतिबंधों को हटाए जाने के बाद यह भी स्वैच्छिक कर दिया गया है कि मास्क लगाया जाए या नहीं। इसी तरह उत्तर प्रदेश सरकार ने भी 2 अप्रैल से सभी पाबंदियों को खत्म करते हुए सार्वजनिक स्थानों पर मास्क लगाने की आवश्यकता को खत्म कर दिया है। यहां अब मास्क पर जुर्माना नहीं लगाया जाएगा।
सार्वजनिक स्थानों से हटाई जा सकती है मास्क की अनिवार्यता- डॉ लक्ष्मीनारायण
वाशिंगटन के सेंटर फॉर डिजीज डायनेमिक्स, इकोनॉमिक्स एंड पॉलिसी के निदेशक डॉ रामनन लक्ष्मीनारायण ने कहा, "दो साल से लगी मास्क की अनिवार्यता से लोग काफी थम चुके हैं। ऐसे में वर्तमान स्थिति में सार्वजनिक स्थानों पर इसकी अनिवार्यता को खत्म कर देना चाहिए।" उन्होंने कहा, "यदि महामारी की फिर से कोई लहर आती है तो लोगों को फिर से मास्क की आवश्यक हो सकती है, लेकिन तब तक इसकी अनिवार्यता खत्म की जा सकती है।"
मास्क से ज्यादा जरूरी है बूस्टर खुराक- डॉ लक्ष्मीनारायण
डॉ लक्ष्मीनारायण ने कहा, "वर्तमान स्थिति में कोरोना वैक्सीन की बूस्टर खुराक की आवश्यकता मास्क लागू करने से कहीं अधिक महत्वपूर्ण है। हमें सोचना होगा कि सामान्य जीवन में कैसे लौटना है और यह समय इसके लिए सबसे अच्छा प्रतीत होता है।" उन्होंने कहा, "उम्मीद है कि महामारी ने जो सिखाया है लोग उसे याद रखेंगे और भविष्य में स्थिति बिगड़ने पर उसका पालन करेंगे। लोगों को अब प्रतिबंधों की आदत सी हो गई है।"
"बिना सख्ती से इनडोर जगहों पर लागू रहना चाहिए मास्क"
हरियाणा में अशोका यूनिवर्सिटी के भौतिकी और जीव विज्ञान विभाग के प्रोफेसर गौतम मेनन ने कहा, "मैं इनडोर जगहों पर मास्क लागू करने का पक्षधर हूं, लेकिन यह सुझाव नहीं दूंगा कि इसे दंडात्मक रूप से लागू करने की आवश्यकता है।"
महामारी से बचाव करना है व्यक्तिगत जिम्मेदारी- डॉ रथ
दिल्ली स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इम्यूनोलॉजी (NII) के इम्यूनोलॉजिस्ट डॉ सत्यजीत रथ ने कहा, "महामारी से बचाव करना अब राज्य की जिम्मेदारी न होकर व्यक्तिगत जिम्मेदारी है। लोगों को इससे बचाव के लिए स्वयं सतर्क रहना होगा।" उन्होंने कहा, "मास्क प्रतिबंधों को हटाने से लोगों सोच सकते हैं कि महामारी खत्म हो गई है और बीमारी के खिलाफ समग्र सुरक्षा कम हो सकती है। ऐसे में अनिवार्यता को खत्म नहीं किया जाना चाहिए।"
मास्क की अनिवार्यता खत्म करने से क्या रहेगा खतरा?
डॉ रथ ने कहा, "अमेरिका में किए गए एक मॉडलिंग अध्ययन में पाया गया कि मास्क और अन्य प्रतिबंधों की अनिवार्यता खत्म करने से अधिकांश राज्यों में कोरोना संबंधित मौतों में थोड़ा उछाल आया है। ऐसे में यह स्थिति कहीं भी आ सकती है।" उन्होंने कहा, "हालांकि, मृत्यु दर में उछाल के लिए ओमिक्रॉन वेरिएंट जिम्मेदार था और मास्क की अनिवार्यता को खत्म करने को कारण नहीं माना गया है, लेकिन फिर भी सावधानी जरूरी है।"
WHO ने जारी की थी चेतावनी
बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने मार्च में चेतावनी दी थी कि महामारी के खत्म होने की गलत सूचना, मास्क हटाने और अधिक संक्रामक ओमिक्रॉन वेरिएंट सहित कई कारकों के कारण दुनिया के कई हिस्सों में संक्रमण के मामलों में इजाफा हो रहा है। यही कारण है वर्तमान में चीन में काफी तेजी से नए मामले सामने आ रहे हैं। हालात यह है कि चीनी सरकार ने पूरे शंघाई शहर को लॉकडाउन में झोंक दिया है।
न्यूजबाइट्स प्लस (फैक्ट)
भारत में बीते दिन कोरोना संक्रमण के 1,033 नए मामले सामने आए और 43 मरीजों की मौत हुई। देश में कुल संक्रमितों की संख्या 4,30,31,958 हो गई है। इनमें से 5,21,530 लोगों की मौत हुई है। सक्रिय मामलों की संख्या घटकर 11,639 रह गई है।