लद्दाख: भारत-चीन ने पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे से टैंकों को हटाना शुरू किया- रिपोर्ट
क्या है खबर?
लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर भारत और चीन की सेनाओं के बीच चले आ रहे तनाव में अब कमी के संकेत नजर आए हैं।
दोनों देशों के बीच गत 24 जनवरी को हुई कमांडर स्तर की नौवे दौर की वार्ता में मौजूदा स्थिति से पीछे हटनी पर सहमति बनी थी।
इसके बाद अब दोनों देशों ने पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर तैनात किए अपने टैंकों और लड़ाकू वाहनों को पीछे हटना शुरू कर दिया है।
पृष्ठभूमि
पिछले साल अप्रैल से जारी है भारत और चीन के बीच तनाव
गौरतलब है कि भारत और चीन के बीच अप्रैल से LAC पर तनाव बना हुआ है और अभी चार जगहों पर दोनों देशों के सैनिक आमने-सामने हैं।
इनमें देपसांग, गोगरा, पैंगोंग झील का फिंगर्स एरिया और चुशूल सब-सेक्टर शामिल हैं। पहले तीन इलाकों में चीन ने LAC पार करके भारतीय इलाके पर कब्जा कर रखा है।
अभी दोनों देशों के लगभग 60,000-60,000 सैनिक LAC पर तैनात हैं और कुछ जगह उनके बीच मात्र कुछ सौ मीटर का फासला है।
वार्ता
नौवें दौर की वार्ता में भी नहीं निकला कोई हल
भारत और चीन के बीच कमांडर स्तर की नौवें दौर की वार्ता गत 24 जनवरी को हुई थी। मोल्डो में करीब 15 घंटे तक इस इस बैठक में भारत की ओर से 14 कोर कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन और चीन की तरफ से दक्षिणी शिनजियांग मिलिट्री रीजन कमांडर मेजर जनरल लियू लिन ने हिस्सा लिया था।
इस बैठक में अग्रिम पंक्ति की सेना को पीछे हटाने पर सहमति बनी थी, लेकिन चीन ने ऐसा नहीं किया था।
बयान
दोनों सेनाओं ने टैंकों को पीछे हटाना किया शुरू
हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार दिल्ली में इस विघटन योजना के जानकार अधिकारी ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि चीन और भारत ने पैंगोंग झील के दक्षिण छोर पर ऊंचाई वाले इलाकों से टैंकों और इन्फैंट्री युद्धक वाहनों को वापस लाना शुरू कर दिया है। हालांकि, क्षेत्र की अहम रणनीतिक चोटिंयों पर सेना के जवाब अभी डटे हुए हैं।
उन्होंने बताया कि चीन के रक्षा मंत्रालय ने बुधवार को टैंकों को वापस हटाने की घोषणा भी की है।
बयान
चीनी रक्षा मंत्रालय ने जारी किया यह बयान
चीनी रक्षा मंत्रालय की वेबसाइट पर बुधवार को प्रकाशित एक बयान में प्रवक्ता कर्नल वु कियान ने कहा कि पूर्वी लद्दाख में पैंगोग झील के उत्तरी और दक्षिणी छोर पर तैनात भारत और चीन के अग्रिम पंक्ति के सैनिकों ने व्यवस्थित तरीके से पीछे हटना शुरू कर दिया है।
उनके इस बयान से संबंधित एक खबर चीन के आधिकारिक मीडिया ने भी साझा की है। ऐसे में दोनों देशों के बीच तनाव कम होने की उम्मीद बढ़ी है।
सहमति
दोनों देशों के बीच सहमति से उठाया कदम- चीनी रक्षा मंत्रालय
वेबसाइट पर जारी बयान में प्रवक्ता कर्नल कियान ने कहा कि भारत और चीन के बीच कमांडर स्तर की नौवें दौर की वार्ता में बनी सहमति के अनुरूप दोनों देशों के सशस्त्र बलों की अग्रिम पंक्ति की इकाइयों ने 10 फरवरी से पैंगोंग झील के उत्तरी और दक्षिणी किनारों से पीछे हटना शुरू किया है।
हालांकि, इस बयान में चीनी रक्षा मंत्रालय ने सहमति के सभी मुद्दों का जिक्र नहीं किया है। ऐसे में स्थिति स्पष्ट नहीं है।
जानकारी
भारत की ओर से जारी नहीं किया गया है बयान
मामले में फिलहाल भारत की ओर से कोई बयान जारी नहीं किया गया है। हालांकि, मामले के जानकार अधिकारियों ने कहा है कि पैंगोंग झील के दक्षिण किनारे के ऊंचाई वाले इलाकों में टैंकों और लड़ाकू वाहनों की संख्या में कुछ कमी आई है।
निर्देश
चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग ने सेना को दिया था युद्ध की तैयारी का निर्देश
चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग ने मंगलवार को PLA वायु सेना इकाई के निरीक्षण के दौरान सेना को युद्ध के लिए तैयार रहने की बात कही थी।
उन्होंने कहा, "बसंत महोत्सव के दौरान पूरी सेना को ड्यूटी के दौरान अपनी जंगी तैयारी को बढ़ाना होगा ताकि राष्ट्रीय सुरक्षा, लोगों की खुशी और सद्भाव की रक्षा की जा सके।"
स्थानीय विशेषज्ञों के मुताबिक चीन ने यह बयान भारत और ताइवान के साथ चल रहे तनाव को देखते हुए दिया था।