#NewsBytesExplainer: ये हैं इलेक्ट्रिक वाहनों में इस्तेमाल होने वाले सबसे दमदार प्लेटफॉर्म्स
इलेक्ट्रिक सेगमेंट में अपनी मजबूत दावेदारी के लिए सभी ऑटोमोबाइल कंपनियां इस सेगमेंट में प्रवेश कर रही हैं। इलेक्ट्रिक वाहन को बनाने के लिए खास प्लेटफॉर्म की जरूरत पड़ती है, जिसमें बैटरी और इलेक्ट्रिक मोटर को बेहतर ढंग से लगाया जा सके। कंपनियां अपने इलेक्ट्रिक प्लेटफॉर्म के निर्माण लिए करोड़ों रुपये खर्च करती हैं। आज हम आपके लिए इलेक्ट्रिक गाड़ियों के प्लेटफॉर्म की जानकारी लाए हैं। आइये दुनियाभर में उपलब्ध 5 दमदार इलेक्ट्रिक प्लेटफॉर्म के बारे में जानते हैं।
इलेक्ट्रिक प्लेटफॉर्म क्या है?
प्लेटफॉर्म, एक कार की नींव को कहा जाता है, यानी गाड़ी इस पर टिकी होती है। इसे 'कार फ़्रेम' के नाम से भी जाना जाता है। प्लेटफॉर्म कार के भार को वहन करते हुए बेहतर संचालन प्रदान करते हैं। चूंकि इलेक्ट्रिक गाड़ियों में अधिक संख्या में बैटरी का इस्तेमाल होता है। इस वजह से इन प्लेटफॉर्म को तैयार करना थोड़ा कठिन है। बता दें, किसी भी प्लेटफॉर्म पर एक से अधिक मॉडलों का निर्माण किया जा सकता है।
फॉक्सवैगन का MEB प्लेटफॉर्म
फॉक्सवैगन के मॉडुलर इलेक्ट्रिक बैकस्टन (MEB) प्लेटफॉर्म पहली बार 2019 में चीन में बनाया गया था। इसमें 52kWh से 77kWh तक की बैटरी का इस्तेमाल किया जा सकता है, जो करीब 500 किलोमीटर तक की रेंज देने में सक्षम होती हैं। ऑडी Q4 ई-ट्रॉन, फॉक्सवैगन ID3, ID4 और स्कोडा एनाक को इसी प्लेटफॉर्म पर तैयार किया गया है। महिंद्रा भी अपनी इलेक्ट्रिक गाड़ियों का निर्माण इसी प्लेटफॉर्म पर करेगी और इसके लिए फॉक्सवैगन से बातचीत कर रही है।
जनरल मोटर का ग्लोबल EV प्लेटफॉर्म
जनरल मोटर के ग्लोबल EV प्लेटफॉर्म को 2021 में अमेरिका में बनाया गया था। इस प्लेटफॉर्म पर फ्रंट, रियर और ऑल-व्हील ड्राइव वाली गाड़ियां बनाई जा सकती है। इस प्लेटफॉर्म में 50kWh से 200kWh तक की बैटरी का इस्तेमाल किया जा सकता है, जो करीब 700 किलोमीटर तक की रेंज देने में सक्षम होती हैं। GM की इलेक्ट्रिक हमर और कैडिलैक लिरिक को इसी प्लेटफॉर्म पर तैयार किया जा रहा है।
टोयोटा का e-TNGA प्लेटफॉर्म
टोयोटा इलेक्ट्रिक न्यू जनरेशन आर्किटेक्चर (TNGA) प्लेटफॉर्म भी चीन में ही बनाया गया है। बता दें कि अब तक कंपनी TNGA प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रही है, जिस पर टोयोटा हाईक्रॉस बनी है। e-TNGA इसी प्लेटफॉर्म का अपडेटेड वर्जन है। इस प्लेटफॉर्म में 54.3kWh से 100kWh तक की बैटरी का इस्तेमाल किया जा सकता है, जो करीब 450 किलोमीटर तक की रेंज देने में सक्षम होती हैं। टोयोटा CHR और लेक्सस UX300e को इसी प्लेटफॉर्म पर तैयार किया गया है।
रेनो का CMF-EV प्लेटफॉर्म
रेनो के कॉमन मॉड्यूल प्लेटफॉर्म )CMF-EV) को 2022 में जापान में तैयार किया गया था। रेनो ने इसे निसान और मित्सुबिशी के साथ मिलकर तैयार किया है। इस प्लेटफॉर्म पर बनने वाली गाड़ियों में 40kWh से 90kWh तक की बैटरी का इस्तेमाल किया जा सकता है। इसमें फ्रंट व्हील और ऑल-व्हील ड्राइव की गाड़ियां बनाई जा सकती हैं। निसान कश्कई और रेनो मेगन इलेक्ट्रिक कार को इसी प्लेटफॉर्म पर तैयार किया गया है।
हुंडई का E-GMP प्लेटफॉर्म
हुंडई ने किआ मोटर्स के साथ मिलकर इलेक्ट्रिक ग्लोबल मॉडुलर प्लेटफॉर्म (E-GMP) तैयार किया है। इस प्लेटफॉर्म पर बनाने वाली गाड़ियों में 58kWh से 73kWh तक की बैटरी का इस्तेमाल किया जा सकता है, जो 600 किलोमीटर तक की रेंज देने में सक्षम है। इसमें फ्रंट व्हील और ऑल-व्हील ड्राइव वाली गाड़ियां बनाई जा सकती हैं। अनुमान है कि 2025 तक हुंडई इस प्लेटफॉर्म पर प्रति वर्ष 5 लाख और किआ मोटर्स भी 5 लाख गाड़ियां बनाएंगी।
देश में उपलब्ध इन गाड़ियों में इस्तेमाल होता है E-GMP प्लेटफॉर्म
भारतीय बाजार में हुंडई और किआ की ऐसी कई इलेक्ट्रिक गाड़ियां मौजूद है, जिनमें E-GMP प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल किया गया है। हुंडई की आयोनिक-5 और कोना इलेक्ट्रिक को इसी प्लेटफॉर्म पर बनाया गया है। इसके अलावा किआ की EV6 भी E-GMP प्लेटफॉर्म पर बनी है। दोनों कंपनियां इस प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल आने वाली हुंडई क्रेटा इलेक्ट्रिक, वेन्यू इलेक्ट्रिक, किआ EV9 और EV5 में भी करेंगी, जिन्हे आगामी वर्षों में लॉन्च किया जाएगा।
न्यूजबाइट्स प्लस (जानकारी)
पेट्रोल और डीजल गाड़ियों में इस्तेमाल होने वाले फ्रेम की तुलना में इलेक्ट्रिक प्लेटफॉर्म अलग होते हैं। ICE गाड़ियों में इंजन होता है और इस वजह से इन्हे इस तरह डिजाइन किया जाता है कि इनमें सामने या पीछे की तरफ इंजन फिट किया जा सके। दूसरी तरफ इलेक्ट्रिक गाड़ियों में इंजन नहीं होता और इस वजह से इनमें बैटरी और इलेक्ट्रिक मोटर को बेस में फिट किया जाता है।