आम आदमी कैसे करेगा राजनीति, लोकसभा में बढ़ी करोड़पति और आपराधिक रिकॉर्ड वाले सांसदों की संख्या
क्या है खबर?
देश की 17वीं लोकसभा के सदस्यों का चुनाव हो चुका है और इसके स्वरूप का विश्लेषण किया जा रहा है।
ऐसे ही एक विश्लेषण में सामने आया है कि इस बार चुन कर आए सांसदों में से 43 प्रतिशत का आपराधिक रिकॉर्ड है।
यह आंकड़ा पिछली लोकसभा के मुकाबले 9 प्रतिशत अधिक है।
ऐसे ही करोड़पति सांसदों की संख्या में भी वृद्धि हुई है और यह आंकड़ा 88 प्रतिशत पर पहुंच गया है।
अध्ययन
233 सांसदों का आपराधिक रिकॉर्ड
चुनावी और राजनीतिक सुधार के लिए कार्य करने वाले गैर-सरकारी संगठनों नेशनल इलेक्शन वॉच (NEW) और एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) के एक अध्ययन में ये आंकड़ों सामने आए हैं।
इसके अनुसार, चुनाव जीतने वाले सांसदों में से 233 (43 प्रतिशत) के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं।
पिछली लोकसभा में यह आंकड़ा 185 (34 प्रतिशत) था, यानि इसमें कुल 9 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
2009 लोकसभा चुनाव में यह आंकड़ा 162 (30 प्रतिशत) था।
गंभीर आपराधिक रिकॉर्ड
10 साल में दोगुनी हुई गंभीर आपराधिक रिकॉर्ड वाले सांसदों की संख्या
रिपोर्ट में यह भी सामने आया है कि नए सांसदों में से कुल 159 (29 प्रतिशत) के खिलाफ बलात्कार, हत्या और महिलाओं के खिलाफ अपराध जैसे गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं।
2014 में यह आंकड़ा 112 और 2009 में 76 था। यानि पिछले 10 साल में गंभीर आपराधिक रिकॉर्ड वाले सांसदों की संख्या में 109 प्रतिशत की वृद्धि आई है।
राजनीति के अपराधीकरण की समस्या किस हद तक बढ़ चुकी है, ये इन आंकड़ों से साफ स्पष्ट होता है।
डाटा
सांसदों के हलफनामों की जांच से सामने आए आंकड़े
यह विश्लेषण 539 सांसदों के हलफनामों की जांच पर आधारित है। जीते गए बाकी 3 सांसदों के रिकॉर्ड का विश्लेषण इसलिए नहीं हो सका क्योंकि चुनाव आयोग की वेबसाइट पर उनके पूरे और स्पष्ट हलफनामे उपलब्ध नहीं हैं।
करोड़पति
कुल 475 सांसद हैं करोड़पति
इस रिपोर्ट में करोड़पति सांसदों की संख्या बढ़ने की बात भी सामने आई है।
इस बार लोकसभा में कुल 475 (88 प्रतिशत) सांसद करोड़पति हैं, जबकि 2014 में यह संख्या 443 (82 प्रतिशत) थी।
2009 में कुल 315 (58 प्रतिशत) करोड़पति सांसद थे।
ये आंकड़े राजनीति में पैसे के बढ़ते चलन का प्रतीक हैं और स्पष्ट करते हैं कि क्यों चुनावी राजनीति आम आदमी की हद और दायरे से बाहर हो गई है।
महिला सांसद
महिलाओं की सर्वाधिक भागेदारी
अन्य आंकड़ों की बात करें तो इस बार कुल 78 महिला सांसद चुनकर आई हैं, जोकि कुल सांसदों का 17 प्रतिशत है।
अब तक किसी भी लोकसभा में यह महिलाओं की सर्वाधिक भागेदारी है।
पिछली लोकसभा में 64 महिला सांसद थीं। 9वीं लोकसभा में सबसे कम 28 महिला सांसद रही थीं।
जीत कर आई महिला सांसदों में भाजपा की 40 सांसद हैं, जबकि कांग्रेस की ओर से एकमात्र महिला सांसद वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी हैं, जो रायबरेली से जीतीं हैं।
मुस्लिम सांसद
मुस्लिम सांसदों की संख्या में नाममात्र का इजाफा
मुस्लिम सांसदों की बात करें तो इस बार 2014 लोकसभा के मुकाबले एक अधिक मुस्लिम सांसद है।
इस बार कुल 24 मुस्लिम सांसद जीते हैं, जबकि पिछली बार ये आंकड़ा 23 था।
भाजपा की ओर से कोई भी मुस्लिम सांसद नहीं है।
सबसे ज्यादा 6 मुस्लिम सांसद उत्तर प्रदेश से हैं।
बता दें कि 1980 में लोकसभा में सबसे अधिक 49 सांसद चुन कर पहुंचे थे।
वहीं, 197 सांसद 2014 के बाद वापस चुनकर संसद पहुंचे हैं।