बच्चों के हाथ और आंख के बीच बेहतर तालमेल बनाने के 5 आसान तरीके
बच्चों के लिए हाथ और आंख का तालमेल सबसे महत्वपूर्ण क्षमताओं में से एक है। बच्चे इस तालमेल को खेलते समय या पढ़ाई के दौरान सीख सकते हैं। इससे किसी कार्य को करने के लिए बच्चे आंखों से उसे देखकर जानकारी डिवेलप करते हैं और फिर उसी हिसाब से अपने हाथों की गति को निर्देशित करने के लिए दिमाग का इस्तेमाल करते हैं। आइए आज हम आपको बच्चे के हाथ-आंख के तालमेल को विकसित करने के पांच तरीके बताते हैं।
गेंद फेंकना और पकड़ना
बच्चे के हाथ और आंख के तालमेल को तेजी से विकसित करने के लिए यह एक बेहतरीन तरीका है। गेंद की गतिविधियां आपके बच्चे की प्रतिक्रिया समय और समझने की गति को बेहतर बनाने में मदद करती हैं। इसके लिए आप टेनिस बॉल, बास्केटबॉल, बीच बॉल आदि का इस्तेमाल करें। शुरुआत में इस खेल के लिए थोड़ी दूरी तय करें और फिर दूरी और गति दोनों को बढ़ाते रहिए।
पजल्स
बच्चों को पजल्स यानी पहेलियों को हल करने में बहुत मजा आता है। यह खेल उनके हाथ और आंख के तालमेल के विकास के लिए बेहतर माना जाता है। इससे बच्चों के अंदर समस्या का समाधान और आकार की पहचान होती है। एक कठिन पजल्स को हल करने के लिए बच्चों को अपना ध्यान केंद्रित करने, पैटर्न को पहचानने में और रणनीति बनाने की जरूरत होती है। इससे उनकी स्किल्स में सुधार होता है।
रस्सी कूदना
स्किपिंग यानी रस्सी कूदना बच्चों के लिए एक चुनौतीपूर्ण गतिविधि है। इससे बच्चों के न केवल हाथ और आंख के तालमेल में सुधार होता है बल्कि उन्हें फिट और स्वस्थ रखने में भी मदद मिलती है। रस्सी कूदते समय बच्चों को अपने पैरों को और अपने शरीर को तालमेल करके रस्सी के साथ कूदना होता है। ऐसा करने से बच्चों को अपना बैलेंस बनाए रखने में भी मदद मिलती है।
ड्राइंग और आर्ट
ड्राइंग करना तो हर बच्चे को पसंद होता है। अक्सर वह अपने खाली समय में ड्राइंग, पेंटिंग या कलर करना पसंद करते हैं। इससे बच्चों की उंगली और आंखों के तालमेल में सुधार होता है। इसके अलावा ऐसा करने से बच्चों का दिमाग तेज होता है और उनका मूड भी खुशहाल रहता है। इसके लिए आप अपने बच्चों को एक प्लेन कागज, व्हाइटबोर्ड, पेंसिल, कलर, कार्डबोर्ड और पेंट जैसी चीजें देकर उनसे ड्राइंग करवा सकती हैं।
थ्रेडिंग और लेसिंग
थ्रेडिंग और लेसिंग का मतलब धागा डालना और फीता बांधना है। इससे बच्चों के हाथ और आंख के तालमेल में सुधार होने के साथ-साथ उनका कंसंट्रेशन भी बढ़ता है। यह गतिविधि आपके बच्चे के स्थानिक स्किल्स में सुधार करता है। आप अपने बच्चों को मोतियों से हार बनाने के लिए या फिर बटन से ब्रेसलेट बनाने के लिए कह सकती है। इसके अलावा बच्चे फीता बांधने वाला खेल भी खेल सकते हैं।