वंदे भारत मिशन: दूसरा चरण 16 से 22 मई तक, 31 देशों से लाए जाएंगे भारतीय
विदेश में फंसे भारतीय नागरिकों को वापस लाए जाने के लिए चलाए जा रहे 'वंदे भारत मिशन' का दूसरा चरण 16 मई से शुरू होगा और 22 मई तक चलेगा। 'NDTV' की रिपोर्ट के अनुसार, इस चरण में 149 उड़ानों में 31 देशों में फंसे भारतीयों को वापस लाया जाएगा। जिन देशों से भारतीय नागरिकों को वापस लाया जाएगा उनमें अमेरिका, यूनाइटेड किंगडम (UK), कनाडा, संयुक्त अरब अमीरात (UAE) और सऊदी अरब आदि शामिल हैं।
4 मई को केंद्र सरकार ने किया था 'वंदे भारत मिशन' का ऐलान
4 मई को केंद्र सरकार ने विदेशों में फंसे भारतीयों को चरणों में नौसेना के जहाजों और विमानों के जरिए भारत वापस लाने के लिए 'वंदे मातरम' मिशन का ऐलान किया था। भारतीय दूतावास भारत लौटने के इच्छुक भारतीयों की सूची तैयार कर रहे हैं और 7 मई से इसका पहला चरण शुरू हो चुका है। हवाई यात्रा के लिए व्यावसायिक उड़ानों का इंतजाम किया जाएगा और वापस आने वाले लोगों को अपना किराया खुद देना होगा।
13 मई तक चलना है पहला चरण, इन देशों से लाए जा रहे भारतीय नागरिक
7 मई से शुरू हुआ मिशन का पहला चरण 13 मई तक चलना है और इस दौरान 13 देशों से फंसे 14,800 भारतीयों को वापस लाया जा रहा है। इस चरण के दौरान 64 विमान भेजे जाएंगे। इस चरण में जिन देशों से भारतीय नागरिकों को लाया जा रहा है उनमें फिलीपींस, सिंगापुर, बांग्लादेश, संयुक्त अरब अमीरात (UAE), यूनाइटेड किंगडम (UK), सऊदी अरब, कतर, अमेरिका, ओमान, बहरीन और मलेशिया आदि शामिल हैं।
दूसरे चरण में इन देशों से वापस लाए जाएंगे भारतीय नागरिक
इस बीच सरकार दूसरे चरण की भी तैयारी कर रही है और NDTV के सूत्रों के अनुसार, 16 मई से 22 मई तक चलने वाले इस चरण में 149 उड़ानों के जरिए 31 देशों से भारतीय नागरिकों को वापस लाया जाएगा। अमेरिका से 13, कनाडा से 10, UK से नौ, UAE से 11, सऊदी अरब से नौ, रूस से छह और ऑस्ट्रेलिया से सात फ्लाइट आएंगीं। फ्रांस, इटली, जर्मनी, आयरलैंड और दक्षिण-पूर्व एशिया और खाड़ी देशों से भी फ्लाइट आएंगी।
बांग्लादेश और नेपाल से भी आएगी एक-एक फ्लाइट
पड़ोसी देशों की बात करें तो बांग्लादेश और नेपाल से एक-एक फ्लाइट के जरिए भारतीय नागरिकों को वापस लाया जाएगा। बता दें कि अपने इस मिशन के तहत भारत सरकार की जून के मध्य तक लगभग चार लाख भारतीयों को वापस लाने की योजना है।
यात्रियों को करना होगा इन गाइडलाइंस का पालन
केंद्र सरकार ने विदेश से वापस लौट रहे इन यात्रियों के लिए गाइडलाइंस भी जारी की हैं जिनका उन्हें पालन करना होगा। इन गाइडलाइंस के मुताबिक, सभी यात्रियों की स्क्रीनिंग की जाएगी और जिनमें कोरोना वायरस जैसे लक्षण नहीं होंगे, केवल उन्हीं को यात्रा की इजाजत होगी। यात्रा के दौरान सभी यात्रियों को स्वास्थ्य मंत्रालय और नागरिक उड्डयन मंत्रालय द्वारा जारी प्रोटोकॉल्स का पालन करना होगा। भारत पहुंचने पर उन्हें 'आरोग्य सेतु' ऐप डाउनलोड करना पड़ेगा।
क्वारंटाइन किए जाएंगे विदेशों से आने वाले सभी भारतीय
गाइडलाइंस के अनुसार, भारत पहुंचने के बाद यात्रियों की मेडिकल स्क्रीनिंग की जाएगी और इस जांच के बाद उन्हें 14 दिन के लिए क्वारंटाइन किया जाएगा। यात्री पैसे देकर राज्य सरकारों द्वारा तैयार क्वारंटाइन केंद्रों में भी रह सकेंगे। 14 दिन के बाद उनका कोरोना वायरस का टेस्ट किया जाएगा और उनके नतीजे के बाद गाइडलाइंस के तहत कदम उठाए जाएंगे। सरकार ने राज्यों से टेस्टिंग और क्वारंटाइन समेत सभी तैयारियां करने को कहा है।
भारत का अब तक का सबसे बड़ा इवेक्युएशन अभियान
गौरतलब है कि 'वंदे भारत मिशन' भारत की तरफ से अब तक का सबसे बड़ा इवेक्युएशन ऑपरेशन है। अभी लगभग एक करोड़ लोग भारतीय पासपोर्ट पर विदेश में हैं जिनमें से 1.9 लाख से अधिक को वापस लाए जाने की जरूरत है। भारत द्वारा अब तक का सबसे बड़ा इवेक्युएशन ऑपरेशन 1990 के खाड़ी युद्ध के दौरान चलाया गया था। तब ईराक के कुवैत पर हमले के बाद भारत ने कुवैत में फंसे 1.7 लाख भारतीयों को एयरलिफ्ट किया था।