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भारी बारिश के कारण पूर्वोत्तर में बाढ़ और भूस्खलन, प्रधानमंत्री मोदी ने की मुख्यमंत्रियों से बात
भारी बारिश के कारण पूर्वोत्तर में भयंकर बाढ़ जैसे हालात हैं

भारी बारिश के कारण पूर्वोत्तर में बाढ़ और भूस्खलन, प्रधानमंत्री मोदी ने की मुख्यमंत्रियों से बात

लेखन Manoj Panchal
Jun 03, 2025
12:17 pm

क्या है खबर?

भारी बारिश के कारण पूर्वोत्तर में भयंकर बाढ़ और भूस्खलन की स्थिति बनी हुई है, जिसमें मरने वालों की संख्या बढ़कर 36 हो गई है। असम, अरुणाचल प्रदेश, मेघालय, मिजोरम, सिक्किम और त्रिपुरा सहित कई राज्यों में 5.5 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं। स्थिति का जायजा लेते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा, सिक्किम के मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग और मणिपुर के राज्यपाल से बात की है।

असम 

असम में लाखों लोग प्रभावित

ANI के अनुसार, प्रधानमंत्री मोदी ने हरसंभव मदद और समर्थन का आश्वासन दिया है। असम के 22 जिलों में 5.35 लाख से अधिक लोग प्रभावित हैं। राज्य में भारी बारिश के कारण 15 नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। मुख्यमंत्री सरमा ने राहत उपायों और सहायता का आश्वासन देने के लिए लखीमपुर जिले का दौरा भी किया था। कई इलाकों में लगातार भारी बारिश के कारण सड़क, रेल और नौका सेवाएं बुरी तरह से प्रभावित हुई हैं।

सिक्किम 

सिक्किम में सैन्य शिविर में भूस्खलन

हाल ही में सिक्किम में लाचेन कस्बे के पास छतेन में एक सैन्य शिविर में भूस्खलन से 3 सैन्यकर्मियों की मौत हो गई और 6 अन्य लापता हो गए हैं। मृतकों की पहचान हवलदार लखविंदर सिंह, लांस नायक मुनीश ठाकुर और पोर्टर अभिषेक लखड़ा के रूप में हुई है। लापता सैनिकों का पता लगाने के लिए बचाव अभियान जारी है। 29 मई से हो रही भारी बारिश के कारण मंगन जिले में बड़े पैमाने पर भूस्खलन हुआ है।

मणिपुर 

मणिपुर के भी हजारों लोग हुए प्रभावित

मणिपुर में नदियों के उफान पर होने और तटबंधों के टूटने के कारण 19,000 से ज्यादा लोग बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। मूसलाधार बारिश ने कम से कम हजारों घरों को नुकसान पहुंचाया है और 100 से अधिक इलाकों को प्रभावित किया है। लोगों को आश्रय देने के लिए कई जगह राहत शिविर बनाए गए हैं। अरुणाचल प्रदेश में भी लगातार हो रही बारिश के कारण 10 लोगों की मौत हो गई है।

त्रिपुरा 

त्रिपुरा में हुआ थोड़ा सुधार

त्रिपुरा में बाढ़ की स्थिति में थोड़ा सुधार हो रहा है और अब नदियां खतरे के निशान से नीचे बह रही हैं। हालांकि, 10,000 से ज्यादा लोग अभी भी सरकारी राहत शिविरों में रह रहे हैं। राज्य प्रशासन ने कई राहत शिविर स्थापित किए हैं, जिनमें वर्तमान में हजारों लोग शरण लिए हुए हैं। मिजोरम भी भारी बारिश से बुरी तरह प्रभावित हुआ है, जिसके कारण पूरे राज्य में भूस्खलन हुआ है और कई सड़कें अवरुद्ध हो गई हैं।