कोरोना का प्रभाव: उत्तर प्रदेश में निवेश की तैयारी में हैं 100 से अधिक अमेरिकी कंपनियां
पूरी दुनिया कोरोना वायरस जूझ रहीं है। लाखों लोग इससे संक्रमित है और प्रतिदिन हजारों लोगों की जान जा रही है। भारत में इसका प्रसार तेजी से हो रहा है, लेकिन इन महामारी के बीच अर्थव्यवस्था को मजबूती देने के लिहाज से भारत के लिए अच्छी खबर सामने आई है। चीन में फैले कोरोना संक्रमण के बाद वहां संचालित सैकड़ों अमेरिकी कपंनियां अब भारत में निवेश करना चाहती है और उन्होंने इसकी तैयारी भी शुरू कर दी है।
उत्तर प्रदेश में निवेश करना चाहती हैं 100 से अधिक कंपनियां
उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा है कि राज्य सरकार लगभग 100 अमेरिकी कंपनियों के संपर्क में है जो कोरोनोवायरस संकट के कारण चीन छोड़ना चाहती हैं। उन्होंने कहा कि इन कंपनियों ने उत्तर प्रदेश में निवेश करने के लिए रुचि दिखाई है। ये सभी कंपनियां प्रमुख रूप से लॉजिस्टिक्स, साइंटिफिक इंस्ट्रूमेंटेशन, इलेक्ट्रॉनिक और ऑटोमोबाइल सेक्टर से जुड़ी हुई हैं। उन्होंने पहले से ही चीन में बड़ा निवेश कर रखा था।
इन कंपनियों ने दिखाई निवेश करने में रुचि
कैबिनेट मंत्री सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश में निवेश करने की इच्छुक कंपनियों में प्रमुख रूप से बोस्टन साइंटिफिक, UPS, अडोब, फ्रेडिक्स और मास्टर कार्ड आदि शामिल हैं। अडोब के प्रतिनिधि रोहन मित्रा जल्द ही निवेश संबंधी प्रक्रियाओं को पूरा करना चाहते हैं।
वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए कंपनी के अधिकारियों ने की चर्चा
कैबिनेट मंत्री सिंह ने बताया कि US-इंडिया स्ट्रैटजिक पार्टनरशिप फोरम के जरिए मंगलवार को हुई एक वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान कंपनी के अधिकारियों ने उत्तर प्रदेश में निवेश करने की इच्छा जताई है। इस दौरान औद्योगिक विकास आयुक्त आलोक टंडन तथा सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम प्रमुख सचिव डॉ नवनीत सहगल ने कपंनियों के प्रतिनिधियों को रक्षा, फार्मास्यूटिकल्स, खाद्य प्रसंस्करण, इलेक्ट्रॉनिक्स और शिक्षा क्षेत्रों में राज्य की नीतियों के बारे में अवगत कराया गया है।
निवेशकों के लिए राज्य में उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी दी
कैबिनेट मंत्री सिंह ने कंपनियों के प्रतिनिधियों राज्य में उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी भी दी। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश में लगभग 90 लाख MSME हैं। इसके अलावा प्रदेश में बड़ी संख्या में कुशल कारीगर है। राज्य में उद्योगों की स्थापना के लिए पर्याप्त भूमि, जल संसाधन सहित बेहतर माहौल है। इसके अलावा कनेक्टिविटी बेहतर करने के लिए बड़े पैमाने पर एक्सप्रेस-वे का नेटवर्क तैयार किया जा रहा है। इससे कंपनियों को बड़ा लाभ मिलेगा।
डिफेंस एक्सपो में 74 रक्षा क्षेत्रों में किया गया था करार
कैबिनेट मंत्री सिंह ने बताया कि राज्य में गत फरवरी में हुए डिफेंस एक्सपो 74 रक्षा क्षेत्र में करार किया गया था। उद्यमियों की सुविधा के लिए 21 सेक्टोरियल पॉलिसी बनाई गई हैं। इससे पहले लखनऊ में इंवेस्टर्स समिट का भी आयोजन किया गया था। उस दौरान 428 हजार करोड़ रुपये के निवेश के प्रस्ताव मिले थे। ऐसे में राज्य में कंपनियों के निवेश के लिए बेहतर माहौल और सुविधाएं उपलब्ध हैं।
कोरोना के खिलाफ किए गए प्रयासों की जानकारी भी दी
कैबिनेट मंत्री सिंह ने कंपनियों के प्रतिनिधियों को कोरोना महामारी से लड़ने के लिए सरकार द्वारा किए गए प्रयासों की भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने महामारी से लड़ने के लिए टीम-11 का गठन किया है और इसका फायदा मिल रहा है।
इस तरह से अपने व्यापार का विस्तार करना चाहती हैं कंपनियां
वीडियो कांफ्रेंसिंग में अडोब कंपनी के प्रतिनिधि रोहन मित्रा ने उत्तर प्रदेश में एडोब प्लांट की क्षमता बढ़ाने की बात कही। मास्टर कार्ड कम्पनी के प्रतिनिधि ने राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों की किराना दुकानों में डिजिटल पेमेंट की सुविधा उलपब्ध कराने की इच्छा जताई। दो अग्रिणी लाजिस्टिक कम्पनी यूपीएस और फ्रेडिक्स ने जेवर एयरपोर्ट पर लाजिस्टिक सेंटर बनाने में निवेश की इच्छा जताई। बोस्टन साइंटिक कम्पनी ने राज्य में मेडिकल एक्यूपमेंट प्लांट लगाने की पेशकश की।
भारत और उत्तर प्रदेश में यह है कोरोना संक्रमण की स्थिति
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार देश में पिछले 24 घंटों में 73 नई मौतों के साथ मृतकों की संख्या 1,007 हो गई है। इसी तरह 1,897 नए मामलों के साथ संक्रमितों की कुल संख्या 31,332 हो गई है। राहत वाली बात यह है कि इस बीमारी से अब तक 7,696 मरीज स्वस्थ होकर घर लौट चुके हैं। उत्तर प्रदेश में संक्रमितों की संख्या 2,078 हो गई है तथा अब तक 35 की मौत हो चुकी है।