जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म होने से बौखलाया पाकिस्तान, भारत से व्यापार करेगा बंद
क्या है खबर?
जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने संबंधी भारत सरकार के फैसले से पाकिस्तान बौखला गया है।
पाकिस्तान ने इस फैसले के विरोध में भारत के साथ व्यापार निलंबित करने और राजनयिक संबंधों को कम करने का फैसला लिया है।
पाकिस्तान ने फैसला किया कि अब वह अपने राजदूत को भारत नहीं भेजेंगे और भारत के राजदूत को वापस दिल्ली भेज दिया जाएगा।
पाकिस्तान इस तरीके के फैसले लेगा, इसका अंदेशा पहले से ही लगाया जा रहा था।
जानकारी
इमरान खान की अध्यक्षता वाली बैठक में हुआ फैसला
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान की अध्यक्षता में बुधवार को राष्ट्रीय सुरक्षा समिति (NSC) की बैठक हुई, जिसमें ये फैसले लिए गए। बैठक में पाकिस्तान के सेनाध्यक्ष और खुफिया एजेंसी ISI के प्रमुख ने हिस्सा लिया। इमरान की कैबिनेट के बड़े मंत्री भी इसमें शामिल हुए।
ट्विटर पोस्ट
भारत के साथ व्यापार बंद करेगा पाकिस्तान
1-Downgrading of diplomatic relations with India.
— Govt of Pakistan (@pid_gov) August 7, 2019
2-Suspension of bilateral trade with India.
3-Review of bilateral arrangements.
4-Matter to be taken to UN, including the Security Council.
5-14th of August to be observed in solidarity with brave
Kashmiris. #StandwithKashmir pic.twitter.com/v06GmMc5lG
फैसला
UN जाएगा पाकिस्तान
NSC की इस बैठक का आयोजन भारत के जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने के फैसले से उपजी परिस्थितियों की समीक्षा के लिए किया गया था।
बैठक में कश्मीर के मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र (UN) ले जाने का फैसला लिया गया।
वहीं द्विपक्षीय रिश्तों की फिर से समीक्षा की जाएगी।
14 अगस्त को पाकिस्तान के आजादी दिवस को कश्मीरियों और स्वयं निर्णय लेने के उनके जायज अधिकार के साथ एकजुटता दिखाते हुए बनाने का फैसला भी लिया गया।
राजनयिक संबंध
भारत में अपने राजदूत को नहीं भेजेगा पाकिस्तान
बैठक के बाद जारी एक बयान में कहा गया कि इमरान खान ने भारत के इस कदम और मानवाधिकार उल्लंघन का पर्दाफाश करने के लिए सभी राजनयिक चैनलों को खोलने का निर्देश दिया है।
वहीं, विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने पाकिस्तान के एक चैनल को बताया, "नई दिल्ली में अब हमारा राजदूत नहीं रहेगा और यहां से उनके समकक्ष को वापस भेजा जाएगा।"
पाकिस्तानी मीडिया के अनुसार ये बैठक करीब एक घंटे चली।
असर
भारत पर खास असर पड़ने की संभावना कम
पाकिस्तान के इन फैसलों का भारत पर कोई खास प्रभाव पड़ेगा, इसकी संभावना कम है।
बता दें कि इससे पहले कल भी इमरान खान ने संसद के संयुक्त सत्र में मामले को UN ले जाने की बात कही थी।
संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा था, "हम कश्मीर के मुद्दे को UN और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को भाजपा की नस्लभेदी विचारधारा के कारण भारत में अल्पसंख्यकों के साथ हो रहे सलूक के बारे में बताएंगे।"
भड़काऊ बयान
पाकिस्तान के मंत्री ने कही थी युद्ध के लिए तैयार रहने की बात
वहीं, पाकिस्तान सरकार में विज्ञान और तकनीकी मंत्री चौधरी फवाद हुसैन ने कहा था कि भारत कश्मीर को फिलिस्तीन बनाने की कोशिश कर रहा है।
उन्होंने का था कि सांसदों को बेकार के मुद्दों में उलझने की बजाय भारत का जवाब खून, पसीने और आंसू से देना होगा और अगर युद्ध होता है तो इसके लिए तैयार रहना चाहिए।
पाकिस्तानी सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने भी कश्मीर के लिए किसी भी हद तक जाने की बात कही थी।
अनुच्छेद 370
भारत के किस कदम से बौखला गया है पाकिस्तान?
बता दें कि भारत सरकार ने 5 अगस्त को राष्ट्रपति के एक आदेश के जरिए भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 में बदलाव किए थे, जिससे जम्मू-कश्मीर को मिलने वाला विशेष दर्जा खत्म हो गया था।
इसके अलावा सरकार ने जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों, जम्मू-कश्मीर और लद्दाख, में बांटने संबंधी बिल भी पेश किया, जो संसद में पास हो चुका है।
भारत ने इसे अपना आंतरिक मामला बताते हुए ये फैसला लिया है।