अमेरिका: प्रतिबंधित एयरस्पेस में घुसा निजी विमान, सुरक्षित जगह ले जाए गए राष्ट्रपति बाइडन
शनिवार को एक छोटे निजी विमान ने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के डेलावेयर वेकेशन होम के पास एयरस्पेस का उल्लंघन कर दिया। इससे सतर्क हुई सीक्रेट सर्विस ने बाइडन और उनकी पत्नी को थोड़ी देर के लिए सुरक्षित स्थान पर भेज दिया था। व्हाइट हाउस ने बताया कि राष्ट्रपति और उनकी पत्नी को कोई खतरा नहीं है और ऐहतियाती कदम उठाए गए थे। स्थिति की समीक्षा के बाद बाइडन और उनकी पत्नी वापस रेहोबोथ बीच होम लौट आए।
दिशानिर्देशों का पालन नहीं कर रहा था पायलट
अमेरिका के राष्ट्रपति की सुरक्षा के लिए जिम्मेदार सीक्रेट सर्विस ने बताया कि गलती से प्रतिबंधित एयरस्पेस में घुसने के तुरंत बाद निजी विमान को दूर ले जाया गया। अब उस विमान के पायलट से पूछताछ की जाएगी। शुरुआती जांच में सामने आया है कि पायलट उचित रेडियो चैनल पर नहीं था न ही वह पहले से जारी उड़ान दिशानिर्देशों का पालन कर रहा था। इस मामले में दोषी पाए जाने पर पायलट पर कार्रवाई हो सकती है।
राष्ट्रपति के दौरे को देखते हुए जारी होते हैं विशेष दिशानिर्देश
अगर अमेरिकी राष्ट्रपति वॉशिंगटन से बाहर कहीं यात्रा करते हैं तो उसके लिए केंद्रीय उड्डयन विभाग दिशानिर्देश जारी करता है। इसी हफ्ते बाइडन की यात्रा को देखते हुए ऐसे दिशानिर्देश जारी किए गए थे। इसमें वेकेशन होम के लगभग 48 किलोमीटर के दायरे को प्रतिबंधित और 17 किलोमीटर के दायरे को नो-फ्लाई जोन घोषित किया गया था। इसका मतलब यह हुआ कि जिस जगह राष्ट्रपति ठहरे हुए हैं, वहां से लगभग 50 किलोमीटर के दायरे में उड़ानों पर रोक है।
अकसर होती हैं ऐसी घटनाएं
नियमों के अनुसार, पायलटों को उड़ान भरने से पहले रास्तों पर लागू प्रतिबंधों के बारे में जानना जरूरी होता है। फिर भी कई बार गलती से प्रतिबंधित एयरस्पेस का उल्लंघन होना आम बात है। अगर कोई विमान एयरस्पेस का उल्लंघन करता है तो अमेरिकी सेना और कोस्ट गार्ड के हेलिकॉप्टर उसे उस एयरस्पेस से बाहर कर नजदीकी हवाई अड्डे पर उतरने को कहते हैं। यहां पर कानून लागू करने वाली एजेंसियां पायलट से पूछताछ करती है।
सीक्रेट सर्विस करती है राष्ट्रपति की सुरक्षा
दुनिया के सबसे शक्तिशाली नेता यानी अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा का जिम्मा सीक्रेट सर्विस के पास होता है। राष्ट्रपति विलिमय मैककिनले की हत्या के बाद 1901 से सीक्रेट सर्विस सक्रिय है और व्हाइट हाउस से लेकर विदेश दौरों तक, हर मौके पर राष्ट्रपति के साथ रहती है। राष्ट्रपति के दौरे से पहले ही सीक्रेट सर्विस के अधिकारी उस जगह जाकर उसे पूरी तरह सुरक्षित कर देते हैं। इसके सुरक्षा घेरे को भेदना असंभव के बराबर है।