ISL 2018-19: किस टीम ने दागे सबसे ज्यादा गोल सहित जानें इस सीजन के दिलचस्प आंकड़े
इंडियन सुपर लीग (ISL) का पांचवा सीजन समाप्त हो चुका है। बेंगलुरु FC ने FC गोवा को 1-0 से हराकर खिताब पर कब्जा जमा लिया है। पहली बार लीग लगभग छह महीने तक चली और इसमें इंटरनेशल ब्रेक भी दिया गया। इस सीजन कई रिकॉर्ड बने भी और टूटे भी। हम पूरे सीजन का लेखा-जोखा आंकड़ों के मुताबिक लेकर आए हैं जिसे पढ़कर आपको काफी कुछ पता चलने वाला है। आइये जानें।
95 मैचों में पड़े 254 गोल
इस बार लीग को लगभग छह महीने तक चलाया गया और प्रत्येक टीम ने लीग स्टेज में 18-18 मुकाबले खेले। बीच में लगभग एक महीने का इंटरनेशनल ब्रेक भी लिया गया था। इस बार के सीजन में काफी गोल देखने को मिले। नॉकआउट राउंड के पांच मैचों को मिलाकर इस सीजन कुल 95 मुकाबले खेले गए, जिनमें कुल 254 गोल पड़े। लगभग 2.67 गोल हर मैच में पड़े जो कि काफी मनोरंजक है।
कोरो बने लीग के टॉप गोल स्कोरर
ISL में सबसे ज़्यादा गोल दागने का रिकॉर्ड इयान ह्यूम के नाम था। केरला ब्लास्टर्स और एटलेटिको डी कोलकाता दोनों के लिए खेल चुके ह्यूम को ISL का बेस्ट फारवर्ड माना जाता था। हालांकि, 2017 में FC गोवा ने फेरन कोरोमिनास को साइन किया और पहले सीजन में ही 18 गोल दागकर कोरो गोल्डेन बूट विजेता बने। इस सीजन भी 16 गोल दागकर उन्होंने गोल्डेन बूट जीता और लीग के ऑल टाइम टॉप गोल स्कोरर भी बन गए।
दो बार फाइनल गंवाने वाली दूसरी टीम बनी गोवा
ISL का पहला फाइनल कोलकाता और केरला के बीच खेला गया था जिसमें केरला को हार झेलनी पड़ी थी। अगले सीजन FC गोवा ने चेन्नइन के खिलाफ फाइनल गंवाया। 2016 में एक बार फिर कोलकाता और केरला फाइनल में आमने-सामने थे। कोलकाता ने फिर केरला को हराया और दूसरी बार ISL चैंपियन बने और केरला दो फाइनल गंवाने वाली पहली टीम बनी। बेंगलुरु के खिलाफ हारने वाली गोवा ISL में दो फाइनल गंवाने वाली दूसरी टीम बनी।
केवल दो खिलाड़ी ही लगा सके हैट्रिक
लीग में कुल 95 मैच खेले गए और एक से बढ़कर एक शानदार खिलाड़ियों ने इसमें हिस्सा लिया, लेकिन प्रतियोगिता काफी कड़ी रही। लीग में मुकाबले कितने प्रतियोगी रहे इसका सबूत पूरे लीग में लगे मात्र तीन हैट्रिक है। गौरतलब है कि केवल दो खिलाड़ी ही हैट्रिक लगाने में सफल रहे। नॉर्थईस्ट यूनाइटेड के बर्थोलेमेव ओग्बेछे ने एक तो वहीं मुंबई सिटी FC के मूडू सुगु ने दो हैट्रिक लगाई।
सुनील छेत्री और उदांता सिंह रहे टॉप भारतीय खिलाड़ी
भारतीय टीम और बेंगलुरु FC के कप्तान सुनील छेत्री ने इस सीजन भी शानदार प्रदर्शन किया। छेत्री ने कुल नौ गोल दागे और वह सबसे ज़्यादा गोल दागने वाले भारतीय खिलाड़ी रहे। इसके अलावा छेत्री ने तीन असिस्ट भी किए और इस लिस्ट में भी वह भारत के सबसे बेहतरीन खिलाड़ियों में शामिल रहे। बेंगलुरु के लिए ही खेलने वाले उदांता सिंह ने भी पांच गोल और तीन असिस्ट किए।
गोवा ने मारे तो चेन्नइन ने खाए सबसे ज़्यादा गोल
FC गोवा की टीम पिछले सीजन से सर्जियो लोबेरा के अंडर काफी अटैकिंग फुटबॉल खेल रही है। इस सीजन गोवा ने 21 मैचों में कुल 41 गोल दागे जो लगभग दो गोल प्रति मैच हैं। इस सीजन की चैंपियन बेंगलुरु 35 गोल दागकर दूसरे स्थान पर रही। पिछले सीजन की चैंपियन चेन्नइन के लिए यह सीजन किसी बुरे सपनेे से कम नहीं रहा। चेन्नइन ने इस सीजन 18 मुकाबलों में सबसे ज़्यादा 32 गोल खाए।
आखिरी स्थान पर रहे पिछले सीजन के चैंपियन
चेन्नइन FC पिछले सीजन ISL चैंपियन थी, लेकिन इस सीजन उनका प्रदर्शन बेहद शर्मनाक रहा। 18 मुकाबलों में केवल दो जीत हासिल करने वाली चेन्नइन मात्र नौ अंक ही हासिल कर सकी और अंक तालिका में सबसे नीचे रही। केरला ब्लास्टर्स के लिए भी सीजन काफी खराब रहा और उन्हें 18 मुकाबलों में केवल 15 अंक मिले और टीम नौवें नंबर पर रही। इस सीजन चेन्नइन ने सबसे ज़्यादा 13 मुकाबलों में हार झेली।
पुणे को मिले सबसे ज़्यादा येलो और रेड कार्ड
FC पुणे सिटी के लिए सीजन काफी निराशाजनक रहा और उनके खिलाड़ियों को नियम तोड़ने के लिए इस सीजन काफी येलो कार्ड दिखाए गए। इस सीजन पुणे को सबसे ज़्यादा 50 येलो कार्ड मिले। बेंगलुरु के हरमनजोत खाबरा सात येलो कार्ड के साथ सबसे ज़्यादा बार बुक होने वाले खिलाड़ी रहे। पुणे के फारवर्ड मार्सेलीनियो को सबसे ज़्यादा दो रेड कार्ड मिले तो वहीं पुणे, बेंगलुरु, नॉर्थईस्ट और गोवा की टीम को सबसे ज़्यादा 3-3 रेड कार्ड दिखाए गए।