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जीमेल और आउटलुक में ईमेल स्कैम्स का खतरा, यह है बचने का तरीका
आउटलुक और जीमेल से जुड़ा स्कैम कैंपेन सामने आया है।

जीमेल और आउटलुक में ईमेल स्कैम्स का खतरा, यह है बचने का तरीका

Oct 11, 2021
09:27 pm

क्या है खबर?

इंटरनेट यूजर्स को स्कैम्स का शिकार बनाने के लिए सबसे ज्यादा इस्तेमाल किए जाने वाले तरीकों में ईमेल फिशिंग भी शामिल है। जीमेल और आउटलुक यूजर्स हाल ही में रूस में स्टेट-स्पॉन्सर्ड फिशिंग कैंपेन का शिकार हुए हैं। ईमेल सेवाओं का इस्तेमाल करने वाले ज्यादातर यूजर्स इस तरह के अटैक्स का पता नहीं लगा पाते और इसका शिकार हो जाते हैं। सुपरमार्केट्स और स्टोर्स के नाम के साथ आने वाले फेक लिंक्स से बचने के लिए सतर्क रहना जरूरी है।

रिपोर्ट

सुरक्षा का दावा करती है गूगल

ब्लीपिंग कंप्यूटर का कहना है कि अटैकर्स का कैंपेन सितंबर महीने के आखिर में सामने आया और गूगल की ओर से यूजर्स को हर बार से ज्यादा अटैक नोटिफिकेशंस भेजे गए और चेतावनी दी गई। गूगल की साइबर सिक्योरिटी डिवीजन TAG (थ्रेट एनालिसिस ग्रुप) के हेड शेन हंटली ने कहा था कि ऐसे 100 प्रतिशत ईमेल अपने आप स्पैम फोल्डर में ट्रांसफर कर दिए गए और इन्हें जीमेल की ओर से ब्लॉक कर दिया गया।

खतरा

डाटा से लेकर यूजर्स की पहचान तक चोरी

ईमेल स्कैम्स लंबे वक्त से होते आ रहे हैं और हर बार हैकर्स फिशिंग स्कैम करने का नया तरीका खोज लेते हैं। सामने आया है कि ईमेल स्कैम्स की मदद से अटैकर्स जीमेल और आउटलुक इस्तेमाल करने वाले यूजर्स का डाटा और पहचान चोरी करने की फिराक में हैं। ऐसा मालिशियस और फेक लिंक्स भेजकर किया जाता है और यूजर्स को अलग-अलग मेसेज कर उनपर क्लिक करने के लिए फंसाया जाता है।

तरीका

लालच देने और डराने वाले मेसेज

कई बार अटैकर्स की ओर से भेजे जाने वाले मेसेज में इनाम या लॉटरी जीतने, फ्री शॉपिंग कूपन और गिफ्ट कार्ड्स जैसे लालच दिए जाते हैं और लिंक पर क्लिक कर जानकारी देने को कहा जाता है। वहीं, दूसरे स्कैम्स में समय रहते पेमेंट करने या EMI भरने जैसे नोटिस भेजे जाते हैं। कई बार अकाउंट ब्लॉक करने की चेतावनी देकर यूजर्स को डराया जाता है और वे वेरिफिकेशन के लिए लिंक्स पर क्लिक कर जानकारी दे देते हैं।

सलाह

स्पैम फिल्टर टूल का इस्तेमाल करें

सबसे जरूरी है कि आप जीमेल या आउटलुक सेवाओं में मिलने वाले स्पैम फिल्टर टूल का इस्तेमाल करें। इस टूल की मदद से स्पैम मेसेजेस को अपने आप फिल्टर कर दिया जाता है और वे मेन इनबॉक्स में नहीं दिखते। इसके अलावा जब तक जरूरी ना हो, अपना ईमेल एड्रेस पब्लिक वेबसाइट्स और पोर्ट्ल्स पर शेयर नहीं करना चाहिए। अटैकर्स ऐसी जगहों से ईमेल एड्रेस चोरी कर आपको फिशिंग अटैक का शिकार बनाने की कोशिश कर सकते हैं।

सावधानी

इन बातों का ध्यान रखना जरूरी

अपनी पर्सनल जानकारी केवल भरोसेमंद वेबसाइट्स पर ही सबमिट करें और ऐसा करते वक्त उसकी प्राइवेसी पॉलिसी जरूरत पढ़ें। कई बार वेबसाइट्स थर्ड-पार्टी सोर्सेज के साथ डाटा शेयर कर देती हैं। ईमेल में दिखने वाले अनजान लिंक या पॉप-अप को तुरंत डिलीट कर दें और अटैचमेंट्स डाउनलोड करने से बचें। हर तरह के सर्वे का हिस्सा बनने से बचें और अपनी ईमेल ID, पासवर्ड के साथ केवल साइन-इन पेज पर ही लॉगिन करें।

जानकारी

स्पैम ईमेल्स रिपोर्ट कर सकते हैं आप

जीमेल और आउटलुक जैसी सेवाओं में स्पैम ईमेल्स रिपोर्ट करने का विकल्प भी मिलता है। इसके लिए मेसेज ओपेन करने के बाद मेन्यू पर क्लिक करें और यहां आपको रिपोर्ट फिशिंग विकल्प चुनने के बाद 'सेंड' पर टैप करना होगा।