एक लिंक पर क्लिक बना सकता है मालवेयर का शिकार, सतर्क रहें स्मार्टफोन यूजर्स
साल 2020 में आई कोविड-19 महामारी के बाद स्मार्टफोन्स का इस्तेमाल पहले के मुकाबले बढ़ा है और हैकिंग अटैक्स से जुड़े मामले भी सामने आ रहे हैं। मालवेयर अटैक्स कर हैकर्स ऐड दिखाने के अलावा अकाउंट खाली करने और डाटा चोरी करने जैसे काम भी कर रहे हैं। ज्यादातर हैकिंग के मामले यूजर्स की ओर से की गई लापरवाही से शुरू होते हैं। अगर आप खुद को सुरक्षित रखना चाहते हैं तो कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है।
लिंक्स पर क्लिक करना पड़ सकता है भारी
एंड्रॉयड यूजर्स के लिए मालिशियस लिंक्स से जुड़ा नया खतरा सामने आया है और इन लिंक्स पर क्लिक करने वाले यूजर्स आसानी से मालवेयर का शिकार बन जाते हैं। यूजर्स को ये लिंक्स मेसेजेस में भेजे जा रहे हैं और इनके साथ कई तरह के दावे किए जाते हैं। ऐसे मेसेजेस में KYC अपडेट करने से लेकर फ्री गिफ्ट जीतने तक का लालच देकर यूजर्स से लिंक पर क्लिक करने को कहा जाता है।
लिंक शॉर्टनर का इस्तेमाल कर रहे हैं हैकर्स
सामने आया है कि हैकर्स अब यूजर्स को मेसेजेस और ईमेल्स की मदद से भेजने वाले लिंक्स को 'URL शॉर्टनर' की मदद से छोटा कर रहे हैं। शॉर्ट लिंक होने की स्थिति में यूजर को पूरी वेबसाइट और उसका डोमेन नहीं दिखता। यूजर्स को डराकर भी लिंक्स पर क्लिक करवाया जा रहा है, इन मामलों को स्केयरवेयर कहते हैं। फ्रॉड करने वाले फोन में मालवेयर होने जैसी बात लिखकर लिंक पर क्लिक कर क्लीनर ऐप्स इंस्टॉल करने को कहते हैं।
पासवर्ड्स और पर्सनल डाटा चुरा सकते हैं हैकर्स
मेसेजेस के साथ आने वाले लिंक्स पर क्लिक करते ही स्मार्टफोन में मालवेयर इंस्टॉल हो जाता है और यूजर को पता भी नहीं चलता। ऐसे मालवेयर्स की मदद से साइबर क्रिमिनल्स यूजर्स के पासवर्ड ऐक्सेस करने के अलावा उनका सेंसिटिव बैंकिंग या पर्सनल डाटा भी चोरी कर सकते हैं। इस डाटा का इस्तेमाल बैंक अकाउंट खाली करने के लिए किया जा सकता है या फिर हैकर्स यूजर को पर्सनल डाटा के साथ ब्लैकमेल कर सकते हैं।
रिसर्चर ने दी बचकर रहने की सलाह
ESET मालवेयर रिसर्चर लूकास स्टेफैंको ने बताया, "समस्या यह है कि कई मालिशियस लिंक्स शॉर्टनर सेवाएं एग्रेसिव ऐडवर्टाइजिंग टेक्निक इस्तेमाल करती हैं और स्केयरवेयर ऐड दिखाती हैं। इन ऐड्स में कहा जाता है कि यूजर के डिवाइस में वायरस है या फिर खराबी है।" लूकास ने बताया कि इन लिंक्स या ऐड्स पर क्लिक करने पर यूजर्स को अजीब सर्वे का हिस्सा बनने को कहा जाता है और बैकग्राउंड में मालवेयर उनके फोन में इंस्टॉल हो जाता है।
यह है खुद को बचाने का तरीका
यूजर्स के लिए मालवेयर और हैकिंग से जुड़े खतरों से बचने का सीधा तरीका ऐसे मेसेजेस को इग्नोर करना है। ध्यान रहे, बिना किसी लिंक की पहचान पर क्लिक किए उसपर क्लिक ना करें और थर्ड-पार्टी ऐप्स डाउनलोड करने से बचें। अगर पहले यह गलती कर चुके हैं और सेटिंग्स में जाकर ऐप लिस्ट में मालिशियस ऐप की तलाश करें और 'अनइंस्टॉल' कर दें। आप कैलेंडर क्लीनअप और मालवेयरबाइट्स जैसी ऐप्स की मदद भी ले सकते हैं।
एक्सट्रा पेलोड डाउनलोड कर सकते हैं मालवेयर
रिसर्चर ने बताया है कि कई ऐसे मालवेयर भी सामने आए हैं, जो इंस्टॉल होने के बाद डिवाइस में एक्सट्रा पेलोड डाउनलोड कर सकते हैं। इस तरह के पेलोड में बैकिंग ट्रोजन्स, SMS ट्रोजन्स और एग्रेसिव ऐडवेयर शामिल हो सकते हैं।