#NewsBytesExplainer: स्मार्टफोन में लाइव टीवी की सरकार की योजना का कंपनियां क्यों कर रही हैं विरोध?
भारत एक ऐसी नीति पर विचार कर रहा है, जिसमें स्मार्टफोन निर्माताओं को फोन में ऐसा हार्डवेयर देना होगा, जिससे सेलुलर नेटवर्क पर निर्भर हुए बिना लाइव टीवी की सुविधा के लिए सिग्नल मिल सकें। हालांकि, एक रिपोर्ट के अनुसार, सैमसंग और क्वालकॉम सहित अन्य ने इस योजना पर चिंता जताई है। तकनीकी दिग्गजों का तर्क है कि हार्डवेयर में बदलाव से प्रत्येक डिवाइस की लागत बढ़ जाएगी और उनकी मैन्युफैक्चरिंग प्रक्रिया बाधित हो सकती है।
ATSC 3.0 टेक्नोलॉजी के जरिए लाइव टीवी प्रसारण की योजना
स्मार्टफोन पर लाइव टीवी प्रसारण के सपोर्ट के लिए भारत की प्रस्तावित टेक्नोलॉजी को ATSC 3.0 कहा जाता है। यह उत्तरी अमेरिका में लोकप्रिय है और टीवी सिग्नलों को सटीक जियो-लोकेशन की अनुमति देती है और हाई-क्वालिटी तस्वीरें प्रदान करती है। हालांकि, कंपनियों का तर्क है कि भारत में उनके मौजूदा स्मार्टफोन ATSC 3.0 को सपोर्ट नहीं करते। कंपनियों का यह भी कहना है कि इस टेक्नोलॉजी को शामिल करने से प्रत्येक डिवाइस की लागत लगभग 2,500 रुपये बढ़ जाएगी।
बैटरी परफॉर्मेंस और सेलुलर रिसेप्शन हो सकता है प्रभावित
सैमसंग, क्वालकॉम, एरिक्सन और नोकिया ने 17 अक्टूबर को एक संयुक्त पत्र में भारत के संचार मंत्रालय को अपनी चिंता व्यक्त की। इन कंपनियों ने कहा कि डायरेक्ट-टू-मोबाइल प्रसारण को लागू करने से डिवाइसों का बैटरी परफॉर्मेंस और सेलुलर रिसेप्शन भी प्रभावित हो सकता है। रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, कोई निर्धारित समयसीमा तय किए बिना अभी भी इस प्रस्ताव को लागू किए जाने पर विचार किया जा रहा है।
इस वजह से सरकार चाहती है स्मार्टफोन पर लाइव टीवी प्रसारण की सुविधा
इंडस्ट्री के अधिकारियों के अनुसार, इस टेक्नोलॉजी के जरिए स्मार्टफोन पर टीवी चैनलों का डिजिटल प्रसारण दक्षिण कोरिया और अमेरिका जैसे देशों में सीमित है। इसका मुख्य कारण ATSC 3.0 टेक्नोलॉजी को सपोर्ट करने वाले उपकरणों की कमी है। सरकार के लिए स्मार्टफोन पर लाइव टीवी प्रसारण सुविधा की शुरुआत देश में बढ़ती वीडियो खपत के कारण दूरसंचार नेटवर्क पर पड़ने वाले लोड को कम करने की एक रणनीति है।
ICEA ने पत्र में कही ये बात
ऐपल और शाओमी सहित अन्य स्मार्टफोन निर्माताओं का प्रतिनिधित्व करने वाले एक समूह इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (ICEA) ने एक पत्र में निजी तौर पर नीति का विरोध किया है। उन्होंने नोट किया कि कोई भी प्रमुख वैश्विक स्मार्टफोन निर्माता वर्तमान में ATSC 3.0 को सपोर्ट नहीं करती है। ICEA के पत्र में कहा गया है कि ऐसी कोई भी तकनीक, जो विश्व स्तर पर स्वीकार्य नहीं है उसे अपनाने से घरेलू मैन्युफैक्चरिंग की प्रगति को घाटा लगेगा।