दोबारा शुरू होने पर दिल्ली मेट्रों के सफर में क्या-क्या बदलाव आएंगे?
कोरोना वायरस के कारण पांच महीने बंद रहने के बाद आखिरकार सितंबर में 'अनलॉक-4' के तहत दिल्ली मेट्रो अपनी सेवाएं शुरू कर सकती है। आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय के साथ विचार-विमर्श करके दिल्ली मेट्रो ने इस संबंध में मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) तैयार कर ली है और सेवाएं शुरू होने के बाद हर चीज का संचालन इसी के मुताबिक किया जाएगा। SOP में क्या-क्या प्रावधान किए गए हैं और मेट्रो यात्रा में क्या बदलाव आएंगे, आइए जानते हैं।
चुनिंदा गेटों से ही मिलेगा मेट्रो परिसर में प्रवेश
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, सितंबर में सेवाएं शुरू होने के बाद यात्रियों को चुनिंदा गेटों से ही मेट्रो परिसर के अंदर घुसने दिया जाएगा और सोशल डिस्टेंसिंग सुनिश्चित करने के लिए जमीन पर स्टीकर्स चिपकाए जा चुके हैं। लोगों को इन्हीं स्टीकर्स पर खड़ा होना होगा। हर व्यक्ति के लिए फेस मास्क पहनना अनिवार्य होगा। आरोग्य सेतु ऐप को अनिवार्य नहीं किया गया है, हालांकि सुरक्षा कर्मचारी लोगों को इस ऐप को डाउनलोड करने के लिए प्रोत्साहित करेंगे।
तापमान ज्यादा या लक्षण दिखने पर नहीं मिलेंगे एंट्री
मेट्रो के गेट पर केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (CISF) के जवान यात्रियों की थर्मल स्क्रीनिंग करेंगे और जिनका भी तापमान ज्यादा पाया जाएगा या जिनमें फ्लू जैसे लक्षण होंगे, उन्हें परिसर के अंदर नहीं घुसने दिया जाएगा।
बंद की जा सकती है टोकन और नकद लेनदेन की व्यवस्था
नई गाइडलाइंस में टोकन की व्यवस्था को बंद किया जा सकता है और यात्रा के लिए स्मार्ट कार्ड्स को अनिवार्य किया जा सकता है। केवल टोकन ही नहीं, बल्कि हर तरह के नकदी लेनदेन को बंद करने का फैसला लिया जा सकता है और स्मार्ट कार्ड रिचार्ज करने के लिए भी यात्रियों को अपना क्रेडिट या डेबिट कार्ड स्वाइप करना होगा। इसके अलावा यात्री पेटीएम जैसे ऐप की मदद से भी अपना क्रेडिट कार्ड रिचार्ज कर सकेंगे।
लॉन्च किए जाएंगे बैंक अकाउंट से लिंक स्मार्ट कार्ड
इसके अलावा दिल्ली मेट्रो नए तरीके का 'ऑटोपे' स्मार्ट कार्ड लॉन्च करने पर भी विचार कर रही है। ये स्मार्ट कार्ड सीधे बैंक अकाउंट से लिंक होंगे और 100 रुपये से कम बैलेंस होने पर ये खुद से रिचार्ज हो जाएंगे। रिचार्ज का पैसा बैंक अकाउंट से काट लिया जाएगा। यात्री चाहें तो पुराने स्मार्ट कार्ड्स में भी ये सुविधा शुरू करा सकेंगे। इन कार्ड्स का उपयोग करने पर यात्रियों को बार-बार रिचार्ज के झंझट से छुटकारा मिल जाएगा।
डिब्बों के अंदर आएंगे ये बदलाव
मेट्रों के डिब्बों के अंदर बदलावों की बात करें तो नियमित तौर पर अनाउसमेंट करते हुए यात्रियों से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने का अनुरोध किया जाएगा। यात्रियों को एक सीट छोड़कर बैठना होगा और खड़े यात्रियों को आपस में कम से कम एक मीटर की दूरी बनाकर रखनी होगी। इन नियमों का मतलब होगा कि जहां पहले एक मेट्रो ट्रेन में लगभग 2,400 यात्री सफर करते थे, अब 500 से ज्यादा यात्री सफर नहीं कर सकेंगे।
पहले की तुलना में 30 सेकंड अधिक रुकेंगी मेट्रो
इसके अलावा अब मेट्रो ट्रेनें स्टेशनों पर पहले की तुलना में 30 सेकंड ज्यादा रुकेंगी ताकि यात्री सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने हुए आराम से चढ़ और उतर सकें। शुरू में ट्रेनों की संख्या कम रहेगी और मांग के आधार पर धीरे-धीरे इनकी संख्या बढ़ाई जाएगी। लिफ्ट के अंदर एक साथ तीन से अधिक लोगों को जाने की इजाजत नहीं होगी और सार्वजनिक शौचालयों को नियमित तौर पर सैनिटाइज किया जाएगा। निजी सुरक्षा गार्डों की संख्या भी बढ़ सकती है।