
मणिपुर में नहीं थम रही हिंसा, राजधानी इंफाल में प्रदर्शनकारियों ने घरों को आग लगाई
क्या है खबर?
पिछले एक महीने से भी ज्यादा वक्त से मणिपुर में जारी हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है।
अब राजधानी इंफाल में प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ की खबर है। इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने कई घरों को आग के हवाले कर दिया है। कुछ लोगों के घायल होने की भी खबर है।
इससे पहले बुधवार शाम को मणिपुर की एकमात्र महिला मंत्री नेमचा किपगेन के घर को भी प्रदर्शनकारियों ने आग लगा दी थी।
इंफाल
पूर्वी इंफाल में भड़की हिंसा
रिपोर्ट्स के मुताबिक, दोपहर करीब 1 बजे प्रदर्शनकारियों ने पूर्वी इंफाल के न्यू चेकॉन क्षेत्र में घरों में आग लगा दी। इस इलाके में सख्त कर्फ्यू के बावजूद प्रदर्शनकारियों की सुरक्षाबलों से झड़प हो गई।
पुलिस ने भीड़ का काबू करने के लिए आंसू गैस के गोले भी दागे।
फिलहाल किसी के भी हताहत होने की खबर नहीं है।
बता दें कि इस क्षेत्र में कुकी, मैतेई, मुस्लिम और बंगाली मूल के लोग रहते हैं।
इंटरनेट
20 जून तक बढ़ाया गया इंटरनेट पर प्रतिबंध
मणिपुर में सरकार ने इंटरनेट पर लगी रोक 20 जून दोपहर 3:00 बजे तक बढ़ा दी है।
मणिपुर के गृह आयुक्त टी रंजीत सिंह की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि प्रदेश में शांति व्यवस्था बनाए रखने और उपद्रव को रोकने के लिए यह निर्णय लिया गया है।
आदेश में कहा गया है कि इंटरनेट से प्रदेश में कानून व्यवस्था बिगड़ सकती है।
बता दें कि राज्य में 9वीं बार इंटरनेट पर प्रतिबंध बढ़ाया गया है।
मौत
मंगलवार को हिंसा में हुई थी 9 लोगों की मौत
मंगलवार रात 10:30 बजे खमेनलोक इलाके के अगिजंग गांव में हिंसा भड़की। इस दौरान बड़ी संख्या में सशस्त्र उपद्रवियों ने एक कुकी गांव में हमला कर दिया था। इसमें 9 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 10 लोग घायल हुए थे।
घटना की सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस और उपद्रवदियों के बीच फायरिंग भी हुई थी। हालांकि, बाद में सुरक्षाबलों ने त्वरित कार्रवाई कर हिंसा पर काबू पा लिया था।
समिति
गृह मंत्रालय ने किया है शांति समिति का गठन
गृह मंत्रालय ने मणिपुर में शांति के लिए शांति समिति का गठन किया है। इस समिति में कुल 51 सदस्य हैं, जिनमें विभिन्न समुदायों के प्रतिनिधि शामिल हैं।
हालांकि, कुकी समुदाय ने इस समिति के बहिष्कार का ऐलान किया है। समुदाय के प्रतिनिधियों ने कहा कि उन्हें शांति समिति में शामिल करने से पहले उनकी सहमति नहीं ली गई।
कुकी समुदाय मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह और उनके समर्थकों को समिति में शामिल किए जाने से भी नाखुश है।
लोग
मणिपुर में अब तक 100 से ज्यादा लोगों की मौत
मणिपुर में जारी हिंसा में अब तक 100 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है और 320 लोग घायल हुए हैं। करीब 47,000 लोगों को राहत शिविरों में भी शिफ्ट किया गया है।
दरअसल, मणिपुर हाई कोर्ट ने मणिपुर सरकार से गैर-आदिवासी मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (ST) का दर्जा दिए जाने की याचिका पर विचार करने को कहा था।
इसका कुकी आदिवासियों ने विरोध किया और 3 मई से राज्य में हिंसा जारी है।