साल के पहले दिन भारत में पैदा हुए 69,944 बच्चे, दुनिया में सबसे ज़्यादा
नए साल की शुरुआत हो चुकी है। नए साल पर दुनियाभर में कई ऐसी चीज़ें होती हैं, जो सबको हैरानी में डाल देती हैं। संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (UNISEF) ने नए साल के पहले दिन दुनियाभर में पैदा होने वाले बच्चों का एक अनुमान जारी किया है। इसके अनुसार साल के पहले दिन दुनियाभर में 3 लाख 95 हज़ार 72 बच्चों ने जन्म लिया। इनमें से सबसे ज़्यादा लगभग 18 प्रतिशत यानी 69,944 बच्चों ने भारत में जन्म लिया।
50% बच्चे सिर्फ 8 देशों में जन्मे
UNISEF के अनुसार 1 जनवरी, 2019 को दुनियाभर में जन्में बच्चों में से लगभग 50 प्रतिशत बच्चों का जन्म केवल आठ देशों में हुआ है। रिपोर्ट के अनुसार इन आठ देशों में दुनिया की सबसे बड़ी आबादी वाले देश चीन में साल के पहले दिन 44,940, भारत में 69,944, नाइजीरिया में 25,685, पाकिस्तान में 15,112, इंडोनेशिया में 13,256, अमेरिका में 11,086, डेमोक्रेटिक रिपब्लिक ऑफ काॅन्गो में 10,052 और बांग्लादेश में 8,428 बच्चों का जन्म होने का अनुमान है।
2017 में जन्म के पहले ही दिन 10 लाख बच्चों की मौत
UNISEF की रिपोर्ट के अनुसार 2017 में लगभग 10 लाख बच्चे जन्म के पहले ही दिन मर गए थे। इसके अलावा लगभग 25 लाख बच्चे जन्म के पहले महीने में मरे थे। रिपोर्ट के अनुसार ज़्यादातर बच्चों की मौत समय से पहले जन्म लेने, डिलीवरी के दौरान होने वाली परेशानियों और सेप्सिस एवं निमोनिया जैसे संक्रमण की वजह से हुई। UNISEF का कहना है कि बच्चों के मौत की वजहों को चिकित्सा क्षेत्र में तरक़्क़ी करके टाला जा सकता है।
बच्चों के अधिकार के लिए सालभर कार्यक्रम करेगा UNISEF
इस साल 2019 में बाल अधिकार सम्मेलन को शुरू हुए 30 साल पूरे हो जाएँगे। इस वजह से UNISEF की तरफ़ से दुनियाभर में पूरे साल कार्यक्रम किया जाएगा। इस सम्मेलन की वजह से सरकारें बच्चों को अच्छी स्वास्थ्य सेवाएँ और अन्य सुविधाएँ देने के लिए प्रतिबद्ध हैं। UNISEF की उप निदेशक शार्लोट पेत्री गोर्नित्जका ने कहा कि, 'नए साल में सभी बच्चों के अधिकारों को पूरा करने का संकल्प लेना चाहिए। इसमें जीने का अधिकार सबसे आगे होना चाहिए।'