प्रधानमंत्री ने IB प्रमुख को सौंपी नागाओं के साथ वार्ता को पटरी पर लाने की जिम्मेदारी
नागा शांति वार्ता में गतिरोध पर चिंता व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) ने खुफिया एजेंसी इंटेलीजेंस ब्यूरो (IB) प्रमुुख अरविंद कुमार को इसे फिर से पटरी पर लाने की जिम्मेदारी सौंपी है। उनका साथ देने के लिए IB की उत्तर-पूर्व इकाई में कुछ नई तैनातियां भी की गई हैं। नागालैंड के विद्रोही समूहों के मौजूदा वार्ताकार आरएन रवि की भूमिका पर सवाल खड़े करने के बाद PMO की तरफ से ये फैसला लिया गया है।
नागालैंड में उभरती तीन तरफा लड़ाई से चिंतित है केंद्र सरकार
मंत्रालय से संबंधित एक वरिष्ठ अधिकारी ने 'NDTV' को बताया, "पिछले छह साल से आरएन रवि वार्ताकार के तौर पर नागा समूहों से बात कर रहे थे। हालांकि पिछले 10 या 11 महीनों से चीजें ठीक नहीं चल रही हैं।" केंद्र सरकार नागालैंड में उभरती तीन-तरफा झगड़े से खासतौर पर परेशान है। ये झगड़ा नागालैंड के सबसे बड़े विद्रोही समूह नेशनल सोशलिस्ट काउंसिल ऑफ नागालैंड (ईसाक-मुइवाह) (NSCN-IM), वार्ताकर रवि और नए संगठन नेशनल नागा पॉलिटिकल गुप्स (NNPG) के बीच है।
इन चीजों ने भी खडी की शांति वार्ता में बाधा
एक अधिकारी ने बताया, "पिछले साल अक्टूबर में एक आम सहमति बननी थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। केंद्र ने पलटवार किया और NSCN (IM) के कार्यकर्ताओं और नेताओं के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी। नागा नेता केंद्र की इस कार्रवाई से नाराज हैं।" अधिकारियों के अनुसार, वार्ताकार रवि के NNPG का पक्ष लेने की धारणा ने भी परेशानियां खड़ी की हैं। इसके अलावा रवि के नागालैंड सरकार पर प्रत्यक्ष हमलों ने भी शांति वार्ता में बाधा खड़ी की है।
अब ये नई टीम करेगी नागा समूहों से वार्ता
इन्हीं सब परिस्थितियों को देखते हुए PMO ने अब नागा समूहों के साथ बातचीत को पटरी पर लाने की जिम्मेदारी IB प्रमुख अरविंद कुमार और विशेष निदेशक अक्षय कुमार मिश्रा को दी है। इसके अलावा 1999 बैच के अधिकारी मंदीप तुल्ली जो अब तक मणिपुर के इंफाल में तैनात थे, उन्हें भी उत्तर-पूर्व के संयुक्त निदेशक के तौर पर दिल्ली बुलाया गया है। वहीं 1996 बैच की रितु मिश्रा को नागालैंड IB की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
पिछले हफ्ते 2015 के नागा समझौते पर NSCN-IM प्रमुख ने किया था बड़ा खुलासा
गौरतलब है कि केंद्र सरकार की तरफ से ये बदलाव ऐसे समय पर किया गया है, जब पिछले हफ्ते ही NSCN-IM प्रमुख थुइंगालेंग मुइवाह ने 2015 के नागा शांति समझौते को लेकर चौंकाने वाला खुलासा किया था। उन्होंने कहा था कि इस समझौते में केंद्र सरकार ने नागाओं की संप्रभुता को स्वीकार किया था। इसके अलावा पिछले हफ्ते ही NSCN-IM ने रवि को वार्ताकार के पद से हटाने की मांग की थी।
अलग नागा देश बनाना है NSCN-IM का लक्ष्य
नागालैंड के सबसे बड़े और पुराने विद्रोही समहू NSCN-IM का लक्ष्य भारत और म्यांमार के नागा इलाकों को एक साथ मिलाकर एक अलग नागा देश बनाना है। समूह पिछले 18 साल से भारत सरकार के साथ शांति वार्ता कर रहा है।