Page Loader
तालिबान का महिलाओं पर सख्ती के लिए नया फरमान, सार्वजनिक जगहों पर पहनना होगा बुर्का
तालिबान का महिलाओं पर सख्ती के लिए नया फरमान, सार्वजनिक जगहों पर पहनना होगा बुर्का।

तालिबान का महिलाओं पर सख्ती के लिए नया फरमान, सार्वजनिक जगहों पर पहनना होगा बुर्का

May 07, 2022
06:52 pm

क्या है खबर?

महिलाओं की आजादी के खिलाफ रहे तालिबान ने पिछले साल अफगानिस्तान की सत्ता में वापसी के साथ महिलाओं पर फिर से सख्ती बरतना शुरू कर दिया है। वह महिलाओं की आजादी खत्म करने के लिए पहले ही कई तरह के प्रतिबंध लगा चुका है और अब उसने एक और फरमान जारी किया है। इसके तहत अब महिलाओं को सार्वजनिक स्थानों पर सिर से लेकर पैर तक बुर्का पहनना होगा। बिना बुर्के के महिलाएं घर से बाहर नहीं आ सकेगी।

ऐलान

तालिबान प्रमुख अखुंदजादा ने किया बुर्के का ऐलान

अफगानिस्तान के शीर्ष नेता और तालिबान के प्रमुख हिब्तुल्लाह अखुंदजादा के कहने पर इस्लामिक अमीरात के अधिकारियों ने शनिवार को काबुल में आयोजित एक समारोह में इस आदेश को सार्वजनिक किया है। इसमें अखुंदजादा ने कहा है कि महिलाओं को 'चदोरी' (सिर से पैर तक बुर्का) पहनना चाहिए, क्योंकि यह पारंपरिक और सम्मानजनक है। इसी तरह जो महिलाएं बहुत वृद्ध हैं, उन्हें आंखों को छोड़कर पूरा चेहरा ढंकना चाहिए, ताकि पुरुषों से मिलने पर उत्तेजना से बचा जा सके।

सजा

उल्लंघन करने पर महिला के पिता को भेजा जाएगा जेल

आदेश में यह भी कहा गया है कि यदि कोई महिला घर से बाहर निकलने के समय अपना चेहरा नहीं ढंकती है तो उसके पिता अथवा सबसे करीबी पुरुष रिश्तेदार को सरकारी नौकरी से निकाला जा सकता है। इतना ही नहीं, उन्हें जेल में भी डाला जा सकता है। आदेश में कहा गया है कि सबसे आदर्श लिबास नीले रंग का बुर्का है। ऐसे में अफगानिस्तान में नीले रंग के बुर्कों की डिमांड भी काफी ज्यादा बढ़ गई है।

पुनरावृत्ति

तालिबान पहले भी जारी कर चुका है कई फरमान

महिलाओं पर सख्ती के लिए तालिबान का यह कोई नया फरमान नहीं है। इससे पहले तालिबान की धार्मिक पुलिस ने राजधानी काबुल में पोस्टर लगाकर महिलाओं को बुर्का पहनने का आदेश दिया था। इसी तरह इस महीने की शुरुआत में हेरात शहर के अधिकारियों ने ड्राइविंग प्रशिक्षकों को महिलाओं को लाइसेंस जारी करने से रोक दिया था। मार्च में तालिबान ने लड़कियों के माध्यमिक विद्यालयों को फिर से खोलने के कुछ ही घंटों बाद बंद कर दिया था।

जानकारी

बिना पुरुष के हवाई यात्रा पर भी रोक

तालिबान ने कुछ समय पहले अफगानिस्तान एयरलाइंस को पुरुष संरक्षक के बिना महिलाओं को घरेलू या अंतरराष्ट्रीय उड़ानों में यात्रा की अनुमति नहीं देने को कहा था। इसी तरह बस में अकेले 70 किलोमीटर के दूर सफर करने पर पाबंदी लगाई थी।

अन्य

महिलाओं पर लागू हैं ये अन्य प्रतिबंध

तालिबान ने पिछले साल टीवी पर महिला कलाकारों वाले नाटक बैन करने के आदेश दिए थे। जिसके बाद महिला कलाकारों का करियर खत्म हो गया था। इसी तरह महिलाओं को पुरुषों से अलग दिनों में पार्कों में जाने के आदेश जारी किए थे। इसके अलावा महिलाओं के सरकारी या अन्य निजी नौकरी करने पर भी रोक लगाई गई है। बता दें कि तालिबान ने 1990 के दशक में अपने शासन काल में महिलाओं को बुर्का पहनना अनिवार्य कर दिया था।

प्रयास

तालिबान ने किया था महिलाओं को अधिकार देने का वादा

बता दें कि पिछले साल अफगानिस्तान पर कब्जा करने बाद तालिबान ने वैश्विक समर्थन हासिल करने के लिए अपने पिछले शासन की तुलना में महिलाओं के प्रति अधिक नरमी रखने और अधिकार देने का वादा किया था। तालिबान ने कहा था कि वह महिलाओं को शरिया कानून के तहत काम करने और रहने की आजादी देगा, लेकिन कुछ समय बाद ही वह अपने वादे से मुकर गया। इसके साथ ही उसने महिलाओं पर फिर से सख्ती शुरू कर दी।

जानकारी

न्यूजबाइट्स प्लस (जानकारी)

बता दें कि अखुंदजादा 2016 से तालिबान का शीर्ष कमांडर है। उसे इस्लामी कानून का विद्वान माना जाता है। वह एक धार्मिक कट्टरपंथी है और उसके विचार बेहद रूढ़िवादी हैं। तालिबान के राजनीतिक, धार्मिक और सैन्य मामलों पर अंतिम फैसला वह खुद करता है। 2016 में अचानक गायब होने से पहले वह दक्षिण-पश्चिमी पाकिस्तान के एक कस्बे कुचलक में एक मस्जिद में पढ़ाता था। यहीं से वह तालिबान के संपर्क में आया और शीर्ष पद पर पहुंच गया।