फेक न्यूज और अफवाहों को रिपोर्ट करने के लिए इंस्टाग्राम में आएगा नया टूल
फेक न्यूज की समस्या से जूझ रही सोशल मीडिया कंपनियां लगातार इससे पार पाने की कोशिश में लगी हुई है। अब इंस्टाग्राम अपने यूजर्स के लिए एक टूल लाने जा रही है, जिसमें वो फेक न्यूज या गलत सूचनाओं को रिपोर्ट कर सकेंगे। फेसबुक के मालिकाना हक वाली फोटो शेयरिंग साइट अपने प्लेटफॉर्म से गलत सूचनाओं और अभद्र टिप्पणियों को हटाने की कोशिश कर रही है। आइये, इस बारे में विस्तार से जानते हैं।
फेसबुक पर नहीं है गलत जानकारी पोस्ट करने पर रोक
अभी तक फेसबुक के किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर फेक न्यूज और गलत सूचनाओं को पोस्ट करने पर पाबंदी नहीं है। कंपनी अब ऐसी सूचनाओं और न्यूज की पहुंच कम करने की कोशिश कर रही है ताकि कम लोगों तक ये जानकारियां पहुंचे।
इंस्टाग्राम पर शुरू हुआ था इमेज डिटेक्शन
इससे पहले इंस्टाग्राम से गलत जानकारियां हटाने के लिए फेसबुक ने मई में इमेज-डिटेक्शन टेक्नोलॉजी का प्रयोग शुरू किया था। साथ ही कंपनी ने इस प्लेटफॉर्म के लिए अमेरिका में थर्ड-पार्टी फैक्ट चेकिंग प्रोग्राम भी लागू किया गया था। इसके बाद इंस्टाग्राम के एक्सप्लोर टैब और हैशटैग सर्च रिजल्ट से ऐसी गलत जानकारियां और फेक न्यूज हटाई गई थी। जानकारी के लिए बता दें कि फेसबुक ने फैक्ट चेकिंग के लिए 42 पार्टनर्स के साथ हाथ मिलाया है।
सवालों के घेरे में है फेसबुक और इंस्टाग्राम
फेसबुक पर 2016 अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों के समय गलत जानकारी फैलाने के आरोप लगा था। उसके बाद कंपनी पर दुनियाभर में कई आरोप लगे। कई देशों में फेसबुक के प्लेटफॉर्म के जरिए फैल रही फेक न्यूज को लेकर कंपनी सवालों के घेरे में रही है, जिसके बाद इंस्टाग्राम भी ऐसे सवालों से नहीं बच सकी। एक सीनेट कमेटी की रिपोर्ट में दावा किया गया कि चुनावों के बाद रूस के लिए गलत जानकारी फैलाने में इंस्टाग्राम सबसे कारगर प्लेटफॉर्म है।
जानलेवा साबित हुई है सोशल मीडिया पर फैली अफवाहें
दुनियाभर में पिछले कुछ सालों से फेक न्यूज की समस्या लगातार बढ़ रही है। इससे न सिर्फ सरकारों के चुनावों पर असर पड़ रहा है बल्कि समाज में तनाव भी बढ़ रहा है। सोशल मीडिया पर फैली अफवाहों के कारण कई लोग भीड़ के हाथों मारे गए हैं। लगातार हुई इन घटनाओं के बाद सोशल मीडिया कंपनियों पर फेक न्यूज को रोकने का दबाव बढ़ा, जिसके बाद इन कंपनियों ने कदम उठाने शुरू किए हैं।
भारत सरकार ने की थी व्हाट्सऐप की खिंचाई
भारत में भी फेसबुक और उसके मालिकाना हक वाली व्हाट्सऐप को फेक न्यूज के फैलाने के लिए इस्तेमाल किए जाने के कारण भारत सरकार के गुस्से का सामना करना पड़ा था। प्लेटफॉर्म पर फैली कई फेक न्यूज के कारण भारत में मॉब लिंचिंग की घटनाएं भी हुई थीं। भारत सरकार की कड़ाई के बाद व्हाट्सऐप ने अखबारों में विज्ञापन देकर जागरुकता अभियान चलाया और अपने प्लेटफॉर्म पर भी कई बदलाव किए थे।
व्हाट्सऐप पर फॉरवर्ड मैसेज की मिलेगी और जानकारी
अपने प्लेटफॉर्म के जरिए फैल रही फेक न्यूज पर लगाम लगाने के लिए व्हाट्सऐप ने पिछले साल से फॉरवर्ड किए गए मैसेज पर फॉरवर्डेड लेबल देना शुरू किया था। अब कंपनी इस फीचर का विस्तार कर रही है। अब लगातार फॉरवर्ड हो रहे मैसेज पर 'फ्रीक्वैंटली फॉरवर्डेड' का लेबल दिखेगा। साथ ही कंपनी एक और फीचर पर काम कर रही है, जिससे यूजर को पता चल सकेगा कि कोई मैसेज कितनी बार फॉरवर्ड किया गया है।