
मणिपुर के सांसदों ने ली लोकसभा सांसद पद की शपथ, मणिपुर-मणिपुर के नारों से गूंजा सदन
क्या है खबर?
संसद में 18वीं लोकसभा का सत्र शुरू हो चुका है और नवनिर्वाचित सांसदों को शपथ दिलाने का क्रम जारी है। सोमवार को 262 सांसदों के बाद मंगलवार को शेष 281 सांसदों का शपथ ग्रहण हुआ।
इस बीच मणिपुर से जीते कांग्रेस के सांसदों ने भी शपथ ली। इस मौके पर सदन मणिपुर-मणिपुर के नारों से गूंज उठा।
आंतरिक मणिपुर से सांसद अंगोमचा बिमोल अकोइजम ने हाथ में संविधान की प्रति लेकर शपथ ली। विपक्ष ने मेज थपथपाकर उनका स्वागत किया।
शपथ
मणिपुर सांसद ने मंच से कही बड़ी बात
अकोइजम से कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने हाथ मिलाया और उन्हें बधाई दी। इसके बाद जब मणिपुर बाहरी सीट से कांग्रेस सांसद अल्फ्रेड कनंगम एस आर्थर शपथ लेने पहुंचे।
तभी राहुल ने उनका भी कुर्सी से खड़े होकर अभिवादन किया। शपथ लेने के बाद आर्थर ने मंच से कहा, "मणिपुर में न्याय दिलाइए, देश बचाइए।"
बता दें कि प्रोटेम स्पीकर भतृहरि महताब सभी नवनिर्वाचित सांसदों को शपथ दिला रहे हैं। बुधवार को लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव होगा।
ट्विटर पोस्ट
सदन में लगे मणिपुर के नारे
जिस संसद में साहब मणिपुर का नाम लेने पर कैमरे बंद करवा देते थे और सांसद बर्खास्त कर देते थे, आज वो मणिपुर के नारों से गूंज रहा है।
— Rofl Gandhi 2.0 🏹 (@RoflGandhi_) June 25, 2024
संविधानमेव जयते ! pic.twitter.com/WS2Or7QHa7
चुनाव
कांग्रेस ने जीती हैं मणिपुर की दोनों लोकसभा सीटें
2019 के लोकसभा चुनाव में मणिपुर की आंतरिक और बाहरी दोनों लोकसभा सीटों पर भाजपा का कब्जा था, लेकिन 2024 के चुनाव में दोनों सीटों पर कांग्रेस ने बाजी मारी है।
आंतरिक मणिपुर में कांग्रेस के अंगोमचा बिमोल अकोइजम ने भाजपा के थनजम बसंता कुमार सिंह को 1.09 लाख वोट से हराया।
मणिपुर बाहरी सीट पर कांग्रेस के अल्फ्रेड कनंगम एस आर्थर ने नागा पीपुल्स फ्रंट के काचुई तिमोझी जिमिक को 85,418 वोट से मात दी।
हिंसा
पिछले एक साल से हिंसा की आग में झुलस रहा मणिपुर
3 मई, 2024 को मैतेई और कुकी समुदायों के बीच जातीय झड़प शुरू हुई थी, जो आज भी रुक-रुककर जारी है।
हिंसा की शुरुआत हाई कोर्ट के उस आदेश के बाद हुई, जिसमें उसने राज्य सरकार से मैतेई समुदाय को आदिवासी समुदाय का दर्जा दिए जाने की मांग पर विचार करने को कहा था।
इसके विरोध में आदिवासियों ने एकता मार्च निकाला, जिसमें हिंसा भड़क उठी थी। हिंसा में 219 की मौत हुई है, जबकि 60,000 लोग विस्थापित हुए हैं।