प्रधानमंत्री मोदी का देश के नाम संबोधन, जानिये उनके भाषण की बड़ी बातें
दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेंद्र मोदी पहली बार देश को संबोधित किया। अनुच्छेद 370 पर बोलते हुए उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि एक परिवार के तौर पर देश ने ऐतिहासिक फैसला लिया है। जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के लोगों के समस्याएं दूर हो गई है। जो सपना सरदार पटेल, श्यामा प्रसाद और अटल जी समेत करोड़ों लोगों का था, वह अब पूरा हुआ है। जम्मू और कश्मीर में एक नये युग की शुरुआत हुई है।
अनुच्छेद 370 हटने पर देशभर को बधाई- प्रधानमंत्री मोदी
प्रधानमंत्री ने कहा कि जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटने की देशभर के लोगों को बहुत-बहुत बधाई। उन्होंने कहा कि अनुुच्छेद 370 और 35A ने कश्मीर को अलगाववाद, आतंकवाद, परिवारवाद और भ्रष्टाचार के अलावा कुछ नहीं दिया। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि इन अनुच्छेदों का पाकिस्तान द्वारा एक अस्त्र के तौर पर इस्तेमाल किया जा रहा था। इसलिए पिछले तीन दशकों में 42,000 निर्दोष लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी। जम्मू-कश्मीर और लद्दाख का विकास तेज गति से नहीं हुआ।
पहले जरूरी कानूनों से वंचित थे जम्मू-कश्मीर के लोग
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि पहले जो कानून देशभर के लोगों के कल्याण के लिए बनता था, उससे जम्मू-कश्मीर के डेढ़ करोड़ लोग वंचित रह जाते थे। इसका उदाहरण देते हुए उन्होंने शिक्षा के अधिकार का जिक्र किया।
जल्द भरे जाएंगे जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के खाली पद
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि नई व्यवस्था में राज्य के कर्मचारियों को दूसरे केंद्र शासित प्रदेशों के अधिकारियों के बराबर सुविधाएं मिलीं। अभी केंद्र शासित प्रदेशों में कई ऐसी सुविधाएं हैं, जिनमें से अधिकांश जम्मू-कश्मीर के कर्मचारियों को नहीं मिलती। ऐसी योजनाओं की समीक्षा कर उन कर्मचारियों को ये सुविधाएं दी जाएंगी। उन्होंने कहा कि जल्द जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में जल्द ही खाली सरकारी पदों को भरा जाएगा, साथ ही बड़ी कंपनियों को रोजगार के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
सोच-समझकर लिया गया जम्मू-कश्मीर को केंद्र के अधीन रखने का फैसला
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा जम्मू-कश्मीर को केंद्र सरकार के अधीन रखने का फैसला सोच-समझकर लिया गया है। उन्होंने कहा कि राज्यपाल शासन के दौरान केंद्र सरकार के तहत रहने से जम्मू-कश्मीर में गुड गवर्नेंस और नई दिशा देखी गई। प्रधानमंत्री मोदी ने कि राज्यपाल शासन के दौरान जम्मू-कश्मीर में विकास कार्यों के दौरान तेजी आई थी। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में दशकों से हजारों लोगों को विधानसभा और पंचायत चुनावों में वोट डालने का अधिकार नहीं था।
स्थिति सामान्य होने पर जम्मू-कश्मीर से खत्म होगी केंद्र शासित प्रदेश की व्यवस्था
प्रधानमंत्री ने कहा कि जम्मू-कश्मीर का प्रतिनिधि उनके बीच से आएगा। पहले की तरह ही विधायक, मुख्यमंत्री और विधान परिषद होगी। उन्होंने कहा कि नई व्यवस्था के तहत सब लोग मिलकर आतंकवाद और अलगाववाद से मुक्त कराएंगे। जम्मू-कश्मीर को धरती का स्वर्ग बताते हुए उन्होंने कहा कि जब नागरिक को उनके हक मिलने लगेंगे, जब उनका जीवन सुधरेगा तो यहां से केंद्र शासित प्रदेश की व्यवस्था खत्म कर दी जाएगी, लेकिन लद्दाख हमेशा के लिए केंद्र शासित प्रदेश बना रहेगा।
जल्द होंगे चुनाव
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि माहौल सुधरते ही जम्मू-कश्मीर के लोगों को उनका प्रतिनिधि चुनने का मौका मिलेगा। यहां पूरी पारदर्शिता से विधानसभा चुनाव कराए जाएंगे। उन्होंने राज्यपाल से ब्लॉक डेवलेपमेंट काउंसिल का गठन करने की भी अपील की।
विकास की कमान थामने आगे आएं युवा- प्रधानमंत्री मोदी
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि परिवारवाद के चलते जम्मू-कश्मीर के युवाओं को नेतृत्व का मौका नहीं मिला। उन्होंने युवाओं से अपने क्षेत्र के विकास की कमान थामने की अपील की। उन्होंने कहा कि लद्दाख और जम्मू-कश्मीर में दुनिया का सबसे बड़ा पर्यटन स्थल बनने की क्षमता है और इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि एक समय में शायद ही ऐसी कोई फिल्म होगी, जिसकी शूटिंग कश्मीर में नहीं हुई हो।
इंडस्ट्री से निवेश की अपील
उन्होंने देश की फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े लोगों के जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में फिल्मों और थियेटर के क्षेत्र में निवेश करने की अपील की। साथ ही उन्होंने तकनीकी और आयुर्वेद क्षेत्र के लोगों से भी इन क्षेत्रों में निवेश की बात की।
कुछ लोगों को फैसले से आपत्ति- मोदी
मोदी ने कहा कि कुछ लोगोंं को इस फैसले से आपत्ति है और उन्हें उनकी आपत्ति की कद्र है। उन्होंने कहा कि वो ऐसे लोगों से देशहित में सोचने की अपील करते हैं। उन्होंने कहा कि राजनीति से उठकर जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के विकास के लिए काम करने की जरूरत है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि इस समय ऐहतियात के कारण कुछ कदम उठाने की जरूरत थी। कुछ लोग वहां के हालात बिगाड़ना चाहते हैं।
लोगों को दी ईद की मुबारकबाद
उन्होंने कहा कि भारतीय संविधान पर भरोसा रखने वाले सभी लोग अच्छा जीवन जीने के अधिकारी है। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में धीरे-धीरे हालात सामान्य हो जाएंगे। उन्होंने लोगों को ईद की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि सरकार इस बात का ध्यान रख रही है कि लोगों को यह पावन त्योहार मनाने में कोई परेशानी नहीं हो। उन्होंने सुरक्षाबलों, जम्मू-कश्मीर के पुलिसकर्मियों और राज्य के कर्मचारियों के प्रति भी आभार व्यक्त किया।
पिछली बार मार्च में किया था देश को संबोधित
प्रधानमंत्री का यह संबोधन 15 अगस्त के दिन लाल किले से होने वाले पारंपरिक संबोधन से लगभग एक सप्ताह पहले हुआ है। इससे पहले पिछली बार उन्होंने 27 मार्च को देश को संबोधित किया था। लोकसभा चुनावों से पहले हुए इस संबोधन में उन्होंने भारत द्वारा एंटी-सैटेलाइल मिसाइल के सफलतापूर्वक प्रयोग पर बात की थी। इस संबोधन को लेकर काफी विवाद हुआ था। साथ ही उन पर वैज्ञानिकों की मेहनत का श्रेय लेने का आरोप लगा था।
संसद ने पास किया जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन विधेयक
सोमवार को केंद्र सरकार ने ऐतिहासिक कदम उठाते हुए जम्मू-कश्मीर को अनुच्छेद 370 के तहत दिया गया विशेष राज्य का दर्जा खत्म करने का ऐलान किया था। संसद से यह विधेयक पास हो गया। इसके अलावा सरकार ने जम्मू-कश्मीर और लद्दाख को केंद्र शासित प्रदेश बनाने का विधेयक भी रखा था, जिसे संसद की मंजूरी मिल गई थी। इसके बाद से ही कयास लगाए जा रहे थे कि प्रधानमंत्री मोदी किसी भी दिन देश को संबोधित कर सकते हैं।