
HDFC बैंक ने भारतGPT बनाने वाली कंपनी में किया निवेश, जानिए क्या है उद्देश्य
क्या है खबर?
HDFC बैंक ने पहली बार जनरेटिव आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के क्षेत्र में कदम रखते हुए भारतGPT बनाने वाली कंपनी कोरोवर में निवेश किया है। इस साझेदारी का उद्देश्य भारतGPT की पहुंच को बढ़ाना है और सीमित इंटरनेट पहुंच वाले क्षेत्रों में कई भारतीय भाषाओं में AI समाधान प्रदान करना है। यह कदम भारत की भाषाई विविधता और AI नवाचार पर दिग्गज निजी क्षेत्र की बैंक के फोकस को दर्शाता है।
विशेषता
बिना इंटरनेट कनेक्टिविटी के देती है AI की सुविधा
कोरोवर का यूजर बेस 1 अरब है और यह 25,000 से ज्यादा उद्यमों और डेवलपर्स को सेवाएं प्रदान करती है। यह संवादी AI एजेंट और AI असिस्टेंस (वीडियोबॉट, वॉयसबॉट, चैटबॉट) विकसित करती है। इसके समाधान भारतGPT द्वारा संचालित हैं, जो एक मल्टी-लैंग्वेज, मल्टी-माॅडल और डोमेन-अनुकूलनीय लार्ज लैंग्वेज मॉडल (LLM) है, जो भारत के लिए स्वदेशी रूप से निर्मित है। भारतGPT मिनी AI को निम्न-स्तरीय टूल्स पर और बिना इंटरनेट कनेक्टिविटी (टेलीफोनी AI) के कार्य करने की अनुमति देता है।
बयान
निवेश को लेकर दोनों कंपनियों ने क्या कहा?
HDFC बैंक ट्रेजरी के समूह प्रमुख अरूप रक्षित ने कहा, "भारतGPT का विकास, जो भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए कई भारतीय भाषाओं में सूचनाओं के आदान-प्रदान को सक्षम बनाता है, इसने कोरोवर को हमारे लिए अलग बना दिया है।" इस साझेदारी को लेकर कोरोवर के संस्थापक और CEO अंकुश सभरवाल ने कहा, "यह साझेदारी एक ऐसे AI के निर्माण के लिए साझा प्रतिबद्धता का प्रतीक है, जो भारत के सबसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में विस्तार करने में सक्षम हो।"