करगिल विजय दिवस पर नरेंद्र मोदी की पाकिस्तान को चेतावनी, बोले- नापाक मंसूबे कामयाब नहीं होंगे
करगिल विजय दिवस की 25वीं वर्षगांठ पर लद्दाख के द्रास पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने करगिल युद्ध में शहीद जवानों को श्रद्धांजलि देने के बाद अपने भाषण में पाकिस्तान को चेतावनी दी। उन्होंने कहा, "हमने करगिल में केवल युद्ध नहीं जीता था, बल्कि सत्य, संयम और सामर्थ का अद्भुत परिचय दिया था। भारत उस समय शांति का प्रयास कर रहा था, बदले में पाकिस्तान ने फिर अपना अविश्वासिक चेहरा दिखाया, लेकिन सत्य के सामने असत्य और आतंक की हार हुई।"
आगे क्या बोले प्रधानमंत्री मोदी?
मोदी ने आगे कहा, "पाकिस्तान ने अतीत में जितने भी दुष्प्रयास किए उसे मुंह की खानी पड़ी, लेकिन पाकिस्तान ने अपने इतिहास से कुछ नहीं सीखा है। वह आतंकवाद के सहारे, प्रॉक्सी वार के सहारे अपने आप को प्रासंगिक बनाए रखने का प्रयास कर रहा है। आज मैं उस जगह से बोल रहा हूं, जहां आतंक के आकाओं को मेरी आवाज सीधे सुनाई पड़ रही है। आतंकवाद के सरपरस्तों के नापाक मंसूबे कभी कामयाब नहीं होंगे।"
सुनिए, प्रधानमंत्री का पूरा भाषण
भारत हथियार और उपकरण के मामले में आत्मनिर्भर हुआ है- मोदी
प्रधानमंत्री मोदी ने आगे कहा, "वैश्विक परिस्थितियां पहले से अलग हैं, इसलिए हमारी सेनाओं को हथियारों और उपकरणों के साथ कार्यशैली और व्यवस्थाओं में भी आधुनिक होना चाहिए। इसलिए देश दशकों से रक्षा सेक्टर में बड़े बदलाव की जरूरत महसूस करता रहा है। सेना भी वर्षों से इसकी मांग कर रही है। पहले इसे उतना महत्व नहीं दिया गया। बीते 10 साल में हमने रक्षा सुधार को पहली प्राथमिकता बनाया, इससे हमारी सेनाएं ज्यादा सक्षम हुई हैं।"
जम्मू-कश्मीर में बढ़ रही है शांति
मोदी ने आगे कहा, "लद्दाख हो या फिर जम्मू-कश्मीर। विकास के सामने आ रही हर चुनौती को भारत परास्त करके ही रहेगा। कुछ ही दिन बाद 5 अगस्त को आर्टिकल 370 का अंत हुए 5 वर्ष पूरे होने जा रहा है। जम्मू-कश्मीर आज नए भविष्य और सपनों की बात कर रहा है। जम्मू-कश्मीर की पहचान G-20 शिखर सम्मेलन की अहम बैठक आयोजित करने के लिए हो रही है। धरती का स्वर्ग तेजी से शांति की ओर बढ़ रहा है।"
लद्दाख के बारे में क्या बोले मोदी?
प्रधानमंत्री मोदी ने लद्दाख के विषय में बोलते हुए कहा, "लद्दाख के लोगों का हित हमेशा हमारी प्राथमिकता रहा है। यहां के लोगों की सुविधाएं बढ़ें, इसके लिए भारत सरकार निरंतर प्रयास कर रही है। बीते 5 साल में लद्दाख के बजट को 11,00 करोड़ से बढ़ाकर 6,000 करोड़ कर दिया है। सड़क, बिजली, पानी, शिक्षा, ऊर्जा आपूर्ति, रोजगार, हर विषय में लद्दाख में दृश्य और परिदृश्य बदल रहा है। पहली बार प्लानिंग के साथ काम हो रहा है।"