चीनी नागरिकों ने गेमिंग ऐप से की 400 करोड़ की ठगी, ED ने ऐसे किया पर्दाफाश
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने ऑनलाइन गेमिंग ऐप फिविन से जुड़े 400 करोड़ रुपये के घोटाले का पर्दाफाश किया है। इस ऐप को चीन के नागरिक कुछ भारतीयों के साथ मिलकर चला रहे थे। इस संबंध में ED ने करीब 25 करोड़ रुपये की रकम को फ्रीज भी कर दिया है। जांच में पता चला है कि इस ऐप के जरिए भारत से 400 करोड़ रुपये चीन पहुंचाए गए थे। आइए जानते हैं पूरा मामला क्या है।
कैसे हुई मामले की शुरुआत?
दरअसल, कोलकाता के कोसीपुर थाने में गेमिंग ऐप के जरिये ऑनलाइन धोखाधड़ी और साजिश रचने के संबंध में FIR दर्ज की गई थी। इसी तरह की कई शिकायतें आने के बाद ये मामला ED को सौंप दिया गया था। इसके बाद ED ने अरुण साहू, आलोक साहू, चेतन प्रकाश और जोसेफ स्टालिन नामक व्यक्तियों को धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) के प्रावधानों के तहत हिरासत में लिया था। इन चारों को 14 दिन की हिरासत में भी भेजा गया था।
ऐसे से कैसे होती थी धोखाधड़ी?
ऐप में लोगों को गेम खेलकर आसानी से पैसे कमाने का लालच दिया जाता था। इसके लिए पहले ऐप में पेमेंट ट्रांसफर करना होता था, जिसके बाद उपयोगकर्ता अलग-अलग तरह के गेम खेल सकता था। हालांकि, एक बार जब उपयोगकर्ता के खाते में अच्छी खासी राशि इकट्ठा हो जाती तो ऐप बनाने वाले इस राशि को ब्लॉक कर देते। इसके बाद उपयोगकर्ता अपना पैसा वापस निकालने में असमर्थ हो जाते थे।
क्रिप्टोकरेंसी के जरिए चीन भेजा गया पैसा
ED ने जांच में पाया कि चीनी नागरिक भारतीयों की मदद ये ऐप चला रहे हैं। पता चला कि गेमिंग से इकट्ठा की गई धनराशि को 'रिचार्ज पर्सन' कहे जाने वाले व्यक्तियों के खातों में जमा किया गया था। ED द्वारा गिरफ्तार किए गए अरुण साहू और आलोक साहू रिचार्ज पर्सन का काम करते थे। राशि को बाद में क्रिप्टोकरेंसी में बदल दिया गया और चीनी नागरिकों के क्रिप्टो खातों में ट्रांसफर कर दिया गया।
घोटाले में बाकी दोनों आरोपियों की क्या भूमिका थी?
पटना के इंजीनियर चेतन प्रकाश ने रुपये को क्रिप्टोकरेंसी में बदलने में भूमिका निभाई। चेन्नई के रहने वाले जोसेफ ने पाई पेंग्युन नामक चीनी नागरिक को अपनी कंपनी स्टूडियो 21 प्राइवेट लिमिटेड का सह-निदेशक बनने में मदद की। पेंग्युन ने ऐप से जुड़े लेनदेन के लिए स्टूडियो 21 के बैंक खातों का इस्तेमाल किया। इसके बाद पैसा पेंग्युन ने बाइनेंस खाते में क्रिप्टोकरेंसी के रूप में पैसे ट्रांसफर कर लिए।
टेलीग्राम पर संपर्क में थे आरोपी
ED के मुताबिक, इस गेमिंग आधारित ऐप से करीब 400 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की गई है और ये पैसा चीनी नागरिकों के नाम पर 8 बाइनेंस वॉलेट में जमा किया गया था। वॉलेट के IP लॉग से पता चला कि ये सभी चीन से संचालित किए जा रहे थे। चीनी नागरिक टेलीग्राम पर अरुण साहू, आलोक साहू, चेतन प्रकाश, जोसेफ स्टालिन से संपर्क में थे। लेनदेन को ट्रैस करने में बाइनेंस ने भी मदद की है।